जिम में लेग डे पर पैरों की एक्सरसाइज करने के बाद आपके पैर शायद ही चलने की हालत में बचते है। लैग डे के बाद आपके सीढ़ियां उतरना चढ़ना भी मुश्किल हो जाता है। अगर आपका जिम में पहला दिन है लैग का तो ये और ज्यादा दर्द भरा हो सकता है। जिम में हाई इंटेंसिटी वाली एक्सरसाइज करने से आपके मांसपेशियों में चोटें आती है जिसके कारण उसमें सोरनेस आती है। इसे आप कुछ उपायों से घर पर ठीक कर सकते है।
लेग डे वाले दिन आमतौर पर स्क्वैट्स, डेडलिफ्ट्स, सीटेड लेग प्रेस और हिप थ्रस्ट जैसी कुछ एक्सरसाइज की जाती है।
इनमें से स्क्वैट्स सबसे लोकप्रिय पैरों के व्यायामों में से एक है। यह लोकप्रिय है क्योंकि यह पैरों, पीठ के निचले हिस्से और कोर की मांसपेशियों को लक्षित करता है इसलिए स्क्वैट्स आसानी से मांसपेशियों में दर्द पैदा कर सकता है। यदि आपके लेग डे में स्क्वैट्स शामिल हैं और इसके साथ और भी एक्सरसाइज है जो पैरों में दर्द का कारण बन रही है तो चलिए जानते है उसे कैसे ठीक करना है।
फिटनेस और लाइफस्टाइल एक्सपर्ट यश अग्रवाल बताते है कि एक्सरसाइज के बाद आपकी मांसपेशियों में तुरंत दर्द हो सकता है। इसे एक्युट सोरनेस के रूप में जाना जाता है। व्यायाम करने के लगभग 12 घंटे बाद आप दर्द या जकड़न महसूस कर सकते हैं। कुछ मामलों में, में ये दर्द 48 से 72 घंटों के बाद यह और अधिक हो सकता है। इस दौरान आपकी मांसपेशियां खुद को दुरुस्त और मजबूत बनाती हैं।
लेग डे के बाद के दर्द से बचने का उपाय सबसे पहले है कि आप हाइड्रेटेड रहें। मांसपेशियों की रिकवरी में हाइड्रेशन एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। हाइड्रेट होने के लिए पानी पिएं या बेहतर होगा कि भरपूर मात्रा में इलेक्ट्रोलाइट्स से भरपूर स्पोर्ट्स ड्रिंक लें। पानी और इलेक्ट्रोलाइट्स मांसपेशियों की मरम्मत और ग्लाइकोजन के उत्पादन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
लेग डे के बाद पैरों के दर्द को कम करने का सबसे आसान तरीका यह है कि आप अपने शरीर को ठीक होने के लिए समय दें। लेग डे के बाद जिम से एक दिन की छुट्टी लेने से आपके शरीर को ठीक होने में, मरम्मत और पुनर्प्राप्ति के लिए आवश्यक समय मिलेगा।
कहीं भी दर्द हो उसके लिए सबसे पूराने तरीको में से एक है हीट कंप्रेस करना। हीट थेरेपी आपकी मांसपेशियों में रक्त के प्रवाह को उत्तेजित कर सकती है, जिससे उनमें सूजन और जकड़न कम हो सकती है। दर्द वाली मांसपेशियों पर हीट थेरेपी की जा सकती है। इससे लेग डे के बाद मांसपेशियों का दर्द कम हो जाएगा। हीट थेरेपी को हीटिंग पैड, स्टीम्ड तौलिए या यहां तक कि सॉना में जाकर भी किया जा सकता है।
जब स्ट्रेच की बात आती है तो क्वाड्रिसेप्स और हैमस्ट्रिंग विशेष रूप से महत्वपूर्ण होते हैं। जब बात दर्द को कम करने की आती है तो इन मांसपेशियों को लक्षित करने वाले स्ट्रेच को कूलडाउन रूटीन में शामिल करने से आपको काफी फायदा होगा। इसके लिए आप योगा भी कर सकते है। योगा में कई ऐसे पोज़ होते है जो आपके शरीर की अलग अलग मांसपेशियों को स्ट्रेच करने में मदद करता है।
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