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बढ़ती गर्मी में हीट स्ट्रोक से बचने के लिए इन टिप्स की लें मदद, शरीर रहेगा हाइड्रेटिड और एक्टिव

Published on:4 May 2024, 12:30pm IST

तेज़ गर्मी में बाहर निकलते ही शरीर को थकान और कमज़ोरी का सामना करना पड़ता है। दरअसल, तापमान में होने वाली बढ़ोतरी के चलते शरीर पर हीट स्ट्रोक का प्रभाव देखने को मिलता है। इसे रिलेटिड इलनेस भी कहा जाता है।

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कच्चे प्याज का सेवन करें

गर्मियों के मौसम में कच्चे प्याज का सेवन करने से शरीर को क्वेरसेटिन कंपाउड की प्रापित होती है। इससे शरीर में ठंडक बनी रहती है और शरीर हीट स्ट्रोक के खतरे से बच पाता है। कच्चा प्याज नियमित रूप से खाने से पाचनतंत्र मज़बूत बनता है और त्वचा भी हेल्दी रहती है।

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दही है फायदेमंद

प्रोबायोटिक्स से भरपूर दही में कूलिंग प्रॉपर्टीज् पाई जाती है। इसके सेवन से डाइजेशन इंप्रूव होता है और बैक्टीरियल इंफेक्शन का खतरा भी कम होने लगता है। गर्मी में ठंडी दही को लस्सी, रायता और स्मूदी रूप में पी सकते हैं। इसका नियमित सेवन शरीर के इम्यून सिस्टम को बूस्ट करता है।

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मिंट लीव्स

पुदीने की पत्तियां एंटी माइक्रोबॉयल गुणों से भरपूर होती हैं। इससे पेट को ठंडक मिलती है और पाचनतंत्र उचित बना रहता है। ऐसे में पुदीन को कूलिंग ड्रिंक्स में शामिल करने के अलावा इसकी चाय भी बेदह कारगर साबित होती है। इसका नियमित सेवन शरीर को हीट स्ट्रोक से बचाने में मदद करता है।

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सौंफ चबाएं

एंटीऑक्सीडेंटस से भरपूर सौंफ शरीर को हाइड्रेट रखने में मदद करती है। इसके सेवन से शरीर में गर्मी कम होने लगती है और पाचनतंत्र मज़बूत बनता है। इसके अलावा हाई ब्लड प्रेशर की समस्या भी हल हो जाती है, जिसके चलते हार्ट अटैक, स्ट्रोक और अन्य स्वास्थ्य संबधी समस्याओं से बचने में मदद मिलती है। सौंफ विटामिन सी, के और ई का रिच सोर्स है। इसके सेवन से वेटलॉस में भी मदद मिलती है।

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हाइड्रेटिड रहें

घर से बाहर निकलने से पहल पानी उचित मात्रा में पीएं। इसके अलावा दिन भर में हेल्दी नेचुरल ड्रिंक्स जैसे नींबू पानी, नारियल पानी और बेल के रस का सेवन करें। इससे शरीर में इलेक्ट्रोलाइट्स की मात्रा उचित बनी रहती है। शरीर को हेल्दी रखने के लिए कैफीन और अल्कोहल इनटेक को घटाने का प्रयास करें। अन्यथा शरीर को ब्लोटिंग, पेट दर्द और नॉज़िया का सामना करना पड़ता है।

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पौष्टिक आहार लें

अधिक स्पाइसी और प्रोसेस्ड फूड खाना इनडाइजेशन का कारण बनने लगता है। ऐसे में हल्का और पौष्टिक आहार लें। लौकी, खीरा, ककड़ी, तरबूज और खरबूजा समेत वॉटर कंटेंट से भरपूर फलों और सब्जियों का सेवन करें। बासी खाना खाने से बचें और दिनभर में स्मॉल मील्स लें। एक साथ ज्यादा मात्रा में खात्रा खाने से पाचनतंत्र को बिगाड़ सकता है और डाइजेशन स्लो होने लगता है।

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धूप में निकलने से बचें

गर्मी के मौसम में जहां तक संभव को तेज़ धूप के वक्त बाहर निकलने से परहेज करें। चाहे स्पोर्टस एक्टीविटी हो या कोई भी अन्य गतिविधी उसे इनडोर ही प्लान करें। ज्यादा वक्त बाहर बिताने से पसीना बहने लगता है, जिससे शरीर में पानी का स्तर कम होने लगता है। बाहर निकलने से पहले वॉटर बॉटल अवश्य साथ रखें।

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ब्रीदेबल कपड़े पहनें

सिथेटिक और टाइट कपड़ों को पहनने से पसीने की समस्या का सामना करना पड़ता है। ऐसे में शरीर में खुजली, रैशज़ और संक्रमण के फैलने का खतरा बना रहता है। शरीर को गर्मी से बचाने के लिए ब्रीथएबल और ढ़ीले पकड़े पहनें। इसके अलावा कपड़ों की ज्यादा लेयर्स पहनने से भी बचें। कॉटन के कपड़ों को चुनें और हल्के रंगों का चयन करे।

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शरीर को ठंडक प्रदान करें

काम करने के दौरान कुछ वक्त ब्रेक लें और शरीर को ठंडक प्रदान करें। इससे शरीर का तापमान सामान्य होने लगता है। इसके लिए कुछ वक्त कूलर, पंखे या एसी के नज़दीक बैठें। इससे शरीर में बार बार आने वाला पसीना दूर होता है और शरीर संतुलित बना रहता है। इसके अलावा धूप में निकलने से पहले शरीर को कवर करके निकलें। इससे टैनिंग की समस्यसा से भी बचा जा सकता है।

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