उम्र के साथ हमारी त्वचा ढीली (skin sagging) पड़ने लगती है। अन्य अंगों के साथ-साथ हमारी त्वचा पर भी उम्र बढ़ने का प्रभाव पड़ता है। त्वचा कमजोर हो जाती है। स्किन सैगिंग का प्रभाव सबसे पहले चेहरे की त्वचा पर दिखता है। इसलिए फेस की स्किन को टाइट करने के लिए अलग-अलग तरह के उपाय अपनाए जाने लगते हैं। यहां हैं एक्सपर्ट के बताये 6 उपाय, जो स्किन में कसाव लाने में मदद (skin tightening tips) कर सकते हैं।
नेशनल स्किन क्लिनिक हेड और डर्मेटोलोजिस्ट यामिनी परमार बताती हैं, ‘जैसे-जैसे उम्र बढ़ने लगती है, शरीर कोलेजन का उत्पादन धीमा कर देता है। इसके कारण चेहरे की स्किन ढीली पड़ने लगती है। स्किन अपनी लोच भी खोने लगती है। उम्र बढ़ना कॉस्मेटिक समस्या (Cosmetic Problem) नहीं है, बल्कि एक शारीरिक समस्या (Physical Problem) भी है। समय के साथ स्किन पर महीन रेखाएं (Fine Lines on Skin) , झुर्रियां (Wrinkles) और ढीली त्वचा (Skin Sagging) दिखाई देने लगती है। स्किन को टाइट और हेल्दी बनाए रखने के लिए दो प्रकार के प्रोटीन- इलास्टिन और कोलेजन (Elastin and Collagen) बहुत जरूरी हैं। इनके कारण ही स्किन टाइट रह पाती है। स्किन में कसाव लाने के लिए इन्हीं दो तत्वों के प्रोडक्शन पर ध्यान दिया जाता है।’
उम्र बढ़ने के साथ त्वचा स्वाभाविक रूप से पतली इलास्टिसिटी में कमी आ जाती है। वजन घटने, गर्भावस्था और यूवी रे डैमेज भी कारण बन सकता है। कैंसर, मधुमेह और कीमोथेरेपी के उपचार भी स्किन पर बुरा प्रभाव डालते हैं।
यामिनी परमार के अनुसार, फेस योग के अंतर्गत कई एक्सरसाइज हैं, जो चेहरे की मांसपेशियों को टोन और आकार देने में मदद करती है। इसससे स्किन टाइट और मजबूत हो सकती है। ये एक्सरसाइज ब्लड सर्कुलेशन में सुधार कर कोलेजन प्रोड्क्शन को बढ़ाने में मदद करते हैं। बदले में झुर्रियों, फाइन लाइन्स और स्किन सैगिंग में सुधार करता है। बिना किसी विशेष उपकरण के हर दिन कुछ मिनटों का फेस योग त्वचा की दिखावट में बड़ा अंतर ला सकता है।
रेटिनॉल एक प्रकार का विटामिन ए और पावरफुल एंटीऑक्सीडेंट है। यह कोलेजन प्रोडक्शन को बढ़ाता है। यह स्किन को टाइट और मजबूत करने में मदद करता है। इसका उपयोग स्किन को युवा और फ्रेश बनाए रखने में मदद करता है।
हयालूरोनिक एसिड प्राकृतिक रूप से मानव शरीर में मौजूद होता है। यह जोड़ों और त्वचा में सबसे अधिक मात्रा में पाया जाता है। जैसे-जैसे हमारी उम्र बढ़ती है, हमारे शरीर में हयालूरोनिक एसिड का उत्पादन कम होता जाता है, जिससे रिंकल और स्किन ढीली हो सकती है।हयालूरोनिक एसिड सीरम और क्रीम स्किन को टाइट करने में मदद कर सकते हैं। जब इसे त्वचा पर लगाया जाता है, तो यह महीन रेखाओं और झुर्रियों को कम करता है। एंटी-एजिंग होने के अलावा, यह एसिड घावों को ठीक करने और सूजन को कम करने में मदद करता है।
कोलेजन पेप्टाइड्स त्वचा में कोलेजन की पूर्ति करके स्किन टेक्सचर को बेहतर बनाने में मदद कर सकते हैं। कोलेजन एक संरचनात्मक प्रोटीन है, जो त्वचा को नमीयुक्त बनाता है और इलास्टिसिटी बढाता है। जैसे-जैसे हमारी उम्र बढ़ती है, हमारी त्वचा में कोलेजन टूटने लगता है। यह ढीली पड़ने के साथ-साथ झुर्रियों में भी योगदान देता है। कोलेजन पेप्टाइड्स से त्वचा को अधिक लोचदार और हाइड्रेटेड बनाकर यंग रूप देने में मदद मिल सकती है।
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कस्टमाइज़ करेंग्लाइकोलिक और लैक्टिक एसिड सीरम दोनों अल्फा हाइड्रॉक्सी एसिड हैं। यह एक्सफ़ोलीएटिंग और एंटी-एजिंग गुणों वाला होता है। ये एसिड डेड स्किन सेल्स को हटाने का काम करते हैं। इससे स्किन की बनावट और टोन में सुधार होता है। ग्लाइकोलिक और लैक्टिक एसिड कोलेजन उत्पादन बढ़ातेते हैं, जो स्किन को टाइट करने और मजबूत करने में मदद करता है।
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