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Mindful Eating : मोटापा और तनाव कम करती है माइंडफुल ईटिंग, जानिए कैसे करना है इसका अभ्यास

माइंडफुल इटिंग अपनाने से हम तनाव मुक्त रहने के साथ खुद को हेल्दी महसूस करने लगते है। इससे आपकी इटिंग हैबिट्स बेहतर बनती हैं। जानते है माइंडफुल इटिंग के फायदे और इसके स्टेप्स भी।
हम क्या खा रहे हैं और कितना खा रहे हैं, इस पर ध्यान दें। चित्र: शटरस्टॉक
ज्योति सोही Published: 17 Aug 2023, 09:30 am IST
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मोटाप, तनाव और डायबिटीज़ (Diabetes) समेत न जाने कितनी बीमारियों को दूर करने के लिए कई प्रकार की डाइट इन दिनों ट्रेंड में हैं। इसमें अलग अलग समय और अलग अलग प्रकार की फूड आइटम्स को एड करके आपको हेल्दी रखा जाता है। मगर माइंडफुल इटिंग एक ऐसर नुस्खा है, जो हर समस्या का एकमात्र विकल्प साबित हो सकता है। इससे आप तनाव मुक्त रहने के साथ साथ भोजन को लेकर पॉजिटिविटी (positivity) महसूस करने लगते हैं। इससे आपका स्वास्थ्य बेहतर और मज़बूत बना रहता है। जानते है माइंडफुल इटिंग के फायदे और इसके स्टेप्स भी (how to practice mindful eating)

माइंडफुल ईटिंग (mindful eating) यानि खाना खाने के लिए सही तरीकों का प्रयोग। ये एक ऐसी तकनीक है, जिसके चलते आप अपनी इटिंग हैबिट्स (eating habits) को बेहतर बनाते हैं। इससे न केवल आप स्वस्थ्स महसूस करते हैं बल्कि ओवर इटिंग व मोटापे की समस्या भी हल हो जाती है। इसके चलते आपको बार बार भूख नहीं लगती है, जो आपके मेटाबॉलिज्म (metabolism) को बेहतर बनाता है।

एनसीबीआई के मुताबिक माइंडफुलनेस लोगो को पुराने दर्द, बीमारी, तनाव, नींद संबधी समस्याओं और चिंता से दूर रखने में मदद करता है। वहीं, माइंडफुल ईटिंग के चलते हम भोजन पर पूरा ध्यान दे पाते हैं। इसके अलावा कैलोरीज़, कार्बोहाइड्रेट, फैट्स और प्रोटीन इनटेक पर भी ध्यान देना है। वे लोग जो खाने की इस शैली को अपनाते है। उनका वज़न आसानी से कम होने लगता है।

क्यों जरूरी है मांइडफुल ईटिंग

1. पेशेंस का बढ़ना

जब आप पूरा मन लगाकर खाना खाते हैं, तो इससे आपके अंदर एक ठहराव आने लगता है। आप जल्दबाज़ी में खाने को खत्म करने की जगह उसे एजॉय करने लगते हैं। इसके चलते आप चबा चबाकर भोजन करते हैं। अब आपके अंदर पेशेंस का लेवल बढ़ने लगता है। आप खाने को बिना जल्दबाज़ी के खाते हैं।

हेल्दी प्लेट न केवल आपको घंटों तक भरा रखेगी बल्कि आपको पर्याप्त फाइबर, प्रोटीन, वसा और पोषक तत्व भी प्रदान करेगी। चित्र : शटरस्टॉक

2. लेटिंग गो की पॉलिसी फॉलो करते हैं

एनसीबीआई के मुताबिक अच्छा खाने से आपकी सोच पर भी उसका प्रभाव नज़र आने लगता है। अब आप पुरानी बीती बातों को छोड़कर आगे बढ़ने लगते हैं। अब हम जो खाते हैं। उसी में खुशी का अनुभव करने लगते हैं। हमें क्या चाहिए। इस पर ध्यान देने की जगह, हमारे पास क्या है। हमारा ध्यान हर वक्त उस पर रहता है।

3. एक्सेप्टेंस का बढ़ना

जो है उस फूड को एजॉय करने की आदत होना आपके शरीर के लिए फायदेमंद साबित होती है। अब आप खाने में आनाकानी करने की जगह हर फल और सब्जी को पूरे चाव के साथ खाने लगते हैं। इससे आपके अंदर खुशी भी बढ़ने लगती है।

माइंडफुल ईटिंग के लिए इन स्टेप्स को करें फॉलो

1 मील स्किप करने से बचें

वे लोग जो अक्सर मील स्किप करने लगते हैं। वहीं ओवरइटिंग का शिकार होने लगते हैं। बिना सोचे समझे वे कुछ भी खाने लगते हैं। फिर चाहे वो हेल्दी हो या अनहेल्दी। इसके चलते शरीर में पोषक तत्वों की कमी मदसूस होने लगती है। साथ ही शरीर कई प्रकार की समस्याओं का भी शिकार होने लगता है।

2 गेजेट्स से दूरी बना लें

जब भी आप खाने के लिए बैठें, तो उस वक्त गैजेटस से अवश्य ही दूरी बनाकर चलें। इससे न केवल आपका दिमाग विचलित होता है। साथ गैजेटस पर मौजूद किटाणु आपके लिए नुकसानदायक हो सकते हैं। खाना खाते वक्त फोन का साइलेंट मोड पर रखें और खाने का भरपूर आनंद उठाएं।इसके अलावा मील को चबा चबाकर खाएं।

खाना खाते वक्त गैजेटस से दूरी अवश्य बना लें। चित्र : एडोबी स्टॉक

3 चबा चबाकर खाना

माइंडफुल इटिंग का अगला स्टेप है खाने को पूरी तरह से चबाकर खाना। इससे खाना पचाना आसान हो जाता है। वे लोग जो खाने को चबाकर नहीं खाते हैं। उन्हें पाचन संबधी कई समस्याओं का सामना करना पड़ता है। इससे जुड़ी एक रिसर्च की मानें, तो खाने के एक निवाले को 30 बात चबाना चाहिए, ताकि खाने से निकलने वाले रस पाचन का आसान बना सकें।

4 खाना खाने से पहले डीप ब्रीदिंग करें

अगर आप खाना खाने के लिए जा रहे हैं, तो कुछ मिनटो की डीप ब्रीदिंग आपकी मेंटल हेल्थ को फायदा पहुंचाती है। दरअसल, जब आप खाने के लिए बैठते हैं, तो आपको कई प्रकार के काम याद आने लगते हैं। अगर आप कुछ देर डीप ब्रीदिंग करती है, तो आपका दिमाग शांत हो जाता है। इससे आप खाने की ओर पूरा ध्यान लगाने लगते हैं।

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5 खाने के स्वाद को महसूस करना

अगर आप मील टाइम को एजॉय करते हैं, तो इसका सकारात्मक प्रभाव सेहत पर देखने को मिलता है। ऐसे में खुद को हेल्दी बनाए रखने के लिए खाने के स्वाद, स्मैल, कलर और साउंड को महसूस करें। इससे आपका खाने से जुड़ाव बढ़ने लगेगा। साथ ही आप मेंटली तौर पर भी सुकून का अनुभव करेंगे।

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ज्योति सोही

लंबे समय तक प्रिंट और टीवी के लिए काम कर चुकी ज्योति सोही अब डिजिटल कंटेंट राइटिंग में सक्रिय हैं। ब्यूटी, फूड्स, वेलनेस और रिलेशनशिप उनके पसंदीदा ज़ोनर हैं। ...और पढ़ें

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