वायु प्रदूषण (air pollution) स्वास्थ्य के लिए सबसे बड़े पर्यावरणीय जोखिमों (environmental risk) में से एक है। वायु प्रदूषण हृदय रोग (Heart Disease), स्ट्रोक (Heart Stroke) फेफड़ों के कैंसर (Lung Cancer) और अस्थमा (Asthma) सहित क्रोनिक और एक्यूट श्वसन संबंधी बीमारियों के जोखिम को बढ़ा सकता है। एयर पॉलूशन आंखों के स्वास्थ्य को भी प्रभावित करता है। विशेषज्ञ बताते हैं कि इसके कारण आंखों की समस्या बढ़ जाती है। यह आंखों के कई रोग के जोखिम को भी बढ़ावा देता है। वायु प्रदूषण किस तरह हमारी आंखों के स्वास्थ्य को प्रभावित करता (air pollution effect on eye) है, इसके लिए हमने बात की शार्प साईट आई हॉस्पिटल्स के वरिष्ठ नेत्र चिकित्सक डॉ. विकाश वैभव से।
गर्मी आने पर धूप और गर्म तापमान को अक्सर हम समग्र स्वास्थ्य, विशेष रूप से अनमोल आंखों पर वायु गुणवत्ता के प्रभाव को नजरअंदाज कर देते हैं। इस मौसम में एयर पोलूटेंट और एयर क्वालिटी का आंखों के स्वास्थ्य पर बुरा प्रभाव पड़ता है। इस मौसम में विजन को सुरक्षित रखने के लिए कुछ उपाय किये जा सकते हैं।
डॉ. विकाश वैभव कहते हैं, ‘गर्मी में एयर पोलूटेंट की वृद्धि हो जाती है। इससे आंखों में जलन हो सकती है। इससे खुजली, रेडनेस, पानी आना और यहां तक कि आंखों की एलर्जी जैसे लक्षण हो सकते हैं। ड्राई आई सिंड्रोम (Dry eye syndrome) या एलर्जी जैसी स्थितियों वाले व्यक्ति को और अधिक दिक्कत हो सकती हैं। ऐसी स्थिति में अपने क्षेत्र में वायु गुणवत्ता सूचकांक (Air quality Index) को ध्यान में रखें और आवश्यक सावधानी बरतें। प्रदूषकों से बचने के लिए सनग्लास का इस्तेमाल और सिर-चेहरे को कॉटन से ढंकना जरूरी है।’
डॉ. विकाश वैभव के अनुसार, यूवी किरणें सालों भर खतरा पैदा करती हैं। गर्मी के महीनों में विशेष रूप से तीव्र हो जाती हैं। यूवी किरणों के लंबे समय तक संपर्क में रहने से आंखों की स्थिति गंभीर हो सकती है। इसमें मोतियाबिंद(cataracts), धब्बेदार अध: पतन (macular degeneration) और पर्टिगियम (pterygium) शामिल हैं।
धूप का चश्मा (sunglasses) या चौड़ी टोपी पहनने (wide-brimmed hat) से आंखों को हानिकारक यूवी विकिरण से बचाने में मदद मिल सकती है।
गर्मी से आंसुओं का वाष्पीकरण (Vaporization) बढ़ सकता है। इसके परिणामस्वरूप सूखी आंखें हो सकती हैं। इसके अतिरिक्त, एयर कंडिशन में समय बिताना इस स्थिति को बढ़ा सकता है। इससे बचाव के लिए दिन भर लगातार पानी पिएं। यदि आप सक्रिय हैं, तो मौसम के गर्म होने पर सामान्य से अधिक तरल पदार्थ पिएं। लुब्रिकेटिंग आई ड्रॉप्स (Lubricating Eye Drops) का उपयोग सूखापन और डिहायड्रेशन (Dryness and Dehydration) कम करने और आंखों की नमी बनाए रखने में मदद कर सकता है।
गर्मी में एलर्जी आंखों की परेशानी और जलन को ट्रिगर कर सकती है। इस मौसम में पोलेन ग्रेन, मोल्ड स्पोर (mould spores) और अन्य एलर्जेंस अधिक होते हैं। इससे एलर्जिक विकार (allergic conjunctivitis) और हे फीवर (hay fever) होता है।
खिड़कियों को बंद रखकर, एयर प्यूरिफायर का उपयोग करके और नियमित रूप से इनडोर स्थानों की सफाई करके एलर्जी के संपर्क को कम करने की कोशिश (air pollution effect on eye) करें। इससे आंखों की एलर्जी के लक्षणों को कम करने में मदद मिल सकती है।
गर्मी में बदलती वायु गुणवत्ता के बीच आंखों के स्वास्थ्य को प्राथमिकता देना जरूरी है। प्रदूषकों के प्रति सचेत रहकर, आंखों को यूवी किरणों से बचाकर, सूखापन और एलर्जी को दूर कर और उचित स्वच्छता बनाए रखते हुए हम अपने विजन की रक्षा कर सकती हैं।
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