By Jyoti Sohi
Published Feb 09, 2025
भुजंगासन यानि कोबरा पोज़ सूर्य नमस्कार की बारह मुद्राओं में सातवें स्थान पर किया जाता है। इसे करने से न केवल मांसपेशियां मज़बूत बनती हैं बल्कि शरीर में अतिरिक्त कैलोरीज़ को भी बर्न किया जा सकता है। इस बैकबेंड पोज़ को आसानी से घर पर किया जा सकता है। जानते हैं नियमित रूप से भुजंगासन करने के फायदे
वज़न कम करने में मददगार
इस योगासन का अभ्यास करने से पेट की मांसपेशियों में खिंचाव बढ़ने लगता है, जो फैट बर्न में मदद करती है। इस योग मुद्रा को नियमित रूप से करने से मेटाबॉलिज्म को बूस्ट करके पेट के आसपास जमा फैट्स को बर्न करने में मदद मिलती है। इससे शरीर में बढ़ने वाली थकान से भी बचा जा सकता है।
तनाव से मिलेगी मुक्ति
ये योगासन शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य दोनों के लिए ही कारगर है। नियमित रूप से इस योग मुद्रा का अभ्यास करने से तनाव और एंग्ज़ाइटी कम होने लगती है। इससे शरीर में रक्त का प्रवाह उचित बना रहता है, जिससे मूड बूस्ट होता है। साथ ही किसी कार्य पर फोकस करने की क्षमता में भी सुधार आता है।
फेफड़ों के स्वास्थ्य का रखे ख्याल
फेफड़ों की क्षमता को बढ़ाने में भुजंगासन फायदेमंद योग मुद्रा है। इससे सांस पर नियंत्रण बना रहता है, जिससे लंग्स की कपेसिटी में सुधार होता है। दिन में दो बार इसका अभ्यास करने से रंस्पीरेटरी हेल्थ बूस्ट होती है और वे लोग अस्थमा से ग्रस्त है, उन्हें ब्रीदिंग की समस्या से मुक्ति मिल जाती है।
गर्दन में ऐंठन से राहत
भुजंगासन से जहां शरीर के पोश्चर में सुधार आने लगता है, तो वहीं इस दौरान गर्दन और कंधे स्ट्रेच होने लगते हैं, जिससे थकान और दर्द से राहत मिलती है। साथ ही शरीर का लचीलापन बढ़ने लगता है। वे लोग जो पीठ व कमर में बढ़ने वाले दर्द से परेशान हैं, उन्हें इस योगासन को अवश्य करना चाहिए।
पाचनतंत्र को बनाए सुचारू
नियमित रूप से योगाभ्यास करने से पेट की मांसपेशियों में खिंचाव बढ़ने लगता है, जिससे अपच की समस्या हल होने लगती है। साथ ही ब्लोटिंग और कब्ज से भी राहत मिलती है। इसका अभ्यास करने से पेट की मांसपेशियों की मज़बूती बढ़ जाती है। इससे डायतेस्टिव सिस्टम बूस्ट होने लगता है।
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