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Baisakhi 2023 : बैसाखी पर बनाएं मसालेदार अमृतसरी उड़द दाल की बड़ी, हम बता रहे हैं रेसिपी और स्वास्थ्य लाभ

नई फसल और नए स्वाद का उत्सव है बैसाखी। खेतों से आई नई फसल की सुगंध जब रसोई तक पहुंचती है, तो उसे कई अलग-अलग स्वाद के साथ सेलिब्रेट किया जाता है। ऐसा ही पारंपरिक स्वाद है उड़द दाल की बड़ी।
Updated On: 12 Apr 2023, 05:20 pm IST
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Ghar par karein badiyaan tayaar
बाज़ार में मिलने वाली अमृतसरी उड़द दाल की ज़ायकेदार बड़ी को आप घर पर भी तैयार कर सकती है। चित्र: अडोबी स्टॉक

अमृतसर के पापड़ और बड़ियां लजीज स्वाद से भरपूर होते है। बड़ियों में मौजूद तीखापन बहुत देर तक जुबान पर बरकरार रहता है। दरअसल, तीखी और कुरकुरी उड़द दाल की मसाला बड़ी आपके खाने के स्वाद को दोगुना कर सकती हैं। अकसर बैसाखी पर घरों में नई उड़द दाल से बड़ी बनाई जाती हैं। अगर आप भी इस बार बैसाखी पर कुछ ट्रेडिशनल और हेल्दी बनाना चाहती हैं, तो हम आपके लिए लाए हैं इन मसालेदार बड़ियों को बनाने का तरीका (How to make urad dal masala badi)। साथ ही इसके सेहत लाभ (Health benefits of urad dal vadi) भी।

बाज़ार में मिलने वाली अमृतसरी उड़द दाल की ज़ायकेदार बड़ी को आप घर पर भी तैयार कर सकती है। ये न सिर्फ खाने में स्वादिष्ट होती है, बल्कि फायदेमंद भी है। आप चाहें, तो इसे दाल, चावल या खिचड़ी के साथ बनाकर भी परोस सकते हैं। इसे अक्सर लोग आलू या फिर पनीर के साथ मिलाकर बनाते हैं। जानते हैं, इसे बनाने का आसान तरीका।

पोषक तत्वों का भंडार है उड़द दाल

उड़द की दाल जिसे विगना मूंगों भी कहा जाता है। इसके सेवन से शरीर को फाइबर, कॉपर, पोटेशियम, विटामिन बी 1 और जिंक की प्राप्ति होती है। प्रोटीन और कार्ब्स से भरपूर इस दाल में फेनोलिक एसिड, फ्लेवोनोइड्स और सिनेमिक एसिड समेत कई एंटीऑक्सीडेंटस पाए जाते हैं।

सेहत के लिए फायदेमंद है यह पारंपरिक व्यंजन

1 एनर्जी लेवल बढ़ाए

दाल को बोरिंग बताकर न खाने वाले लोग अक्सर इसके गुणों से वंचित रह जाते है। एक हेल्थ टॉनिक के रूप में काम करने वाली इस दाल को खाने से शरीर दिनभर एक्टिव बना रहता है। आयरन से भरपूर ये दाल बच्चों और गर्भवती महिलाओं के लिए विशेषतौर से बेहद फासयदेमंद होती है।

Amritsari badiyaan
अमृतसरी उड़द दाल की ज़ायकेदार बड़ी स्वादिष्ट होने के साथ साथ पौष्टिक भी होती है। चित्र अडोबी स्टॉक

2 हड्डियां होंगी मज़बूत

इसमें मौजूद मैगनीशियम, पोटेशियम और फोलिक एसिड समेत सभी मिनरल्स हड्डियों को मज़बूत बनाने का काम करते है। हड्डियां मज़बूत होने से क्रानिक पेन और जोड़ों में दर्द और ऐंठन से छुटकारा मिल जाता है। सूप या स्प्राउट्स के तौर पर इसका सेवन करने से शरीर में प्रोटीन की कमी पूरी हो जाती है।

3 शुगर लेवल करे कंट्रोल

अगर आप शुगर के पेशेंट हैं, तो फाइबर से भरपूर इस दाल का सेवन आपकी शुगर को कंट्रोल करता है। शरीर में फाइबर का ज्यादा लेवल डाइजेशन को मज़बूत बनाता है। जो शरीर में ग्लूकोज़ के स्तर को नियंत्रित करने का काम करती है।

4 पाचन तंत्र रखे मज़बूत

फाइबर से भरपूर ये दाल आपके पाचनतंत्र को मज़बूत बनाने का काम करती है। इस दाल को खाने से कब्ज, ऐंठन और डायरिया संबधी समस्याएं अपने आप दूर होने लगती है।

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अमृतसरी उड़द दाल की बड़ी बनाने के लिए हमें चाहिए

उड़द दाल एक किलो
सूखा धनिया आधा कटोरी
साबुत काली मिर्च दो बडे़ चम्मच
सौंफ दो चम्मच
साबुत जीरा एक टेबलस्पून
पिसी हुई काली मिर्च एक छोटा चम्मच
पिसा हुआ धनिया एक चम्मच
चिली फ्लेक्स एक छोटा चम्मच
हींग आधा चम्मच
बड़ी इलायची 8 से 10
छोटी इलायची 10 से 12
लौंग 5 से 6

इन स्टेप्स के साथ तैयार करें उड़द दाल की बड़ी (How to make urad dal vadi)

  1. इसे बनाने के लिए सबसे पहले एक बाउल में उड़द दाल को अच्छी तरह से धोकर पानी में भिगो दें।
  2. 6 से 8 घंटे तक पानी में सोक करने के बाद दाल के उपर फोम की एक लेयर नज़र आने लगेगी।
  3. अब भीगी हुई दाल को तीन से चार बार दोबारा पानी में धोंए। अब दाल को ब्लैण्डर में डालें एक स्मूद पेस्ट बना लें।
  4. इसे चेक करने के लिए एक बाउल में पानी लें और उसमें चुटकी भर दाल के पेस्ट को डाल दें। अगर पेस्ट ऊपर तैरने लगे, तो मान लें कि आपका घोल सही तरह से तैयार हुआ है।
  5. दूसरी तरफ सौंफ, इलायची, काली मिर्च और धनिया समेत सभी साबुत मसालों को धूप लगवा लें। अगर आप चाहें, तो उन्हें कढ़ाही में लो फ्लेम पर रोस्ट भी कर सकते हैं।
  6. इन मसालों में मौजूद बड़ी इलायची के छिलके उतार कर अलग कर लें। रोस्ट हो चुके सभी मसालों को एक साथ दरदरा पीस लें।
  7. भीगी हुई दाल के पेस्ट में दरदरे पिसे हुए मसालें मिला दें। इसके अलावा पिसी दाल में धनिया पाउडर, काली मिर्च, लाल मिर्च पाउडर और थोड़ी सी हींग को भी मिक्स कर दें।
  8. जब मिश्रण पूरी तरह से तैयार हो जाए, तो थाली को ग्रीस करके उस पर हाथों से बढ़िया तोड़ें। साइज़ को अपने हिसाब से तय कर लें। अब बड़ियों को धूप दिखाएं। तेज़ धूप होने से दो से तीन दिन में भी ये रेसिपी तैयार हो सकती है।
  9. आप 5 से 6 दिन के लिए धूप में रोज़ाना रखें और सुखा लें। इसके अलावा धूप में 6 से 8 घंटे तक लगातार रहने के बाद इन्हें पलट दें, ताकि आसानी से सूख जाएं।अब आप इसे एयर टाइट बॉक्स में स्टोर करके अगले तीन से चार महीने इनका आनंद ले सकती हैं।

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डिस्क्लेमर: हेल्थ शॉट्स पर, हम आपके स्वास्थ्य और कल्याण के लिए सटीक, भरोसेमंद और प्रामाणिक जानकारी प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। इसके बावजूद, वेबसाइट पर प्रस्तुत सामग्री केवल जानकारी देने के उद्देश्य से है। इसे विशेषज्ञ चिकित्सा सलाह, निदान या उपचार का विकल्प नहीं माना जाना चाहिए। अपनी विशेष स्वास्थ्य स्थिति और चिंताओं के लिए हमेशा एक योग्य स्वास्थ्य विशेषज्ञ से व्यक्तिगत सलाह लें।

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लेखक के बारे में
ज्योति सोही
ज्योति सोही

लंबे समय तक प्रिंट और टीवी के लिए काम कर चुकी ज्योति सोही अब डिजिटल कंटेंट राइटिंग में सक्रिय हैं। ब्यूटी, फूड्स, वेलनेस और रिलेशनशिप उनके पसंदीदा ज़ोनर हैं।

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