रिश्तों में खींचतान होना एक सामान्य बात है। कई बार छोटी छोटी बातें इस कदर विकराल रूप धारण कर लेती हैं कि वो सेपरेशन (separation) का कारण भी बन जाती है। इसमें कोई दोराय नहीं है कि दो लोगों की सोच अलग अलग होती है और समस्याओं को सुलझाने के लेकर उन्हें आंकने तक उनका नज़रिया भी जुदा होता है। मगर फिर भी रिलेशनशिप को लान्ग लास्टिंग (long lasting relationships) बनाए रखने क लिए अंडरस्टैण्डिंग का होना आवश्यक है। जो रिश्तों को गुलज़ार करने की एक सुनहरी चाबी है। जानते हैं कि किन आसान तरीकों से रिश्तों में बढ़ने वाले मतभेद दूर किए जा सकते हैं (misunderstandings in relationships) ।
विचारों में तालमेल की कमी बढ़ने से आपसी मतभेद का आंशका बनी रहती है।
अपने पार्टनर की दूसरे लोगों से तुलना करना भी मिसअंडरस्टैण्डिंग (misunderstanding) का कारण बन सकता है।
साथी की हर बात को शक की नज़र से देखना दो लोगों में दूरियां बढ़ा देता है।
दोस्तों के कारण भी जोड़ों में मतभेद बढ़ने लगते हैं।
आपका लापरवाह व्यवहार आपको आपके पार्टनर से दूर कर देता है।
फाइनेशियल सपोर्ट (financial support) न मिलना भी रिश्तों में दरार का कारण बनने लगता है।
अगर आप किसी भी व्यक्ति से बातचीत जारी रखते हैं। तो इसका अर्थ है कि रिश्तों में सुधार आने की गुजाइश अभी बाकी हैं। प्यार कसमों और वादों से नहीं बल्कि अंडरस्टैण्डिंग से मज़बूत होता है। कई बार आपका पार्टनर आपसे किसी कारणवश निराश हो जाता है। तो ऐसे में अपनी इगो को त्यागकर उसके साथ बैठें और कम्यूनिकेट करें। इससे दो लोगों में बढ़ने वाली मिसअंडरस्टैण्डिंग को आसानी से रिसॉल्व किया जा सकता है। कम्यूनिकेशन गैप किसी भी रिलेशन को खराब करने में अह्म भूमिका निभाता है।
अगर आप ये मानते हैं कि आपका चीखना और चिल्लाना आपके पार्टनर के डर का कारण साबित होगा। तो ये पूरी तरह से गलत है। गलत बात को अगर उंची आवाज़ में बोला जाए, तो वो सही साबित नहीं हो सकती है। ऐसे में विनम्रता को अपनाते हुए एक दूसरे की बात को सुनें और समझें। कई बार ध्यानपूर्वक सुनी गई बात भी किसी बड़ी समस्या को आसानी से सुलझा सकती है। साथ ही अपने व्यवहार में बदलाव लाने का प्रयास करें। इससे आपका पार्टनर भी खुद को बदलने का प्रयास करने लगेगा। दरअसल, दूसरें को बदलने से पहले अपने अंदर बदलाव लाना आवश्यक है।
विश्वास की कमी रिश्तों में मतभेद को जन्म देती है। आप इस बात को भूल जाते हैं कि छोटी छोटी बातों पर जिस व्यक्ति से आप झगड रही हैं। असल में जीवन के हर मोड़ पर वही आपको अपने साथ नज़र आएगा। बढ़ने वाली दूरी को कम करने के लिए अपने पार्टनर की सभी बातों पर विश्वास बनाएं। इससे पार्टनर की नज़र में न केवल रिस्पेक्ट बढ़ने लगती है बल्कि रिश्ता भी मज़बूत बन जाता है।
अगर आप अपने पार्टनर से किसी भी कारण से खफा है, तो उसे कुछ वक्त दें। ताकि उसे अपनी गलती का एहसास हो सकें। वहीं दूसरी ओर आप भी समय लेकर समस्या पर चौतरफा नज़र दौड़ाएं। कई बार पार्टनर के कटु शब्द असल में उनके मन में बसी चिंता और परेशानी का संकेत देती है। ऐसे में किसी भी नतीजे पर पहुंचने के पहले समस्या को समझें और उसे कुछ वक्त दें। इससे आपके मध्य बनी दूरी अपने आप कम होने लगती है। हर बार की गई दखलअंदाजी आपके पार्टनर को अपसेट कर सकती है।
जहां कुछ लोग रफ एंड टफ होते हैं, तो वहीं कुछ लोगों के अंदर गंभीरता नज़र आती है। ऐसे में अपने पार्टनर के इमोशंस को हर्ट न करें और उसकी भावनाओं की कद्र करें। इससे आपके पार्टनर का झुकाव आपकी ओर होने लगता है। दोनों के मध्य एक दूसरे के लिए प्यार भी बढ़ता जाता है। जो रिश्तों में बढ़ रहे संदेह को खत्म करने में कारगर साबित होता है।
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