सर्दियां आने वाली हैं और दिल्ली एनसीआर में रहने वाले सभी लोग जानते हैं कि सर्दियां अपने साथ लाती हैं घातक स्मोग। यह स्मोग प्रदूषण के कारण होता है, जो आंखों में जलन से लेकर सांस सम्बंधी बीमारी तक फैलाता है।
दुर्भाग्य से, देश भर में प्रदूषण की यही स्थिति है जिसके कारण तरह तरह की बीमारियां हो रही हैं। अस्थमा जैसी श्वास सम्बंधी बीमारियों के बारे में तो हमें जानकारी थी, लेकिन दिमाग के विकास पर प्रदूषण के प्रभाव से जुड़ी यह नई जानकारी सामने आई है।
एक नवीन शोध के अनुसार जो बच्चे प्रदूषित हवा में सांस लेते हैं उनमें मोटर न्यूरॉन्स डिजीज, पार्किंसन और अल्जाइमर ऐसी मानसिक बीमारियां हो सकती हैं।
मेक्सिको के नेशनल हेल्थ सेंटर द्वारा किये गए अध्ययन में सामने आया कि किस तरह प्रदूषण बच्चों में पार्किंसन और अल्जाइमर जैसी बीमारियों का जोखिम बढ़ा रहा है।
शोधकर्ताओं ने मेक्सिको सिटी के 11 महीने से लेकर 27 वर्ष तक के लोगों के ब्रेन स्टेम सेल्स लिए और उनके स्ट्रक्चर को स्टडी किया। इस स्टडी के लिए मेक्सिको सिटी के प्रदूषित क्षेत्रों से 186 लोगों के सैम्पल लिए गए।
इन सैम्पल को देखने पर शोधार्थियों ने पाया कि प्रदूषण के कारण अल्जाइमर और पार्किंसन जैसी मानसिक बीमारियों की संभावना बढ़ जाती है क्योंकि प्रदूषण दिमाग के विकास को बाधित करता है। गाड़ियों से निकलने वाला धुंआ इस मामले में सबसे अधिक खतरनाक है।
सबसे जरूरी बात, जो हम सभी को समझनी चाहिए, वह यही है कि प्रदूषण कम करना ही अपने बच्चों को इसके दुष्परिणामो से बचाने का एकमात्र तरीका है। आपका छोटा सा कदम प्रदूषण पर असर डालता है। जितना अधिक हो सके, प्रदूषण कम करने का प्रयास करें। कार पूल और पब्लिक ट्रांसपोर्ट का इस्तेमाल करें। अगर अकेले ट्रेवल करना है तो गाड़ी का इस्तेमाल ना करें। अधिक से अधिक पेड़ लगाएं। कूड़ा जलाएं नहीं, बिजली बर्बाद ना करें और जल संरक्षण के लिए कदम उठाएं।
1. मास्क तो कोविड-19 के चलते सभी लगा ही रहे हैं। लेकिन क्या आप जानती हैं कि मास्क आपको प्रदूषण से भी बहुत हद तक बचाता है। बाहर निकलते वक्त मास्क पहनना कभी न भूलें, क्योंकि यह आपको दो दो जानलेवा बीमारियों से बचा रहे हैं।
2. अच्छी डाइट लें, क्योंकि अगर आप अंदर से स्वस्थ होंगे तो बाहरी प्रदूषण से आपको कम नुकसान पंहुचेगा। आपका स्वास्थ्य अच्छा नहीं होगा तो प्रदूषण आपको अधिक प्रभावित करेगा।
3. घर में एयर प्यूरीफायर का इस्तेमाल करें। बाहर ही नहीं, आपके घर की हवा में भी प्रदूषण है। कम से कम आप घर पर तो एयर प्यूरीफायर इस्तेमाल कर के प्रदूषण के दुष्प्रभाव को कम कर सकती हैं। अगर घर में छोटा बच्चा है तब तो एयर प्यूरीफायर जरूर होना चाहिए।
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