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डियर वर्किंग मॉम्स, डिलीवरी के बाद काम पर लौट रहीं हैं, तो ब्रेस्टफीडिंग में हेल्प करेंगी ये 5 जरूरी चीजें

Published on:31 July 2023, 17:25pm IST

आजकल जब ज्यादातर महिलाएं वर्किंग हैं, तब उनके लिए प्रोफेशन के साथ ब्रेस्टफीडिंग को मेंटेन कर पाना मुश्किल हो जाता है। जिसकी वजह बच्चे को न तो पूरा पोषण मिल पाता है और न ही उसकी ग्रोथ सही तरह से हो पाती है।

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ब्रेस्टफीडिंग बच्चे की सेहत को बनाये रखने के साथ मां की सेहत और बच्चे और मां के बीच जुड़ाव बनाए रखने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं। मां के दूध में कई ऐसे महत्वपूर्ण पोषक तत्व पाए जाते हैं, जिसकी आवश्यकता आप कोई भी फाॅर्मूला प्रोडक्ट पूरी नहीं कर सकता। आजकल जब ज्यादातर महिलाएं वर्किंग हैं, तब उनके लिए प्रोफेशन के साथ ब्रेस्टफीडिंग को मेंटेन कर पाना मुश्किल हो जाता है। जिसकी वजह बच्चे को न तो पूरा पोषण मिल पाता है और न ही उसकी ग्रोथ सही तरह से हो पाती है। सिर्फ इतना ही नहीं, यह नई मां के लिए भी तनावपूर्ण स्थिति होती है। मगर चिंता न करें, क्योंकि हेल्थ शॉट्स पर हम यहां कुछ ऐसी चीजों के बारे में बताने जा रहे हैं, जो प्रोफेशन के साथ आपको ब्रेस्टफीडिंग मेंटेन करने में भी मदद करेंगी।

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ब्रेस्ट पंप का प्रयोग करें - एक अच्छी क्वालिटी का ब्रेस्ट पंप खरीदें, पंप किये गए दूध को लगभग 4 घंटों के लिए रूम टेम्प्रेचर पर रख सकती हैं। यदि दूध को लंबे समय तक स्टोर करना चाहती हैं, तो इसे रेफ्रिजेटर में रखें। बच्चे को संभाल रहे व्यक्ति के लिए यह जानना जरूरी है कि वह पहले रेफ्रिजरेटेड दूध को रूम टेंपरेचर पर आने दें और उसके बाद ही बेबी को पिलाए। पम्पिंग से ब्रेस्टफीडिंग मदर्स को अपना दूध उत्पादन बनाए रखने में भी मदद मिलेगी। बच्चे को पंप मिल्क पीने की आदत डालने के लिए ऑफिस शुरू करने से पहले रोजाना बच्चे को एक से दो बार बोतल से दूध पिलायें।

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नर्सिंग ड्रेस पहनें - वापस से ऑफिस शुरू करने से पहले कुछ नर्सिंग ड्रेस जरूर ले लें। यह कार्यस्थल पर आपका टाइम सेव करने के साथ ही ब्रेस्टपंपिंग को आसान बना देंगी। जब आप अपने बच्चे को दूध पिला रही हों या दूध निकाल रही हों, उस दौरान ये कपड़े उपयोगी साबित हो सकते हैं। इस दौरान ब्रेस्ट पैड और मिल्क स्टोरेज बैग को कैरी करना न भूलें, इन्हे जरूर रखें क्युकी किसी भी वक्त आपको इसकी जरुरत हो सकती है।

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फीडिंग शेड्यूल बनाएं - अपने बच्चे को दूध पिलाने का एक दैनिक कार्यक्रम निर्धारित करना आपको तनावमुक्त रखने में मददगार साबित होगा। काम पर जाने से ठीक पहले और घर वापस आने के बाद अपने ब्रेस्टफीड करें। आप अपने शिशु की देखभाल करने वाले को सूचित कर सकती हैं कि आपके लौटने के समय के कुछ देर पहले से बच्चे को दूध न पिलाएं। ऐसा करने से आप बच्चे के साथ स्किन टु स्किन कांटेक्ट में रह सकती हैं जो शिशु की हेल्दी ग्रोथ के लिए बेहद महत्वपूर्ण है।

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जरुरत पड़ने पर सपोर्ट लें - एक ही समय में काम, घर और बच्चे का पालन-पोषण करना आपकी मानसिक तथा शारीरिक स्थिति पर भारी पड़ सकता है। सब कुछ अपने आप करने की कोशिश करने के बजाय, मदद मांगें। ऐसी कई संस्थाएं हैं जो ब्रेस्टफीडिंग मदर्स के लिए बनाई गयी हैं। आप उनसे कनेक्ट होकर अपनी परेशानी शेयर कर सकती हैं। वे आपके ऑफिस अधिकारों के प्रति आपको जागरूक करने के अलावा ऑफिस में ब्रेस्ट पम्पिंग और ब्रेस्ट फीडिंग से जुड़े आवश्यक टिप्स देकर आपकी मदद करने की कोशिश करेंगे।

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