पौष्टिक तत्वों से भरपूर अलसी के बीज हमारे शरीर को एनर्जी और तंदरूस्ती दोनों ही प्रदान करते हैं। आमतौर पर रोस्ट करके खाए जाने वाले अलसी के बीजों को ओवरनाइट सोक करके खाने से इसका पौष्टिकता बढ़ जाती है। इससे महिलाओं में इन दिनों बढ़ रही इनर्फिर्टलिटी की समस्या को दूर करने से से लेकर डायबिटीज कंट्रोल करने तक हर चीज़ में मददगार साबित होती है। मेटाबोलिज्म रेट को बढ़ाने वाली अलसी को ओवरनाइट सोक करने के बाद सुबह के आहार में सम्मिलित कर सकते हैं। जानते हैं भीगी हुई अलसी के बीजों को डाइट में शामिल करने के लाभ (Benefits of soaked flax seeds)।
यू एस डिपार्टमेंट ऑफ एग्रीकल्चर के अनुसार दो चम्मच अलसी के बीज में 4 ग्राम प्रोटीन, 7 ग्राम फाइबर और 7 ग्राम कार्ब्स पाए जाते हैं। इसके अलावा अलसी के बीज खाने से शरीर में कैलोरीज़, गुड फैट्स व कैल्शियम की कमी पूरी होती है। प्रोटीन और फाइबर की भरपूर मात्रा होने से ये हड्डियों की मज़बूती बनाए रखता है। इसके अलावा शारीरिक अंगों में होने वाले दर्द व थकान से भी मुक्ति मिल जाती है।
इस बारे में एम डी आयुर्वेद डॉ योजना पोकरणा के अनुसार अलसी एक आयुर्वेदिक हर्ब है। एंटी इंफ्लामेटरी गुणों से भरपूर अलसी सेहत के लिए फायदेमंद है। इसमें पाई जाने वाली डयूरेटिक प्रॉपर्टीज़ के चलते आपका शरीर कब्ज, पाइल्स और यूटीआई जैसी समस्याओं से बचा रहता है। इसके अलावा भीगी अलसी का इस्तेमाल त्वचा और हेयरग्रोथ के लिए भी किया जाता है। ज्यादा मात्रा में अलसी का सेवन नुकसानदायक बन सकता है। ऐसे में रोज़ाना ऐ सीमित मात्रा में ही अलसी का सेवन करें।
अलसी के बीज से अल्फा लिनोलेनिक एसिड के रूप में ओमेगा 3 फैटी एसिड की प्राप्ति होती है। जो हमारी बॉडी को हार्ट संबधी समस्याओं से बचाने में मदद करता है। इसके अलावा ब्लड प्रेशर भी नियंत्रित रहता है। अलसी (flax seeds) में एंटी इफलामेटरी गुण भी पाए जाते हैं। इसमें पाई जाने वाली फाइबर की मात्रा हाई कोलेस्ट्रॉल से शरीर को बचाव करता है। दरअसल, अलसी के बीजों को भिगोने के बाद स्मूदी, शेक या सैलेड के तौर पर खाने से कोलेस्ट्रॉल लेवल को कम किया जा सकता है। इससे शरीर में बैड कोलेस्ट्रॉल (bad cholesterol) कम हो जाते हैं।
भीगे हुए अलसी (flax seeds) के बीज में फाइबर की उच्च मात्रा पाई जाती है। अगर आप ब्रेकफास्ट में इसका सेवन करते हैं। तो आपको देर तक भूख नहीं लगती है। इससे शरीर अतिरिक्त कैलोरीज़ से बच जाता है। इसके अलावा इसमें कार्ब्स सीमित मात्रा में पाए जाते हैं। इसे आप रायता, लड्डू, रोटी या दूध किसी में भी मिलाकर खा सकते हैं।
भीगे हुए अलसी के बीज इंसुलिन की संवेदनशीलता में सुधार लाने में सहायक है। अमेरिकन डायबिटीज एसोसिएशन के अनुसार वे लोग जो टाइप 2 डायबिटीज़ के शिकार हैं। उन्होंने रोज़ाना 10 ग्राम अलसी का सेवन किया और इससे उनकी शुगर में गिरावट दर्ज की गइ। ब्लड शुगर को नियंत्रित करने के लिए आप अलसी को भिगोकर, पीसकर या भूनकर किसी भी प्रकार से खा सकते हैं।
बालों को हेल्दी बनाए रखने के लिए ओवरलाइट सोक किए गए अलसी के बीजों के पेस्ट को बालों पर लगाने के कई फायदे मिलते हैं। इसमें मौजूद ओमेगा 3 फैटी एसिड, मैगनीशियम और थियामाइन बालों के रूखेपन को दूर कर जड़ों को मज़बूती प्रदान करता है। दरअसल, अलसी को सोक करने के बाद वो जेल की फॉर्म में बदल जाता है। इसे बालों में 10 से 15 मिनट तक लगाए रखें और फिर बालों को धो दें। इससे बालों को टैक्सचर बेहतर होने लगता है।
मेनोपॉज के बाद महिलाओं के शरीर में हार्मोनल असंतुलन बढ़ने लगता है। ऐसे में शरीर को हेल्दी रखने के लिए फाइटोएस्ट्रोजन की आवश्यकता होती है। अलसी में पाए जाने वाले इस तत्व से तनाव, मूड सि्ंवग और चिंता से राहत मिल जाती है।
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