Signs of Heart Blockage: इन संकेतों से जानें शरीर में बढ़ने लगा है हार्ट ब्लॉकेज का खतरा

गलत इटिंग हेबिट्स के अलावा नींद की कमी और दिनों दिन बढ़ रहा स्ट्रेस हार्ट ब्लॉकेज का कारण बनने लगता है। आर्टरीज में बढ़ने वाली ब्लॉकेज को कम करने के लिए कुछ खास बातों का ख्याल रखना आवश्यक है।
Heart attack ka khatra
प्रोटीन और हेल्दी फैट्स की मात्रा आर्टरीज़ में प्लाक को जमने से रोकती है। इसके चलते ट्राइग्लिसराइड का स्तर भी नियंत्रित बना रहता है। चित्र- अडोबी स्टॉक
ज्योति सोही Updated: 16 Sep 2024, 04:45 pm IST
  • 141

खानपान की गलत आदतें शरीर में कोलेस्ट्रॉल के स्तर को बढ़ा देती हैं। इससे प्लाक रूपी पदार्थ आर्टरीज़ में एकत्रित होने लगता है, जो हृदय में ब्लड के प्रेशर को कम कर देता है। इससे शरीर को हृदय संबधी समस्याओं का सामना करना पड़ता है। गलत इटिंग हेबिट्स के अलावा नींद की कमी और दिनों दिन बढ़ रहा स्ट्रेस भी हार्ट ब्लॉकेज (causes of heart blockage) का कारण बनने लगता है। आर्टरीज में बढ़ने वाली ब्लॉकेज को कम करने के लिए कुछ खास बातों का ख्याल रखना आवश्यक है। मगर उससे पहले जानते हैं शरीर में दिखने वाले वो संकेत, जो हार्ट बलॉकेज (signs of heart blockage) की ओर इशारा करते हैं।

हार्ट ब्लॉकेज किसे कहा जाता है (What is heart blockage)

अमेरिकन हार्ट एसोसिएशन के अनुसार जब प्लाक रूपी चिपचिपा पदार्थ हार्ट को ब्लड पहुंचाने वाली आर्टरीज़ में जम जाता है, तो उस स्थिति को हार्ट ब्लॉकेज कहा जाता है। ये प्लाक अनहेल्दी फैट्स, कोलेस्ट्रॉल, सेलुलर वेस्ट प्रॉडक्टस, कैल्शियम और फाइब्रिन नाम के क्लॉटिंग सबस्टांस से बना होता है। इस बारे में बातचीत करते हुए इंटरवेंशनल कार्डियोलॉजिस्ट डॉ विनीता अरोड़ा बताती हैं कि कोरोनरी आर्टरीज़ में ब्लॉकेज (blockage in coronary arteries) के चलते ब्लड पूर्ण रूप से हृदय तक नहीं पहुंच पाता है। शरीर में किसी भी प्रकार का असामान्य बदलाव महसूस होने पर तुरंत डॉक्टर से मिलें।

सेंटर फॉर डिज़ीज़ कंट्रोल एंड प्रिवेंशन के अनुसार कोरोनरी आर्टरी डिज़ीज़ (coronary artery disease) यानि सीएडी हृदय रोग का सबसे आम कारण है। जब हृदय में रक्त की आपूर्ति करने वाली आर्टरीज़ समय के साथ संकुचित होने लगती हैं और बल्ड सप्लाई अवरुद्ध हो जाती हैं। ये रुकावटें वसा के निर्माण के कारण बढ़ने लगती हैं। आर्टरीज़ में ब्लॉकेज से हार्ट अटैक (heart attack reasons) और स्ट्रोक का खतरा (risk of stroke) बना रहता है। इस्केमिक स्ट्रोक एस समस्या को कहते हैं, जब उस रक्त वाहिका में रूकावट आती है जो ब्रेन को ब्लड और ऑक्सीजन की सप्लाई करती है।

Heart blockage kise kehte hain
हृदय में रक्त की आपूर्ति करने वाली आर्टरीज़ समय के साथ संकुचित होने लगती हैं और बल्ड सप्लाई अवरुद्ध हो जाती हैं। चित्र : अडोबी स्टॉक

जानते हैं हार्ट ब्लॉकेज़ के संकेत (Warning signs of heart blockage)

1. थकान और कमज़ोरी का अनुभव (Tiredness)

नेशनल हार्ट, लंग एंड ब्लड इंस्टीट्यूट के अनुसार आर्टरीज़ में ब्लॉकेज के चलते ब्लड फ्लो की अनियमितता बढ़ने लगती है। इससे ऑक्सीजन का प्रवाह भी प्रभावित होने लगता है। ऐसे में सिरदर्द, थकान और काम करने में असमर्थता का सामना करना पड़ता है। किसी कार्य को करने के दौरान ये थकान तेज़ी से बढ़ने लगती है।

2. चेस्ट पेन या एंजाइना (Chest pain)

सीने में उठने वाला दर्द और किसी भी प्रकार की असुविधा धमनियों में जमने वाले प्लॉक का संकेत देती हैं। ये दर्द छाती से होता हुआ बाहों के नीचे, गर्दन या जबड़े तक पहुंच जाता हैं। इसके चलते सीने में जकड़न महसूस होने लगती है। ये समस्या कुछ मिनटों से लेकर कुछ घंटों तक बनी रहती है। ऐसे में स्वैटिंग और सांस फूलने का सामना करना पड़ता है।

Chest pain ke karan
सीने में उठने वाला दर्द और किसी भी प्रकार की असुविधा धमनियों में जमने वाले प्लॉक का संकेत देती हैं।चित्र शटरस्टॉक

3. सांस लेने में तकलीफ (Shortness of breathing)

हार्वर्ड हेल्थ के अनुसार सीढ़िया चढ़ने या कोई अन्य कार्य करने के दौरान सांस फूलने की समस्या का सामना करना पड़ता है। ये समस्या हृदय रोग को दर्शाती है। इससे एंजाइना, हार्ट अटैक और हार्टफेलियर का खतरा बढ़ने लगता है। दरअसल, जब हृदय को ब्लड पंप करने के लिए पर्याप्त ऑक्सीजन की प्राप्ति नहीं होती है, तो उस वक्त सांस लेने में तकलीफ बढ़ जाती है। ऐसी स्थिति में शरीर तेज़ी से सांस लेने की कोशिश करता है।

पोल

क्या ज्यादा मीठा खाने से डायबिटीज का खतरा ज्यादा होता है?

4. टांगों के निचले हिस्से में सूजन (Swelling in lower legs)

नेशनल लाइब्रेरी ऑफ मेडिसिन की रिसर्च के अनुसार टांगों के निचले हिस्से में सूजन दिल की समस्या का एक मुख्य संकेत है। शरीर में रक्त का प्रवाह धीमा होने से पैरों की नसों में वापिस लौटने लगता है। इससे टिशूज़ में तरल पदार्थ का निर्माण होने लगता है। हृदय रोगों से ग्रस्त होने पर पैरों के अलावा पेट में भी सूजन हो सकती है, जिससे वेटगेन का सामना पड़ता है।

Kyun Pairon mei swelling badhne lagti hai
टांगों के निचले हिस्से में सूजन दिल की समस्या का एक मुख्य संकेत है। चित्र: शटरस्टॉक

5. खांसी का बढ़ना (Coughing)

जब हृदय ब्लड को पूरी तरह से पंप नहीं कर पाता है, तो ऐसे में बॉडी में खासतौर से फेफड़ों में फ्लूइड बनने लगता है, जो म्यूकस की शक्ल में शरीर से बाहर निकलता है। इस तरह के म्यूकस का रंग गहरा होता है। इसके चलते बार- बार खांसी का सामना करना पड़ता है।

हार्ट ब्लॉकेज से बचने के लिए इन टिप्स को करें फॉलो (Tips to deal with heart blockage)

1. हेल्दी आहार लें

आहार में विटामिन, मिनरल और फाइबर की भरपूर मात्रा लें। इससे कोलेस्ट्रॉल के स्तर को नियंत्रित बनाए रखने में मदद मिलती है। इसके अलावा नट्स और सीड्स का सेवन भी फायदा पहुंचाते हैं। साथ ही मछली का सेवन करने से शरीर को ओमेगा 3 फैटी एसिड की प्राप्ति होती है। इससे ब्लॉकेज को रेगुलेट किया जा सकता है।

Healthy diet lein
आहार में विटामिन, मिनरल और फाइबर की भरपूर मात्रा लें। इससे कोलेस्ट्रॉल के स्तर को नियंत्रित बनाए रखने में मदद मिलती है।चित्र : अडोबी स्टॉक

2. रेगुलर एक्सरसाइज़ करें

किसी फिटनेस एक्सपर्ट की मदद से हृदय रोगों से बचने के लिए व्यायाम के अलावा मेडिटेशन करें। इससे शरीर में बढ़ने वाले तनाव और वसा को नियंत्रित करने में मदद मिलती है। दिनभर में कुछ देर वॉक करने से शरीर को फायदा मिलता है और ब्लॉकेज से राहत मिलती है।

3. स्मोकिंग करने से बचें

नियमित रूप से स्मोकिंग करने से ब्लड वेसल्स डैमेज होने का खतरा बढ़ जाता है और प्लाक बिल्डअप होने लगता है। ऐसे में शरीर में ब्लड का प्रवाह प्रभावित होता है। हृदय रोगों से बचने के लिए स्मोकिंग से दूरी बनाकर रखें।

  • 141
लेखक के बारे में

लंबे समय तक प्रिंट और टीवी के लिए काम कर चुकी ज्योति सोही अब डिजिटल कंटेंट राइटिंग में सक्रिय हैं। ब्यूटी, फूड्स, वेलनेस और रिलेशनशिप उनके पसंदीदा ज़ोनर हैं। ...और पढ़ें

अगला लेख