कई बार आपको भी ऐसा महसूस हुआ होगा कि आप जितना भी खा रहें है लेकिन आपका पेट भरने का नाम ही नहीं ले रहा है। आपको बार बार भूख लगे जा रही है। ऐसे में आप कैलोरी का अधिक सेवन करते है और साथ ही आपकी शुगर क्रेविंग को पूरा करने के कारण आपका वजन भी बढ़ जाता है। लगातार भूख आपके मूड, शारीरिक स्वास्थ्य और समग्र कल्याण को प्रभावित कर सकती है। अगर आपको भी ऐसा लगता है कि आपकी भूख बढ़ गई है तो ऐसी कई कारणों से हो सकता है।
मेडिकवर अस्पताल के पोषण और आहार विज्ञान विभाग में कार्यरत डॉ. राजेश्वरी पांडा बताती है कि हार्मोन में उतार चढ़ाव, नींद की कमी, खराब जीवशैली, तनाव ये कई कारण है जिससे आपकी भूख प्रभावित हो सकती है। कई बार आप तनाव के कारण बींड इटिंग का भी शिकार होते है। कई आंतरिक और बाहरी प्रभाव आपकी भूख को बढ़ा सकते है। कई बार ये चीजें व्यवहार में बलाव करके ठीक हो सकती है लेकिन समस्या गंभीर होने पर आपको डॉक्टर को भी दिखाना पड़ सकता है।
डिप्रेशन, एंग्जाइटी और उदासी जैसी भावनाओं से बचने और उनका सामना करने के लिए कई लोग इमोशनल इटिंग करते है। हाइपोथैलेमस मस्तिष्क का वह हिस्सा जो भूख लगने या पेट भरा होने के संकेतों को मैनेज करने में मदद करता है। आगर आपका हाइपोथैलेमस ठीक से काम नहीं कर रहा होता, तो भी आपको बहुत भूख लग सकती है।
मीठे या वसायुक्त खाद्य पदार्थ खाने से हार्मोन का स्राव हो सकता है, जिससे कम से कम थोड़ी देर के लिए खुशी या संतुष्टि महसूस होती है। लेकिन ये आपके स्वास्थ्य पर नाकारातमक प्रभाव डाल सकता है।
जब थायराइड बहुत अधिक बढ़ जाता है, तो आपका शरीर सामान्य से अधिक कैलोरी बर्न कर सकता है, जिससे भूख बढ़ सकती है। ग्रेव्स एक ऐसी बिमारी है जिसके कारण बहुत अधिक थायराइड हार्मोन का उत्पादन होता है। यह आपके शरीर को बहुत अधिक सक्रिय करता है, जिससे आपको अन्य अप्रिय लक्षणों के साथ-साथ भूखा, एंग्जाइटी और अधिक पसीना आने की समस्या हो जाती है।
जब भी आप कभी रात में देर से सोते हैं और सुबह जल्दी उठते हैं तो आप पाते हैं कि पूरे दिन आपको भूख अधिक परेशान करती है। नींद की कमी भी अधिक भूख लगने का एक कारण बनकर सामने आई है। पर्याप्त नींद न लेने से घ्रेलिन (भूख लगने का संकेत देने वाले हार्मोन) का स्तर बढ़ सकता है। यही कारण है कि आपको हर रात 7 से 8 घंटे की नींद लेनी चाहिए।
यदि आपका ब्लड शुगर आपके कंट्रोल में नहीं है, तो आपको अधिक भूख महसूस हो सकती है। जब आप खाते हैं, तो आपके भोजन में मौजूद कार्बोहाइड्रेट ग्लूकोज में टूट जाते हैं। इंसुलिन आपके शरीर को उस ग्लूकोज को ऊर्जा में बदल देता है। जब आपके शरीर को पता चलता है कि उसकी ऊर्जा (ग्लूकोज) कम हो रही है, तो वह भूख के संकेत भेजना शुरू कर देता है। ताकि आप फिर से ऊर्जा प्राप्त कर सकें।
फाइबर, प्रोटीन और वसा सभी ऐसे महत्वपूर्ण पोषक तत्व हैं, जो आपको खाने के बाद पेट भरा हुआ महसूस करवाते हैं। यदि आप जिस भोजन का सेवन कर रहे हैं, उसमें ये पोषक तत्व पर्याप्त मात्रा में नहीं हैं, तो यह हर समय भूख लगने का कारण हो सकता है।
भूख में उतार-चढ़ाव हमारे जीवन का एक सामान्य हिस्सा है। अगर आपकी भूख में अचानक वृद्धि हुई है, या यदि आपकी क्रेविंग, खाने की आदतों या स्वस्थ वजन को बनाए रखना मुश्किल हो रहा है, तो आपको इस लक्षण के बारे में जानकारी लेनी चाहिए।
यदि आपको हद से ज्यादा भूख लग रही है, तो इसके लिए हार्मोन संतुलन की जांच करा सकते हैं। हाइपरथायरायडिज्म जैसी समस्या के कारण भूख बढ़ सकती है। अगर जीवनशैली में बदलाव करके आपको फर्क नहीं दिख रहा है, तो आपको डॉक्टर से जरूर मिलना चाहिए।
अगर आपकी भूख बढ़ने के साथ आपके बाल बहुत अधिक झड़ने लगे हैं, चेहरे पर पिगमेंटेशन होने लगी है और मूड स्विंग्स बहुत ज्यादा हो रहे हों, तो आपको तुरंत डॉक्टर से मिलना चाहिए। यह किसी अंतर्निहित स्वास्थ्य समस्या के कारण भी हो सकता है।
ये भी पढ़े- इम्युनिटी भी बढ़ाती है हरी मिर्च, ट्राई करें हरी मिर्च के अचार की ये इंस्टेंट रेसिपी