सर्दी के दिनों में अक्सर लोग अपने शरीर को फिटनेस पर ध्यान देने लगते हैं और उसके लिए तमाम तरह के हेल्दी ऑप्शंस को अपनी डाइट में शामिल करने लगते हैं। इन्हीं हेल्दी ऑप्शंस में अलसी के बीज भी आते हैं, जो व्यक्ति के स्वास्थ्य के लिए बहुत फायदेमंद होते हैं।
भारतीय समाज में पिछले कई वर्षों से 'बीजों' की यानी 'सीड्स' की बहुत अहमियत रही है। आयुर्वेदिक चिकित्सा में भी बीजों के लाभ की बात कही गई है। प्रकृति ने हमें स्वस्थ रहने के लिए बहुतसारी चीजें दी हैं, जिनमें सीड्स भी शामिल हैं। आजकल 'वेट लॉस' और सूक्ष्म पोषक तत्वों की प्राप्ति के लिए भी लोग सीड्स को अपनी डाइट में शामिल करते हैं। जब भी सीड्स साइकिल की बात आती है, तो उनमें फ्लैक्स सीड्स यानी अलसी के बीज जरूर शामिल किए जाते हैं। तो चलिए इस एक मिनट की स्लाइड में जानते हैं सेहत के लिए कैसे काम करते हैं अलसी के बीज।
आमतौर पर अलसी में कई तरह पोषक तत्व मौजूद होते हैं। यूनाइटेड स्टेट्स डिपार्टमेंट ऑफ एग्रीकल्चर की न्यूट्रिशनल वैल्यू लिस्ट के अनुसार सामान्यतः 7 ग्राम अलसी के बीज में लगभग 2 ग्राम फाइबर, 2 ग्राम फैट, 1.3 ग्राम प्रोटीन, और 2 ग्राम कार्ब्स पाए जाते हैं। तमाम न्यूट्रिशनल कंटेंट वाले अलसी के बीज से शरीर में कैलोरीज़, कैल्शियम, व गुड फैट्स की कमी पूरी होती है। इन बीजों में प्रोटीन और फाइबर की प्रचुर मात्रा होने से ये बोन हेल्थ को मज़बूत बनाए रखते हैं। इसके कारण शरीर में तमाम जगह पर होने वाले दर्द में भी इनसे छुटकारा मिल जाता है।
नेशनल लाइब्रेरी ऑफ मेडिसिन की एक रिपोर्ट के अनुसार, अलसी को विभिन्न तरह से अपने आहार में शामिल करने से अलसी में मौजूद तत्व बीटा-लिनोलेनिक एसिड, डोकोसाहेक्सैनोइक एसिड और ईकोसापेंटेनोइक एसिड और एंटरोडिओल और एंटरोलैक्टोन सहित लिगनेन सहित कई तरह के फैटी एसिड कैंसर कोशिकाओं को नष्ट करने में सहायक होते हैं। साथ ही रिपोर्ट में यह भी बताया गया कि अलसी लिगनेन से भरपूर होती है, जो पौधों के कंपाउंड्स होते हैं, जिनको कैंसर से लड़ने वाले शक्तिशाली गुणों के लिए जाना जाता है। साथ ही जानवरों और कई टेस्ट-ट्यूब अध्ययनों से भी पता चलता है कि अलसी कोलोरेक्टल, त्वचा, ब्लड और फेफड़ों के कैंसर से बचाता है।
अलसी के बीज डायबिटीज़ के रोकथाम के लिए भी बहुत फायदेमंद होते हैं। अमेरिकन डायबिटीज एसोसिएशन की एक रिपोर्ट बतातीं हैं कि जो लोग टाइप 2 डायबीटीइज से पीड़ित हैं, यदि वे हर रोज़ मात्र 10ग्राम अलसी का सेवन भी करते हैं तो उनके शुगर लेवल में गिरावट हो सकती हैं। इसी के साथ अलसी के नियमित सेवन से ब्लड शुगर को नियंत्रित करने में मदद मिलती हैं। डायबिटीज़ में अलसी के फायदे लेने के लिए आप इसके बीजों को विभिन्न तरह भिगोकर, पीसकर या भूनकर अपने आहार में शामिल कर सकते हैं।
अलसी के बीज कोलेस्ट्रॉल के स्तर को भी नियंत्रित करने में फायदेमंद होते हैं। नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिसिन की एक रिपोर्ट के अनुसार, हर रोज़ 4 टेबलस्पून यानी लगभग 30 ग्राम अलसी के बीजखाने से बॉडी मास इंडेक्स में गिरावट आती है। जिसके कारण कोलेस्ट्रॉल लेवल और ब्लड प्रेशर कंट्रोल होता है। इसके साथ ही एक और अध्ययन में पाया गया कि 1 महीने तक हर रोज़ अलसी के बीज खाने से लोगों में एलडीएल (LDL) यानी बैड कोलेस्ट्रॉल में 15 फीसदी तक गिरावट दर्ज की गई।
अधिकतर लोग सीड्स का सेवन अपनी 'वेटलॉस जर्नी' में करते हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि सीड्स में मौजूद फाइबर व्यक्ति को भरपूर महसूस कराते है। नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिसिन की रिपोर्ट के अनुसार, अलसी के बीज में भी सॉल्युबल फाइबर पाया जाता हैं, जो मेटाबॉलिज़्म को स्लो कर देता हैं, जिससे व्यक्ति को लंबे समय तक भूख नहीं लगती और उसका वजन कंट्रोल रहता है।
अलसी के बीज न सिर्फ व्यक्ति के आंतरिक स्वास्थ्य बल्कि बाहरी हेल्थ के लिए भी फायदेमंद होते हैं। नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिसिन के अनुसार, अलसी के बीजों में ओमेगा 3 फैटी एसिड भी पाया जाता है, जो हेयर फॉलिकल्स के लिए सकारात्मक रूप से प्रभावी होता है । जिसक कारण यह स्कैल्प को पर्याप्त मात्रा में पोषण प्रदान करता है और इससे ब्लड सर्कुलेशन दुरुस्त होता है। जिसके कारण बालों में मौजूद समस्याएं जैसे झड़ना, ग्रे हेयर कम होती हैं और यह हेयर हेल्थ को सुधारता है। फ्लैक्स सीड्स में विटामिन बी और राइबोफ्लेविन, पाइरिडोक्सिन, बायोटिन, पैंटोथेनिक एसिड, नियासिन और फोलिक एसिड से भरपूर होते हैं। जो इन्हें मजबूत बनाकर झड़ने से बचाता है।