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शानदार है इन दिनों मौसम, पर ये पोलन एलर्जी को भी ट्रिगर कर सकता है

वसंत के मौसम में जब हर तरफ फूल खिले नजर आते हैं और हवाओं में भीनी सी सुगंध महसूस होती है, तब कुछ लोग इस मौसम में होने वाली एलर्जी से भी परेशान हो सकते हैं।
इस मौसम में आपको हो सकता है एलर्जी। चित्र : शटरस्टॉक
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हवाओं में भीनी सी सुगंध और एक खास तरह की शोखी! है न ? इन दिनों का मौसम खास है। हम सभी चाहते हैं कि काश वर्ष भर भारत का मौसम ऐसा ही रहे। यही वसंत के मौसम की खासियत है कि आप कुछ ज्यादा रोमांटिक और कुछ ज्यादा एनर्जेटिक महसूस करने लगती हैं। पर क्या आप जानती हैं कि यही मौसम कुछ लोगों के लिए परेशानी का कारण बन सकता है? जी हां, इसे पोलन एलर्जी कहा जाता है। जो फूलों के पराग कणों के हवा में फैलने के कारण होती है। 

क्या आपको इस मौसम में गले की खराश, आंखों में जलन या नाक बंद होने जैसी समस्याएं हो रही है? हां! तो इसके पीछे का कारण पोलन एलर्जी है। इस मौसम में यह एलर्जी आम है और सिर्फ भारत में ही नहीं, बल्कि दुनिया के लगभग हर देश में इसके पीड़ित मौजूद हैं। चलिए पहले पोलन एलर्जी के बारे में जानते हैं।

जानिए क्या है पोलन एलर्जी? 

बसंत के मौसम में काफी आम है पोलन एलर्जी,इससे बचकर रहें . चित्र : शटरस्टॉक

पराग या पोलन एलर्जी एक सबसे आम मौसमी एलर्जी है। लोग पोलन एलर्जी को “हे फीवर” के रूप में जानते हैं। विशेषज्ञ आमतौर पर पराग एलर्जी को “मौसमी एलर्जिक राइनाइटिस” कहते हैं। पराग दरअसल एक बहुत ही महीन पाउडर होता है जो पेड़ों, फूलों, घासो द्वारा उन्हीं प्रजाति के अन्य पौधों को निषेचित करने के लिए तैयार होता। अमेरिका के अस्थमा और एलर्जी फाउंडेशन के अनुसार, घास सबसे आम पराग एलर्जी है। 

जानिए कैसे और क्यों दिखते हैं एलर्जी के लक्षण 

पराग में सांस लेने पर बहुत से लोगों की प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया प्रतिकूल होती है।  प्रतिरक्षा प्रणाली आम तौर पर हानिकारक आक्रमणकारियों के खिलाफ शरीर की रक्षा करती है, जैसे कि वायरस और बैक्टीरिया बीमारियों को दूर करने के लिए। 

जिसके बाद हमें यह कुछ आम लक्षण देखने को मिलते है, जिसमें छींक आना, आंखों से पानी आना, आंखों में जलन होना, नाक बंद होना, गले में खराश, साइनस, खांसी,स्वाद या गंध की कमी हुई भावना, दमा की प्रतिक्रिया में वृद्धि कुछ आम लक्षण है।

पराग से बचाव है ज़रूरी। चित्र : शटरस्टॉक

जानिए कितने प्रकार की होती हैं पोलन एलर्जी 

बिर्च पोलन एलर्जी (Birch Pollen Allergy)

यह बसंत के मौसम में सबसे आम हवा की एलर्जी में से एक है। इस मौसम में जब पेड़ खेलते हैं तो वह हवा में पराग के छोटे छोटे दाने बिखेर देते हैं। जो पक्षियों हवा और जानवरों के माध्यम से काफी दूरी का सफर कर लेते हैं और मनुष्यों में एलर्जी का कारण बनते हैं।

ओक पोलन एलर्जी ( Oak Pollen Allergy)

ओक यानी शहाबलूत के पेड़ वसंत के दौरान हवा में पराग छोड़ते हैं। जबकि अन्य पेड़ों के पराग की तुलना में ओक पराग को हल्का एलर्जीनिक माना जाता है, यह लंबे समय तक हवा में रहता है। हालांकि यह भी दिखा सकता है।

घास पोलन एलर्जी  (Grass pollen Allergy)

घास से होने वाली एलर्जी गर्मियों के मौसम में सबसे आम एलर्जी में से एक है। यह कुछ सबसे गंभीर और मुश्किल-से-इलाज लक्षणों का कारण बनता है।  हालांकि, एएएएआई (AAAAI) की रिपोर्ट बताती है,कि घास पराग एलर्जी के लक्षणों से राहत के लिए एलर्जी शॉट्स और एलर्जी की गोलियां अत्यधिक प्रभावी हो सकती हैं। इससे बचाव के लिए आप कई तरीके आजमा सकते हैं।

क्या इससे बचा जा सकता है? 

अस्थमा एंड एलर्जी फाउंडेशन ऑफ अमेरिका के अनुसार पराग से बचाव के लिए कुछ चीजें आजमाई जा सकती हैं जिसमें: 

  1. इस मौसम में कम से कम घर से बाहर निकले, और बाहरी गतिविधियों को सीमित करें।
  2. हो सके तो ज्यादा से ज्यादा वक्त के लिए अपने घरों की खिड़कियों को बंद रखें।
  3. इस मौसम कि शुरू होने से पहले ही आप कुछ एंटी एलर्जी के घरेलू उपाय आजमा सकते हैं जिसमें हल्दी वाला दूध शामिल है।
  4. बालों और त्वचा पर पराग जमा हो सकता है जो आपके साथ आपके बिस्तर तक भी पहुंच सकता है ऐसे में कोशिश करें कि रात को सोने से पहले सर धो के शैंपू से नहाए।
  5. जब इस मौसम में घर से बाहर निकले तो आंखों पर काला चश्मा और सर पर टोपी जरूर बांधे।
  6. बाहर के जानवरों से ज्यादा संपर्क ना बनाएं।

ध्यान रहें कि अगर आपको ज्यादा समस्या हो रही है, तो आप डॉक्टर के पास जाने में बिल्कुल भी समय ना लगाएं। कई एंटी एलर्जी शॉट्स और दवाइयां मौजूद हैं, जो इसमें आपकी मदद कर सकते हैं। हालांकि बिना डॉक्टर के परामर्श से इसका सेवन ना करें।

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अक्षांश कुलश्रेष्ठ

सेहत, तंदुरुस्ती और सौंदर्य के लिए कुछ नई जानकारियों की खोज में ...और पढ़ें

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