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कोविड के कितने महीने बाद तक आपके लिए जरूरी हैं सप्लीमेंट्स लेना?

कोविड-19 महामारी की दो लहरों के बाद बहुत कम लोग हैं, जो इससे बच पाए हैं। कोविड-19 से उबरने के बाद भी लोगों को कई तरह की समस्याओं का सामना करना पड़ता है। तो क्या सप्लीमेंट इनसे छुटकारा पाने में मदद कर सकते हैं?
जानिए आपकी सपलीमेंट हैं जरूरी। चित्र: शटरस्टॉक
अदिति तिवारी Published: 18 Sep 2021, 15:00 pm IST
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आप और हर वो व्यक्ति मजबूत है जिसने इस वायरस को हराया है। आप इसे हराकर घर लौटे हैं, लेकिन आपकी लड़ाई अभी खत्म नहीं हुई है। पूर्ण रूप से स्वस्थ होने के लिए आपको अपनी मांसपेशियों और ताकत को वापस लाना है। साथ ही आपके शरीर को पोषक तत्व प्रदान करना जरूरी है, जो आपकी इम्यूनिटी (immunity) को मजबूत रखने के लिए आवश्यक है। तो क्या सप्लीमेंट इसमें आपकी मदद कर सकते हैं? मगर कब तक? आइए जानते हैं कि कोविड-19 से रिकवरी के बाद आपको कितने दिनों तक सप्लीमेंट लेते रहने चाहिए। 

क्यों जरूरी है सप्लीमेन्ट?

अस्पताल में भर्ती होने के दौरान, आपके शरीर ने वायरस से लड़ने के लिए अपनी सारी ऊर्जा का इस्तेमाल किया है। बेडरेस्ट के साथ इस लड़ाई में आपकी मांसपेशियों का नुकसान हुआ। अब इसका वापस आना जरूरी है, जिसके लिए डॉक्टर द्वारा सुझाए गए सप्लीमेंट्स आपकी मदद कर सकते हैं। विटामिन सी, विटामिन डी, जिंक और मेलाटोनिन जैसी सप्लीमेंट ऐसे ही कुछ जरूरी मददगार हैं। 

सप्लीमेंट से आप अपनी इम्यूनिटी बढ़ाने की कोशिश कर सकते हैं। चित्र : शटरस्टॉक

समझिए कैसे काम करते हैं सप्लीमेंट

विटामिन सी (vitamin C)

यह एक एंटीऑक्सीडेंट (antioxidant) है, जिसे लंबे समय से इम्युनिटी (immunity) बढ़ाने का एक मुख्य सप्लीमेन्ट के रूप में बढ़ावा दिया गया है।

जिंक (zinc)

इसमें एंटीवायरल गतिविधि (antiviral activity) हो सकती है, चाहे वह इम्यून सेल (immune cell) में सुधार करके जो वायरल इन्फेक्शन का मुकाबला करता है या वायरस के बढ़ने की क्षमता को कम करता है।

शोध में सामने आए कुछ सुबूत बताते हैं कि विटामिन सी और जिंक के साथ लेने से ठंड लगने के लक्षणों को ही कम किया जा सकता है।

विटामिन डी (vitamin D) और मेलाटोनिन (melatonin)

ये दोनों अलग तरह के सप्लीमेंट हैं। जबकि इस बात के भी प्रमाण हैं कि विटामिन डी और मेलाटोनिन इम्यूनिटी बढ़ाने के लिए सकारात्मक रूप से काम करते है और यह एक विशिष्ट एंटीवायरल (antiviral) भी है। 

इम्युनिटी बढाने में मदद करे विटामिन C। चित्र : शटरस्टॉक

क्या होता है जब आप सप्लीमेन्ट नहीं लेते? 

यदि आप सप्लीमेंट्स लेने से हिचक रहे है, तो यह आपकी रिकवरी (recovery) धीमी हो सकती है। अगर आप केवल अपने आहार के माध्यम से अपनी शक्ति और मांसपेशियों को वापस लाने के बारे में सोच रहे हैं, तो यह मुमकिन नहीं है। 

कोविड-19 से ठीक होने की लड़ाई में आपके शरीर ने अपनी सारी ताकत लगा दी है। इन्हे पुनः पाने के लिए आपको विटामिन सी, विटामिन डी, जिंक और मेलाटोनिन जैसे सप्लीमेंट्स कुछ महीनों तक नियमित रूप से लेने होंगे। आपका पौष्टिक आहार और सप्लीमेंट्स दोनों मिलकर आपकी रिकवरी को तेज करेंगे। 

कई मामलों में यह भी देखा गया है, कि जिन लोगों ने सप्लीमेंट लेने से परहेज किया, उन्हें कोविड-19 के बाद हेयर फॉल, थकान, चिड़चिड़ापन जैसे लक्षणों का सामना अधिक करना पड़ा। मांसपेशियों और बोन्स में होने वाला दर्द भी इसमें शामिल है। 

सप्लिमेंट्स का डोज आपकी इम्यूनिटी पर निर्भर करता है। चित्र-शटरस्टॉक.

कब तक जरूरी हैं ये सप्लीमेंट्स?

सप्लीमेंट्स का डोज़ इस बात पर निर्भर करता है कि आप कितने दिन में इस बीमारी से ठीक हुए हैं। यदि आप थोड़े समय में ही कोविड नेगटिव हो गए हैं, तो सप्लीमेन्ट को लंबे समय तक नहीं लेना है। लेकिन अगर आपको ठीक होने में वक्त लगा है, तो शक्ति और मांसपेशियों को पाने की प्रक्रिया लंबे समय तक चल सकती है। इसके लिए निरंतर सतर्कता की आवश्यकता होती है और इसमें एक वर्ष से अधिक समय लग सकता है। 

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तो लेडीज, घबराए नहीं, क्योंकि बेहतर होने के लिए पूरी तरह ध्यान देने की जरूरत होती है। इस समय आपकी सेहत से बढ़कर कुछ भी नहीं है। 

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अदिति तिवारी

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