कोरोनावायरस भी हो सकता है निमोनिया का एक कारण, जानिए इससे कैसे बचना है

बदलता मौमस चाहें सर्दी का हो या गर्मी का, कमज़ाेर इम्युनिटी वाले लोगों के लिए जोखिम ग्रस्त हो सकता है। ऐसे में बच्चों और बुजुर्गों का सबसे ज्यादा ख्याल रखने की जरूरत होती है।
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कोरोनावायरस के बाद से अस्थमा के मामलों में भी वृद्धि हुई है। चित्र : शटरस्टॉक

मौसम बदल रहा है और कोविड – 19 का खतरा अभी टला नहीं है। इसलिए सेहत का ध्यान रखना बहुत ज़रूरी है। खासकर उन लोगों के लिए जिनकी इम्युनिटी कमजोर (Weak Immunity) है। निमोनिया (Pneumonia) ऐसी ही बीमारियों में से एक है, जो बदलते मौसम में बेहद आम हैं। ये बच्चों और बूढ़ों को आसानी से अपनी गिरफ्त में ले सकती है। इसे नज़रअंदाज़ करना आप पर भारी पड़ सकता है।

इसलिए जब मौसम बदल रहा हो तो उन कारणों को जानें जो निमोनिया (Causes of Pneumonia) के लिए जिम्मेदार हो सकते हैं। क्योंकि तभी निमोनिया से बचाव (How to avoid Pneumonia) और उपचार (Pneumonia treatment) की दिशा में आगे बढ़ा जा सकता है।

क्या है निमोनिया (Pneumonia) ?

निमोनिया एक संक्रमण है जो एक या दोनों फेफड़ों में वायुकोषों को फुलाता है। हवा की थैली तरल पदार्थ या मवाद (प्यूरुलेंट सामग्री) से भर सकती है, जिससे कफ या मवाद के साथ खांसी, बुखार, ठंड लगना और सांस लेने में कठिनाई हो सकती है। बैक्टीरिया, वायरस और कवक सहित विभिन्न प्रकार के जीव निमोनिया का कारण बन सकते हैं।

यह हल्का भी हो सकता है, लेकिन यदि इलाज न कराया जाए, तो जानलेवा बन सकता है। यह शिशुओं और छोटे बच्चों, 65 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों और स्वास्थ्य समस्याओं या कमजोर प्रतिरक्षा प्रणाली वाले लोगों के लिए सबसे गंभीर हो सकता है।

kya covid 19 badha sakta hai pneumonia ka jokhim
क्या कोविड – 19 बढ़ा सकता है निमोनिया का जोखिम? चित्र : शटरस्टॉक

जानिए क्या हैं निमोनिया के लक्षण?

निमोनिया के लक्षण रोगाणु के प्रकार और आपकी उम्र और समग्र स्वास्थ्य पर निर्भर करते हैं। हल्के लक्षण अक्सर सर्दी या फ्लू के समान होते हैं, लेकिन वे लंबे समय तक चलते हैं।

निमोनिया के लक्षणों (Pneumonia Symptoms) में शामिल हैं:

सांस लेने या खांसने पर सीने में दर्द
भ्रम या मानसिक जागरूकता में बदलाव
खांसी, जो कफ पैदा कर सकती है
थकान
बुखार, पसीना और कंपकंपी
घबराहट, उल्टी या दस्त
सांस लेने में कठिनाई

नवजात शिशुओं और छोटे बच्चों में ज़रूरी नहीं है कि लक्षण दिखाई दें। मगर उन्हें उल्टी, बुखार और खांसी हो सकती है, वे बेचैन या थके हुए दिखाई दे सकते हैं, या उन्हें सांस लेने और खाने में कठिनाई हो सकती है। डिवाइन सोल योगा के फाउंडर, डॉ दीपक मित्तल के अनुसार ”निमोनिया में शिशुओं को खाने या पीने में असमर्थता या इससे भी बदतर अनुभव हो सकता है।”

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क्यों होता है निमोनिया (Pneumonia Causes)?

कई कीटाणु निमोनिया का कारण बन सकते हैं। हम जिस हवा में सांस लेते हैं, उसमें सबसे ज़्यादा बैक्टीरिया और वायरस हैं। आपका शरीर आमतौर पर इन कीटाणुओं को आपके फेफड़ों को संक्रमित करने से रोकता है। मगर कभी-कभी ये रोगाणु आपकी प्रतिरक्षा प्रणाली पर हावी हो सकते हैं, भले ही आपका स्वास्थ्य अच्छा हो।

सामाजिक जगहों पर फैलने वाला निमोनिया (Community-acquired pneumonia) – यह निमोनिया का सबसे आम प्रकार है। यह अस्पतालों या अन्य स्वास्थ्य सुविधा केंद्र के बाहर होता है। इसके कई कारण हो सकते हैं:

बैक्टीरिया – यू.एस. में जीवाणु निमोनिया का सबसे आम कारण स्ट्रेप्टोकोकस निमोनिया है। इस प्रकार का निमोनिया अपने आप हो सकता है या आपको सर्दी या फ्लू होने के बाद हो सकता है। यह फेफड़े के एक हिस्से को प्रभावित कर सकता है।

फंगाई – इस प्रकार का निमोनिया पुरानी स्वास्थ्य समस्याओं या कमजोर प्रतिरक्षा प्रणाली वाले लोगों में सबसे आम है। इसका कारण बनने वाले कवक मिट्टी या पक्षी की बूंदों में पाए जा सकते हैं और भौगोलिक स्थिति के आधार पर भिन्न हो सकते हैं।

वायरस जैसे कोविड19 (Covid – 19) – कुछ वायरस जो सर्दी और फ्लू का कारण बनते हैं, निमोनिया का कारण बन सकते हैं। 5 साल से कम उम्र के बच्चों में निमोनिया का सबसे आम कारण वायरस हैं। वायरल निमोनिया आमतौर पर हल्का होता है। लेकिन कुछ मामलों में यह बहुत गंभीर भी हो सकता है। कोरोनावायरस निमोनिया का कारण बन सकता है, जो गंभीर हो सकता है।

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निमोनिया बदलते मौसम में बेहद आम है। चित्र : शटरस्टॉक

डॉ दीपक मित्तल के अनुसार ”निमोनिया विश्व में बच्चों की मौत का सबसे बड़ा संक्रामक कारण है। कुपोषण, अस्वास्थ्यकर जीवनशैली और कमजोर प्रतिरक्षा बैक्टीरिया या वायरल निमोनिया के प्रमुख कारक हैं। यदि इसका निदान नहीं किया जाता है, तो यह श्वसन तंत्र के किसी भी अन्य जीवाणु या वायरल संक्रमण की तरह आसानी से फैल सकता है।”

तो निमोनिया के जोखिम को कैसे कम किया जा सकता है?

फ्लू और कोविड -19 के टीकाकरण के अलावा, निमोनिया से बचने के लिए आप अन्य चीजें भी कर सकते हैं:

यदि आप धूम्रपान करते हैं, तो छोड़ने का प्रयास करें। धूम्रपान आपको श्वसन संक्रमण, विशेष रूप से निमोनिया के प्रति अधिक संवेदनशील बनाता है।

अपने हाथों को नियमित रूप से साबुन और पानी से कम से कम 20 सेकंड तक धोएं।

अपनी खांसी और छींक को ढकें। इस्तेमाल किए गए टिश्यू को तुरंत डिस्पोज करें।

अपनी प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत करने के लिए एक स्वस्थ जीवन शैली बनाए रखें। पर्याप्त आराम करें, संतुलित आहार लें और नियमित व्यायाम करें।

डॉ दीपक कहते हैं कि ”निर्वाण प्राणायाम, जो की होठ से सांस लेने प्रक्रिया है, जिसमें हम प्रभावी सांस लेते हैं और धीरे-धीरे मुंह से सांस छोड़ते हैं, यह निमोनिया को रोकने के लिए एक प्रभावी अभ्यास है।”

इन टिप्स को अपनाकर और सही समय पर डॉक्टर को दिखाकर आप निमोनिया होने के जोखिम को कम करने में मदद कर सकते हैं।

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