जब भी सूर्य की किरणों की बात आती है, तो सभी के मन में एक ही विचार आता है। सूर्य की रोशनी से कैसे बचा जाए। ज्यादा देर तक धूप में रहने पर स्किन पर बुरा प्रभाव पड़ सकता है। इससे त्वचा की रंगत पर भी असर पड़ सकता है। इसलिए हम धूप में बैठना नहीं चाहते हैं। क्या आप जानती हैं कि सूर्य की किरणे हमें जीवन प्रदान करती हैं। ये ऊर्जा का स्रोत हैं। जानते हैं धूप किस तरह संपूर्ण स्वास्थ्य के लिए लाभदायक है।
विटामिन डी शरीर के लिए बहुत जरूरी है। सूर्य की किरणें विटामिन डी का मुख्य स्रोत (Sunshine Vitamin) हैं। यह हड्डियों को मजबूत और स्वस्थ रखने में मदद करता है। यह कैल्शियम को शरीर में संरक्षित करने और हड्डियों के निर्माण में मदद करता है। विटामिन डी इम्यून सिस्टम को सुधारता है। इससे रोग प्रतिरोधक क्षमता में वृद्धि होती है। इसका संतुलित स्तर मानसिक स्वास्थ्य के लिए महत्वपूर्ण है। सूर्य की रोशनी डिप्रेशन और अन्य मानसिक संबंधित समस्याओं को कम करने में मदद कर सकती है। यह मानसिक संतुलन को बनाए रखने में मदद कर सकता है। धूप में समय बिताना विटामिन डी के लिए महत्वपूर्ण है।
सूर्य के प्रकाश में भरपूर समय बिताने से दिमागी तनाव कम होता है। यह मनोविकारों में सुधार लाता है। सूर्य के प्रकाश का संपर्क मनुष्य के अंतर्मन के कई पहलुओं को प्रभावित करता है, जो मानसिक स्वास्थ्य के संतुलन में मदद करते हैं। इसमें समय बिताने से शरीर में सेरोटोनिन और मेलाटोनिन हार्मोन लेवल में संतुलन होता है। यह हार्मोन्स मानसिक स्वास्थ्य के लिए महत्वपूर्ण होते हैं। उनका संतुलन मनोविकारों को संभालने और तनाव को कम करने में मदद करता है। इसमें समय बिताने से व्यक्ति को संवेदनशीलता, खुशी, और सकारात्मकता की भावना आती है, जो मानसिक स्वास्थ्य के लिए जरूरी है।
सूर्य के प्रकाश से कुछ प्रकार के कैंसर का खतरा कम हो सकता है। इससे कोलन, ब्रेस्ट और प्रोस्टेट कैंसर से बचाव हो सकता है। विटामिन डी के अभाव का संबंध कैंसर के विकास के साथ हो सकता है। ध्यान दें कि सूर्य के प्रकाश का अत्यधिक अब्ज़ॉर्प्शन भी कैंसर के खतरे को बढ़ा सकता है। खासकर त्वचा कैंसर का खतरा बढ़ जाता है। सूर्य के प्रकाश का संतुलित उपयोग करना महत्वपूर्ण है। अत्याधिक धूप में बचाव के उपायों का पालन करना भी जरूरी है।
सूर्य के प्रकाश में समय बिताने से ब्लडप्रेशर को नियंत्रित किया जा सकता है। धूप का प्रभाव ब्लडप्रेशर पर पड़ता है। यह हाई ब्लडप्रेशर को कम करने में मदद कर सकता है। यह दिल के स्वास्थ्य को सुधार सकता है। सूर्य के प्रकाश में बिताया गया समय आमतौर पर मेलाटोनिन के स्तर को कम कर देता है। यह ब्लडप्रेशर को नियंत्रित करने में मदद करता है। सूर्य के प्रकाश में समय बिताने से विटामिन डी के स्तर बढ़ सकते हैं, जो रक्तचाप को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है। धूप में समय बिताने से पहले डॉक्टर से परामर्श करना जरूरी है। इसका असर हर व्यक्ति मे अलग-अलग हो सकता है।
धूप में में समय बिताने से अच्छी नींद (Sunshine for healthy sleep) का आनंद मिलता है। यह स्वास्थ्य और प्रोडक्टिविटी को बढ़ावा देती है। यह शरीर के इंटरनल बॉडी क्लॉक को संचालित करने में मदद करती हैं। यह हमें दिनचर्या के हिसाब से नींद की अवधि को सेट करने में मदद करता है। इससे गुड स्लीप मिल सकती है। इससे न केवल नींद की गुणवत्ता बढ़ती है, बल्कि स्वास्थ्य भी सुधरता है। यह प्रोडक्टिविटी भी बढ़ाता है।
धूप में बिताने का समय दिन के सूर्योदय या सूर्यास्त के समय के बीच का नहीं होना चाहिए। इस समय धूप के बुरा प्रभाव पड़ने का खतरा होता है। सूर्य के प्रकाश में समय बिताते समय सनस्क्रीन और सूर्य ब्लॉकर क्रीम का उपयोग करना जरूरी है। इससे स्किन को नुकसान से बचाया जा सकेगा। यह सुरक्षा उपाय सुनिश्चित करता है कि धूप के नुकसान से बचा जा सकेगा। सुबह के समय 6 बजे से 9 बजे और शाम के समय 5 बजे से 6 बजे तक धूप में वक्त बिताना चाहिए। व्यक्ति को कम से कम 15 मिनट धूप में समय बिताना चाहिए।
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