कोविड-19 के बीच एक डर है, उन सभी गर्भवती महिलाओं को जो प्रसव की पीड़ा से गुजरने वाली हैं। वह चिंतित हैं क्योंकि उन्हें लगता है कि लेबर वार्ड कैसा होगा ? उन्हें वहां एडमिट किया भी जाएगा या नहीं ?
यह चिंता स्वाभाविक है। हो सकता है आपके पार्टनर को लेबर रूम के भीतर जाने की अनुमति ना मिले। इस समय आपको मास्क पहनकर प्रसव पीड़ा का सामना करना होगा। भीड़भाड़ से बचने के लिए वहां कोई दूसरा सदस्य भी नहीं हो सकता। वहां डॉक्टर्स प्रोटेक्टिव गियर पहने आपको डरावने भी लग सकते हैं और भी ना जाने क्या-क्या डर आप को सता रहे होंगे।
ऐसा इसलिए है क्योंकि कोविड-19 के कारण संक्रमण के फैलने का खतरा है। यह संक्रमण आपके शिशु को भी हो सकता है। लेकिन इससे पहले कि आप घबरा जाएं, हम आपको कुछ तथ्य। बताते हैं, जिससे कि आप इस स्थिति का बेहतर तरीके से सामना कर पाएं ।
1. गर्भावस्था के दौरान (संक्रमित माँ की नाल से बच्चे तक) कोरोनोवायरस का कोई संक्रमण नहीं देखा गया है।
2. आपको प्रसव के दौरान संक्रमण होने की चिंता नहीं करनी चाहिए। जब आप हॉस्पिटल में होंगी तो उस समय सभी कोरोनावायरस इनफेक्टेड लोगों को अलग आइसोलेशन वार्ड में रखा गया होगा। उनकी एंट्री और एग्जिट हॉस्पिटल के द्वारा बिल्कुल अलग रखी जाती है। आपके लिए भी और आपके बच्चे के लिए भी हेल्थकेयर प्रोवाइडर्स के द्वारा सभी सावधानियां बरती जाती हैं।
3. आपके साथ उस समय मौजूद सभी डॉक्टर और उनकी टीम यह सुनिश्चित करेंगे कि आप एक पॉजिटिव डिलीवरी एक्सपीरियंस का अनुभव कर सकें।
4. बहुत से सेंटर और लेबर वार्ड अभी भी आपके पार्टनर को आपके साथ रहने की अनुमति देते हैं। लेकिन पहले वह यह सुनिश्चित कर लेते हैं कि कहीं उन्हें कोरोनावायरस के संक्रमण तो नहीं है।
5. अब तक गर्भावस्था के दौरान कोविड-19 से संक्रमण होने या उसके द्वारा गर्भावस्था में जटिलताओं के कोई केस नहीं दिखते। यह बिल्कुल सामान्य लोगों की तरह ही होता है और ऐसी कोई रिपोर्ट अब तक सामने नहीं आई है जिससे यह साबित होता हो कि यदि आप गर्भवती हैं, तो बीमारी की गंभीरता अधिक होगी।
6. यदि आपको गर्भावस्था के दौरान कोरोना वायरस पॉजिटिव पाया गया है, तो आपका हॉस्पिटल में प्रवेश अलग वार्ड से होगा। बच्चे की निगरानी लगातार इलेक्ट्रॉनिक मॉनीटरिंग के जरिए की जाएगी। नर्सिंग स्टाफ और लेबर स्टाफ की बहुत लिमिटेड एंट्री होगी। इस सब के बावजूद आप बहुत ही नॉर्मल डिलीवरी करेंगी और आप एपीड्यूरल अनलगेसिया (epidural analgesia) के बारे में भी पूछ सकती हैं।
7. यदि आप कोरोना वायरस पॉजिटिव हैं, तो यह आपका नॉनटोलॉजिस्ट तय करेगा कि आपके बच्चे का टेस्ट कब होगा। बेशक आप अपने बच्चे को अपना दूध पिला सकती हैं। लेकिन सारी सावधानियों को बरतते हुए, क्योंकि स्तन के दूध में वायरस संक्रमण नहीं पाया गया है। हाथ धोना, मास्क पहनना, स्तनपान करते समय छींकने से बचें, यह ऐसी कुछ सावधानियां है जो आपको ध्यान में रखनी चाहिए
8. निश्चिंत रहिए क्योंकि सभी आवश्यक बर्थिंग सर्विस हर समय 24 घंटे उपलब्ध रहती हैं।
9. अपने शरीर और दिमाग को स्वस्थ रखने के लिए सोशल मीडिया और समाचार के अपडेट दिन में दो बार काफी होगी। इसकी बजाए गाना सुनिए, सैर कीजिए, कोई नई किताब पढ़िए और नियमित रूप से मेडिटेशन कीजिए।
10. इस समय आपके लिए सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण बात यह है कि आप हेल्दी रहें और हेल्दी ही खाएं जैसे- आयरन, कैलशियम सप्लीमेंट्स, भरपूर पानी पीजिए, रोज सैर कीजिए, भरपूर नींद लीजिए और सबसे महत्वपूर्ण अपना रोज का एक शेड्यूल बना लीजिए।
जैसे कि स्वास्थ्य अधिकारियों द्वारा सलाह दी जाती है, वे कहते हैं- “हम आपके साथ हैं, हम पहले से भी अधिक मेहनत कर रहे हैं, आपके लिए ताकि आप इस बीमारी से और इस चिंता के माहौल से बाहर आ सकें। आइए हम सब मिलकर रोज़ एक नई और सकारात्मक शुरुआत करें। आपका बहुत-बहुत आभार कि आप सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कर रहे हैं।”
गर्भावस्था और कोरोनावायरस की महामारी के संकट के बीच एक अज्ञात डर का सामना करना कोई आसान बात नहीं है। लेकिन हम उम्मीद करते हैं कि आप अपना और अपनों का साथ पाकर इस यात्रा को पूरा कर लेंगी। हम आपकी इस यात्रा को एक सक्सेसफुल मदरहुड की ओर बढ़ता हुआ साफ देख सकते हैं।