तापमान 50 के पार पहुंच रहा है और गर्मी अपने चरम पर पहुंच कर अपना रौद्र रूप दिखा रही है। ऐसी गर्मी में अगर आप धूप में बाहर निकले तो आपकी स्किन के साथ कई सारी परेशानी हो सकती है। उन्ही में से एक स्किन के परेशानी है घमौरियों का होना। ये स्किन की समस्या बच्चों को ज्यादा परेशान करती है। आज कल गर्मियों की छुट्टियां है और बच्चों को घर में रोकना बहुत मुश्किल हो जाता है। गर्मी में बच्चों के खेलने के कारण पसीना आता है जिससे घमौरियां हो जाती है। ये घमौरियां बच्चों को काफी परेशान करती है। जाने घमौरियां से बच्चों को बचाने के लिए कुछ टिप्स।
घमौरी, जिसे मिलिरिया के नाम से भी जाना जाता है, त्वचा पर होने वाला एक चकत्ता है जो पसीने के त्वचा के नीचे फंस जाने के कारण होता है। यह तब होता है जब पसीने को सतह तक ले जाने वाली संकरी नलिकाएं बंद हो जाती हैं। घमौरी गर्म, नम वातावरण में अधिक आम है और आमतौर पर छाती, गर्दन और जांघों पर दिखाई देती है, खासकर उन क्षेत्रों में जहां त्वचा त्वचा से रगड़ खाती है।
घमौरी तब होती है जब पसीने की नलिकाओं में बाधा होने के कारण त्वचा के नीचे पसीना फंस जाता है। यह रुकावट गर्म, ह्युमिडिटी वाली परिस्थितियों में अत्यधिक पसीने के कारण हो सकती है, जहां शरीर सामान्य से अधिक पसीना पैदा करता है।
फंसे हुए पसीने के कारण सूजन और एक विशिष्ट लाल, खुजलीदार दाने होते हैं। इस स्थिति में योगदान देने वाले कारकों में तंग कपड़े पहनना, हैवी क्रीम या लोशन का उपयोग करना और ऐसी गतिविधियां करना शामिल है जो पसीना बढ़ाती हैं।
बच्चे और ऐसे व्यक्ति जिन्हे गर्म जलवायु की आदत नहीं है उनकी स्किन बहुत संवेदनशील होती हैं। घमौरियों से बचाव के लिए त्वचा को ठंडा और सूखा रखना, ढीले-ढाले कपड़े पहनना और जब भी संभव हो तो ठंडी जगह पर रहने की कोशिश करें।
डर्मेटोलॉजिस्ट डॉ. मानसी शिरोलीकर ने घमौरियों के बारे में कुछ बातें बताई है चलिए उनके बारे में जानते है।
डॉ. मानसी शिरोलीकर बताती है कि आमतौर पर घमौरियां अपने आप ठीक हो जाती हैं, लेकिन इसके कुछ परेशान करने वाले लक्षण हो सकते हैं। कई लोग घरेलू उपचारों का उपयोग करके लाभ उठा सकते हैं।
जिस जगह पर आपको घमौरियां है उस जगह पर आइस पैक या कपड़े को गीला करके सेकें। इससे आपको रेडनेस, सूजन और खुजली को कम करने में मदद मिल सकती है। अगर आप स्किन पर आइस पैक से सेक रहें हैं तो आपको बर्फ को किसी तौलिये या कॉटन के कपड़े में लपेट लेना है फिर इसे स्किन पर अप्लाइ करना है।
नहाते समय ठंडे पानी से नहाने की कोशिश करें। ठंडे पानी से नहाने से आपकी त्वचा के तापमान को कम करने और खुजली को कम करने में भी मदद कर सकता है। इससे आपको रोमछिद्र खुल सकते है। अगर आप एक्सफ़ोलिएंट का इस्तेमाल कर रहें है तो ये भी आपके लिए अच्छा साबित हो सकता है।
कोलाइडल ओटमील एक्सट्रैक्ट के एंटी-इंफ्लेमेटरी और एंटीऑक्सीडेंट प्रभाव होते है। जो आपकी स्किन में खुजली और सुखदायक प्रभाव लाने में मदद कर सकते है।
कोलाइडल ओटमील पाउडर बाजार में मिलता है। अगर आपके पास ये नहीं है तो आप आप ओट्सा को पीसकर भी इसे बना सकती है।
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कस्टमाइज़ करेंअपने कमरे को ठंडा करने के लिए पंखे या एयर कंडीशनिंग का उपयोग करें। अगर आप बिस्तर पर आराम कर रहे हैं, तो अपने पूरे शरीर में अच्छे से हवा लगने दें। इससे घमौरियों में होने वाली खुजली या जलन से पर राहत मिल सकती है।
गर्मियों में ढीले-ढाले सूती कपड़े पहनें, ताकि आपके पसीना स्किन पर न फंसे।
ठंडे पानी से नहाएं और बार-बार नहाएं, खास तौर पर अगर आप गर्म और बहुत नमी वाले वातावरण में है तो।
जितना संभव हो सके अपने आप को और अपने शरीर को ठंडा रखने की कोशिश करें
सूती या लिनन आधारित, हल्के बिस्तर का इस्तेमाल करें ताकि इसमें पसीन आसानी से सूख जाए।
खूब सारा पानी और तरल पदार्थ पीकर हाइड्रेटेड रहें। इसके लिए आप नारियल पानी, नींबी पानी, सत्तू पानी, सौंफ का शरबत और लस्सी पी सकते है।
शिशु के मामले में, डायपर या नैपी को गंदा होते ही बदल दें। ताकि वो स्किन पर पसीने के कारण रैश न कर दे।
कॉमेडोजेनिक उत्पादों, जैसे कि हैवी मॉइस्चराइज़र, ऑक्लूसिव आदि का उपयोग करने से बचें, जो आपके छिद्रों को बंद कर सकते हैं।
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