मिलिए बिजनेस वुमेन भावना तूर से, जिनके लिए माइंडफुलनेस ही बन गई सफलता की कुंजी

शीनॉमिक्स की फाउंडर और सीईओ भावना तूर बताती हैं काम मे माइंडफुलनेस का महत्व। जानिए कैसे भावना ने माइंडफुल बनना सीखा।
भावना तूर ने जाना माइंडफुलनेस आपकी प्रोडक्टिविटी और ज्‍यादा बढ़ा देती है। चित्र: भावना तूर
भावना तूर ने जाना माइंडफुलनेस आपकी प्रोडक्टिविटी और ज्‍यादा बढ़ा देती है। चित्र: भावना तूर

मैं अपने शुरुआती 30s में थी जब मेरे मन में इस तरह के सवाल आने लगे – मैं कौन हूं, मेरे जीवन में महत्वपूर्ण क्या है और समाज पर मेरा प्रभाव क्या है! इसमें से किसी भी सवाल का सटीक जवाब मेरे पास नहीं था।

मेरे पास सिर्फ एक चीज थी- इन सवालों के जवाब तक पहुंचने का धैर्य, जिसके लिए मैं आध्यात्मिक रूप से जीवन के अर्थ को ढूंढ रही थी। इसी खोज में मैं विपासना मेडिटेशन रिट्रीट पहुंची जहां दिन में 10 घण्टे, 10 दिन के लिए मेडिटेट किया जाता है।

पहली बार मेडिटेशन मैट पर बैठते ही मुझे एक बात साफ समझ आ गई- मेरे जीवन की गुणवत्ता मेरे मनोस्थिति पर ही निर्भर है। या तो मैं अपने दिमाग को अपने जीवन पर हावी होने दे सकती हूं या मैं अपने दिमाग को केंद्रित कर के अपने आज को सुधार सकती हूं।

मेडिटेशन आपको ज्‍यादा बेहतर बनाती है। चित्र: शटरस्‍टॉक
मेडिटेशन आपको ज्‍यादा बेहतर बनाती है। चित्र: शटरस्‍टॉक

खुद को बेहतर बनाने के लिए आज पर फोकस करना सबसे ज्यादा जरूरी है। जब आप अपने मन को इस तरह प्रशिक्षित कर लेते हैं कि आप सिर्फ वर्तमान पर ध्यान दें और वर्तमान को बेहतर बनाएं, तो उसे माइंडफुलनेस कहते हैं।

जीवन के प्रति माइंडफुल होना, काम के प्रति माइंडफुल होना, रिश्ते के प्रति माइंडफुल होना- सब एक ही चीज हैं। आप हर पल से पूछते हो कि क्या यह आपका बेस्ट रूप है।

आप अपने सौ प्रतिशत क्षमता से काम करते हैं जब आपका विचार, कर्म और विश्वास एक ही दिशा में केंद्रित होता है।

माइंडफुल लीडरशिप का मुख्य केंद्र है अपनी दिशा को समझना। एक बार आपको अपना अर्थ साफ हो जाता है, तो फिर आप उसी दिशा में काम करते हैं। आपके जीवन का सार, आपके जीवन का अर्थ आपको रास्ता दिखाता है। यूं समझिए कि इस जीवन में हम समुद्र में भटके सेलर की तरह हैं और जीवन का अर्थ ध्रुव तारे के समान जिसकी मदद से हम अपनी मंजिल तक पहुंचते हैं।

भावना मेडिटेशन से अपनी एनर्जी को फोकस करती हैं। चित्र: भावना तूर
भावना मेडिटेशन से अपनी एनर्जी को फोकस करती हैं। चित्र: भावना तूर

मेरे लिए मेरा काम ही मेरे जीवन का केंद्र बना है। एक बार आप अपना केंद्र खोज लें, तो आप अपने जीवन को गंभीरता से लेते हैं और हर पल को बेहतर बनाने के प्रयास में लगे रहते हैं। मेरे लिए मेरे काम में ही आनंद है।

शीनॉमिक्स में मैं महिलाओं को उनके जीवनयापन का सहारा देती हूं, ऐसे में मेरे लिए आवश्यक है कि मैं अपने काम के प्रति आस्था रखूं। मैं खुद तो इस काम के प्रति माइंडफुल हूं ही, टीम के रूप में भी हम अपने सभी एक्शन्स और निर्णय को अपने अर्थ के अनुसार ही रखते हैं।

मैं अपनी ग्रोथ की बहुत कद्र करती हूं क्योंकि जब तक मैं खुद को बेहतर बनाने के लिए पुश नहीं करूंगी तब तक मैं दूसरों को भी प्रेरित नहीं कर सकती। औरों की ग्रोथ के लिए आपको खुद का उदाहरण पेश करना ही चाहिए। मेरी कंपनी की नींव ही यह विचारधारा है।

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मेरा मानना है कि आप जैसे एक काम करते हैं, आप हर काम उसी अप्रोच के साथ करते हैं। यही हम माइंडफुलनेस में समझते हैं। अपने हर पल में अपना बेस्ट देना सीखें ताकि आप अपने आने वाले कल को बेहतर बना सकें। मैंने माइंडफुलनेस के सिद्धांत पर ही यह बिजनेस खड़ा किया है और आगे भी मैं इसी आधार पर पूरा जीवन चलूंगी।

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ये बेमिसाल और प्रेरक कहानियां हमारी रीडर्स की हैं, जिन्‍हें वे स्‍वयं अपने जैसी अन्‍य रीडर्स के साथ शेयर कर रहीं हैं। अपनी हिम्‍मत के साथ यूं  ही आगे बढ़तीं रहें  और दूसरों के लिए मिसाल बनें। शुभकामनाएं! ...और पढ़ें

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