अनहेल्दी लाइफस्टाइल और फास्ट फूड की लत ने लोगों को आंतरिक रूप से बहुत कमजोर कर दिया है। इतना ही नही इसके कारण लोगों में वजन तेजी से बढ़ने लगा है। जो खुद कई गंभीर बीमारियों का कारण होता है। साथ ही डेस्क वर्क के कारण फिजिकल एक्टिविटी से मानों नाता ही टूट गया हो। जो पेट की चर्बी बढ़ने का सबसे बड़ा कारण बनता है। कोई भी फिजिकल एक्टिविटी न करने से दिनभर की कैलोरी बर्न नही हो पाती। जो चर्बी के रूप से शरीर के अलग-अलग हिस्सों में जमना शुरू हो जाती है। अगर आप भी ऐसी ही किसी समस्या का सामना कर रही हैं। तो आयुर्वेद की ये खास (how to lose fat) टिप्स आपके काम आ सकती हैं।
आयुर्वेद के अनुसार शरीर के मेटाबॉलिज्म के ठीक से काम न करने के कारण शरीर ज्यादा वसा बनाने लगता है। जो पेट के आसपास चर्बी के रूप से जम जाता है। यह समस्या इसलिए है, क्योंकि इसके कारण व्यक्ति को डायबीटीज, हार्ट डीजीज और स्ट्रोक जैसी समस्याएं होने लगती हैं।
गुनगुना पानी का सेवन करने से शरीर के टोक्सिन बॉडी से फ्लश होने में मदद मिलती है। इससे शरीर की एक्स्ट्रा कैलोरी बर्न होने में मदद मिलेगी। साथ ही यह तरीका पाचन क्रिया को दुरुस्त रखने और मेटाबॉलिज्म तेज करने में मदद कर सकता है। इसलिए दिन में करीब 3 से 4 बार गुनगुने पानी का सेवन जरूर करें।
आयुर्वेद में डिटॉक्स ड्रिंक को बेली फैट घटाने के लिए सबसे ज्यादा फायदेमंद माना गया है। क्योंकि यह शरीर के टोक्सिन को अच्छे से क्लीन होने में मदद करता है। साथ ही लम्बे समय से जुड़ी चर्बी को पिघलानें में भी मदद कर सकता है।
डिटॉक्स ड्रिंक बनाने के लिए दो गिलास पानी में अजवायन, जीरा, सौंफ को एक चम्मच शहद और एक चम्मच आंवला के साथ मिलाकर गर्म पानी के साथ लें। इस डिटॉक्स ड्रिंक को ब्रेकफास्ट से दो घण्टे पहले लेने से आपका बेली फैट तेजी से घटने लगेगा।
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इस देसी नुस्खे के लिए दालचीनी के बीज को तवे पर भून लें। इन्हें कम से कम ब्राउन होने तक पकाएं। इसके बाद इसका पाउडर तैयार करके दही के साथ मिलाएं। रोज एक कटोरी दही में दो चम्मच दालचीनी का पाउडर मिलाकर सेवन करें। इससे आपको बहुत जल्द फर्क दिखना शुरू होगा। साथ ही यह फुल बॉडी वेट को कम करने में मदद करेगा।
दालचीनी में अन्य आवश्यक तत्वों के साथ एंटीओक्सीडेंट की भी अच्छी मात्रा पायी जाती है। दा जर्नल ऑफ न्यूट्रिशन की 2011 की रिसर्च के मुताबिक जिन मसालों में एंटीओक्सीडेंट की अधिक मात्रा पायी जाती है। उनके सेवन से शरीर में हाई फेट्स फूड का असर नही पड़ता।
बेली फैट के लिए योगासन सबसे आसान तरीका है। शारीरिक व्यायाम की कमी पेट पर चर्बी जमने का कारण होती है। अगर आप रोज 15 से 20 मिनट भी इन योगासन का अभ्यास करेंगी। तो इससे आपका बेली फैट मक्खन की तरह पिघलना शुरू हो जाएगा। इसके लिए आप नौकासन, कुंभकासन, धनुरासन, भूजगासन, उष्ट्रासन जैसे योग का प्रयास कर सकती हैं।
आयुर्वेदिक औषधियों को बेली फैट घटानें के लिए सबसे ज्यादा फायदेमंद माना गया है। यह पेट की अग्नि बढ़ाकर मेटाबॉलिज्म फास्ट करने में मदद करता है। इसके लिए आप खड़े मसालों के सेवन के साथ त्रिफला, मेथी, गुग्गुल, तुलसी जैसी प्राकृतिक औषधियों को अपनी डाइट में शामिल कर सकती हैं।
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