विंटर सीजन और चाय का कॉम्बिनेशन सदियों से सबका पसंदीदा बना हुआ है। सर्दी के मौसम (winter season) में यदि किसी से पूछा जाए कि आप क्या पियेंगे, तो सबसे पहले जवाब आता है चाय। हालांकि, हम सभी को सर्दी के मौसम में होने वाली बीमारियों तथा संक्रमण से लड़ने के लिए अपने शरीर को तैयार रखने की आवश्यकता होती है। इसमें जिसमें विंटर सुपरफूड्स (winter superfoods) हमारी मदद कर सकते हैं। इन्ही विंटर सुपरफूड्स में एक है “गुड़”। इसी गुड़ को चाय में मिलाकर आप अपनी नियमित चाय को और भी ज्यादा हेल्दी बना सकते हैं। जानना चाहती हैं कैसे, तो बस इसे अंत तक पढ़ती रहें।
पोषक तत्वों से भरपूर गुड़ का सेवन, सर्दियों में खासतौर से फायदेमंद होता है। सालों से मेरे घर में गुड़ की चाय बनती आ रही है, खासकर सर्दी के मौसम में मेरी मां गुड़ की चाय बनाया करती हैं। तो क्यों न इसे आप भी आजमा कर देखें। इस सर्दी अपनी पसंदीदा चाय में गुड़ के साथ जोड़ें सेहत का तड़का (Gud ki chai)। तो चलिए जानते हैं गुड़ की चाय के फायदे (Jaggery benefits) साथ ही जानेंगे इन्हें बनाने का सही तरीका (Jaggery Tea)।
गुड़ कई महत्वपूर्ण मिनरल्स और विटामिन जैसे आयरन, जिंक, मैग्नीशियम, पोटेशियम, फास्फोरस आदि से भरपूर होता है। ये सभी पोषक तत्व शरीर को गर्म रखने के साथ ही रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने में मदद करते हैं। मजबूत इम्युनिटी शरीर को संक्रमण से बचाता है और बीमारियों के खतरे को भी कम कर देता है। इनका सेवन ठंड में आपके शरीर के लिए बेहद महत्वपूर्ण हो जाता है।
पब मेड सेंट्रल के अनुसार गुड़ शरीर में गर्मी पैदा करता है, इसके साथ ही बॉडी इम्युनिटी को भी बढ़ावा देता है। मजबूत इम्युनिटी सर्दी-खांसी का कारण बनने वाले कीटाणुओं के प्रभाव को कम कर देता है। यह आम सर्दी और फ्लू से लड़ने में मदद करता है।
नेशनल लाइब्रेरी ऑफ मेडिसिन के अनुसार, गुड़ एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर होता है। एंटीऑक्सीडेंट ब्लड को प्यूरीफाई कर लीवर से टॉक्सिक पदार्थों को बाहर निकालने में मदद करता है। वहीं इसके नियमित सेवन से हीमोग्लोबिन का स्तर बढ़ता है। जब शरीर से बॉडी टॉक्सिंस पूरी तरह से बाहर निकल आते हैं, तो शरीर को स्वस्थ रहने में मदद मिलती है।
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गुड़ में मौजूद पोषक तत्व इलेक्ट्रोलाइट्स को संतुलित करने में मदद करते हैं। यह मेटाबॉलिज्म को बूस्ट करता है, जिससे वजन घटाने में मदद मिलती है। चाय में मिठास घोलने के लिए रिफाइंड शुगर की जगह गुड़ का सेवन, कई रूपों में अधिक प्रभावी साबित हो सकता है और यह सेहत को भी बढ़ावा देता है।
चीनी के विपरीत, गुड़ एक जटिल कार्बोहाइड्रेट है। इसका मतलब है कि यह धीरे-धीरे टूटता है और तुरंत रक्तप्रवाह में अवशोषित नहीं होता है। ऐसे में यह शरीर में धीरे-धीरे ऊर्जा जारी करता है और शरीर को लंबे समय तक एनर्जेटिक रहने में मदद करता है।
गुड़ की चाय बनाते समय कभी-कभी दूध फट जाता है। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि गुड़ को प्रोसेस करने के लिए कई बार केमिकल्स का उपयोग किया जाता है। इसीलिए जब आप गुड़ को दूध के साथ उबालते हैं, तो गुड़ में मौजूद केमिकल्स दूध के साथ रिएक्ट करते हैं और चाय फट जाती है।
इसे रोकने के लिए ऑर्गेनिक यानी की जैविक या अच्छी गुणवत्ता वाले गुड़ का उपयोग करें। या फिर आप गुड़ के साथ पिसे हुए मसाले और चायपत्ती भी मिला सकते हैं। इसे कुछ मिनट तक उबालें और फिर दूध डालें। इस तरह दूध फटेगा नहीं।
इसे बनाने के लिए आपको चाहिए: दूध, पानी, चाय पत्ती, काली मिर्च, छोटी इलायची, सौंफ और कसा हुआ गुड़।
इस तरह तैयार करें गुड़ की चाय (Gud ki chai recipe)
सबसे पहले काली मिर्च, हरी इलायची और सौंफ को अच्छी तरह से कूट लें।
अब पैन में पानी डालें और इसे गैस पर चढ़ाएं। जब इसमें उबाल आ जाए, तो चाय की पत्ती और सभी मसालों को इसमें डाल दें।
धीमी आंच पर पानी में दो से तीन मिनट तक अच्छी तरह से उबाल आने दें।
जब पानी उबल जाए तो इसमें मात्र अनुसार दूध डालें, और इन्हें भी दो से तीन मिनट तक अच्छी तरह से उबाले।
आखिर में चाय में कसा हुआ गुड़ डालें, और इसे चाय में अच्छी तरह से मिला लें। जब यह मिक्स हो जाए तो गैस को बंद कर दें।
चाय तैयार है, इसे छाने और गरमा गरम एंजॉय करें।
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