महिलाओं के लिए चिंता का विषय है लीकी यानी टपकता ब्लैडर। हो सकता है आप भी इस समस्या से जूझ रही हों, बस आपको मालूम न हो। क्या है यह समस्या, क्यों होती है और क्या इलाज है, जानते हैं सेलेब्रिटी डाइटीशियन एंड न्यूट्रीशनिस्ट रुजुता दिवाकर से।
क्या आपके साथ ऐसा हुआ है कि कुछ भारी उठाया और थोड़ी सी पेशाब निकल गयी? या छींकने पर जरा सी पेशाब हो गयी? अगर हां तो आपको यूरिनरी इंकॉन्टिनेंस या लीकी ब्लैडर की समस्या है।
यूरिनरी ब्लैडर यानी वह थैली जिसमें किडनी से पेशाब जाकर इकट्ठा होती है और ब्लैडर भर जाने पर शरीर से बाहर निकल जाती है।
रुजुता बताती हैं, “जब आपका यूरिनरी ब्लैडर कमजोर हो जाता है तो वह पूरा भरने से पहले ही टपकने लगता है। इसी स्थिति को यूरिनरी इंकॉन्टिनेंस कहते हैं। लीकी ब्लैडर की समस्या वर्कआउट करते वक्त, कुछ भारी काम करते वक्त, छींकते वक्त या पेशाब करने के तुरन्त बाद होती है। लेकिन गम्भीर स्थिति में यह कभी भी हो सकती है।”
वे इसके लिए कारण बताती हैं, “ब्लैडर की मांसपेशियों का कमजोर हो जाना। आयरन की कमी यूरिनरी इंकॉन्टिनेंस का प्रमुख कारण है। 40 वर्ष की आयु के ऊपर की महिलाओं में यह समस्या सबसे आम होती है। और कारण जो भी हो, यह स्थिति शर्मिंदगी भरी होती है। लीकी ब्लैडर का समय पर इलाज न किया जाए तो यह कुछ बूंद पेशाब की मात्रा बढ़ भी सकती है और ब्लैडर का पूरा नियंत्रण भी खो सकता है।”
समस्या हो जाने के बाद इसे ठीक नहीं किया जा सकता सिर्फ नियंत्रित किया जा सकता है। लेकिन 30s से ही इन फूड्स का सेवन करेंगी तो इस समस्या से निजात पाया जा सकता है।
आपके किचन में मौजूद छुआरा आपके पाचन तंत्र के साथ-साथ आपके ब्लैडर के लिए भी फायदेमंद है। छुआरा यूं तो फाइबर और मिनरल्स का भंडार होता है जो पेट में हेल्दी बैक्टीरिया को बढ़ाता है और पाचन दुरुस्त रखता है।
साथ ही साथ छुआरा आयरन का बहुत समृद्ध स्रोत है। ना केवल यह आपको आयरन प्रदान करता है बल्कि शरीर में आयरन को सोखने में भी मदद करता है। दिन में चार से पांच छुआरे जरूर खाएं। आप दूध में उबालकर छुआरे का सेवन कर सकती हैं या स्नैक के रूप में खा सकती हैं। समय पर इसे आहार में शामिल करने से आपको लीकी ब्लैडर की समस्या नहीं होगी।
वैसे तो सभी तरह की दाल, मटर और बीन्स हमारे स्वास्थ्य के लिए बड़ी फायदेमंद होती हैं, लेकिन मूंग सबसे अधिक फायदों वाली दाल है। मूंग, खासकर साबुत मूंग फाइबर और एमिनो एसिड्स में भरपूर होती है। मैगजीन ‘न्यूट्रिशन डेटा’ के अनुसार 200 ग्राम मूंग में 14 ग्राम प्रोटीन और 15 ग्राम फाइबर होता है। इसके अतिरिक्त मूंग में 30 प्रतिशत मैगनीज, 24 प्रतिशत मैग्नीशियम और 16 प्रतिशत आयरन होता है।
साथ ही मूंग में कॉपर, विटामिन बी12, सेलेनियम, पोटैशियम, जिंक और फोलेट होता है। यह सभी मिनरल्स और एमिनो एसिड के कारण मूंग ब्लैडर के लिए बहुत स्वास्थ्यवर्धक होती है। सुबह-सुबह कम से कम दो चम्मच अंकुरित मूंग जरूर खानी चाहिए।
आजकल तो घर में घी बनने का प्रचलन लुप्त सा हो गया है, लेकिन बाजार में कुछ विश्वसनीय कम्पनी हैं जो आज भी शुद्ध घी देती हैं। घी बनाने के साथ घी खाने का प्रचलन भी नहीं रहा। इसलिए न हमें घी के फायदों की जानकारी है न हम इसका लाभ उठाते हैं।
रुजुता बताती हैं,“दरअसल शुद्ध देसी घी हेल्दी फैट होता है, जो शरीर में विटामिन ए, ई, डी और के अब्सॉर्ब करने में मददगार होता है। घी में शार्ट चेन सैचुरेटेड फैट होते हैं जो पाचन तंत्र को फायदा पहुंचाते हैं। घी लीकी ब्लैडर की समस्या को खत्म करता है।”
आज से ही अपने भोजन में एक चम्मच घी शामिल कर लें। यह बोन डेंसिटी से लेकर कैंसर जैसी कई समस्याओं की सम्भावना कम करता है।
1. कीगल एक्सरसाइज जिसमें यूरिनरी मसल्स को सिकोड़ते और रिलैक्स करते हैं, यह यूरिनरी ब्लैडर को मजबूत करता है।
2. ड्रिंकिंग आपके ब्लैडर पर बुरा असर डालती है।
3. अगर यूरिनरी इंकॉन्टिनेंस की शिकायत है, तो एसिडिक फल और सब्जियां जैसे क्रेनबेरी, टमाटर इत्यादि अवॉयड करें।
4. समस्या कंट्रोल से बाहर होने का इंतजार ना करें, अगर हर बार थोड़ी सी पेशाब निकल रही है तो बेहतर है समय रहते डॉक्टर को दिखा लें