Healthshots
By Jyoti Sohi
Published Nov 14, 2023
ढ़ेर सारे पोषक तत्वों से भरपूर त्रिफला का सेवन करने से वेटलॉस में भी मदद मिलती है। आंवला, हरड़ और बहेड़ा से तैयार होने वाला ये खास आयुर्वेदिक चूर्ण जो शरीर में मौजूद टॉक्सिंस को दूर करके शरीर के वज़न को संतुलित बनाए रखने में मदद करता है।
इसमें पाए जाने वाले फाइटोकेमिकल शरीर में ब्लड शुगर के स्तर को संतुलित बनाए रखते हैं। इससे कुछ भी खाने के बाद शरीर में बढ़ने वाले ग्लेकोज़ के लेवल को मेंटेन करता है। इससे अतिरिक्त फैट्स शरीर में स्टोर होने से बच जाते हैं।
कब्ज, ब्लोटिंग और एसिडिटी की समस्या को हल करने के लिए त्रिफला चूर्ण मददगार साबित होता है। इससे पाचन संबधी समस्याएं हल होने लगती हैं और मेटाबॉलिज्म बूस्ट होता है। त्रिफला को आप शहद में मिलाकर भी खा सकते हैं। दिनभर में एक चुटकी त्रिफला से आपका पाचनतंत्र मज़बूत होने लगता है।
अगर आप मूड स्विंग की समस्या से जूझ रहे हैं, तो त्रिफला का सेवन करने से तनाव और एंग्जाइटी से राहत मिल जाती है। मन को शांति की प्राप्ति होती है और आप मानसिक तौर पर खुद को रिलैक्स महसूस करने लगते है। इसे गुनगुने पानी में मिलाकर पी सकते हैं।
त्रिफला में एंटीऑक्सीडेंटस की प्रचुर मात्रा पाई जाती है। इसकी मदद से शरीर में पाए जाने वाले बैक्टीरियल इन्फेक्शन को खत्म करके शरीर को हेल्दी और मज़बूत बनाया जा सकता है। इसको पानी में उबालकर पीने से भी शरीर एक्टिव बनता है। आप चाहें तो उसमें शहद भी मिला सकती हैं।
चेहरे पर होने वाली मुहांसे और पिगमेंटेशन को दूर करने में भी त्रिफला का चूर्ण कारगर साबित होता है। इससे स्किन में मौजूद फ्री रेडिकल्स से मुक्ति मिलती है। इसके अलावा वे लोग जो त्वचा के रूखेपन से परेशान है। उनकी स्किन पर भी ग्लो लौटने लगता है। त्रिफला के औषधीय गुण त्वचा को मॉइश्चराइज रखती है।
मुंह की दुर्गंध को दूर करने के लिए त्रिफला के चूर्ण के पानी से कुल्ला करने से सांसों में ताज़गी लौटने लगती है। इसके अलावा दांतों में दर्द, सूजन व ब्लीडिंग से राहत पाने के लिए इस चूर्ण को दांतों पर मलें और उसे अंदर ले जाने की जगह लार को टपकने दें। इससे दांतों को मज़बूती मिलने लगती है।