क्या आप टीवी पर कोई प्रोग्राम देख कर हंसती हैं? क्या आपने कभी नोटिस किया है कि जब आप कुछ देर तरह हंसती हैं, तो स्वयं को काफी हल्का महसूस करती हैं। आपको ऐसा लगने लगता है कि कुछ देर के लिए आपके सभी गम-तनाव दूर भाग गए। विशेषज्ञ मानते हैं कि तनाव को दूर करने के साथ-साथ स्वास्थ्य को लाभ पहुंचाने का एक शानदार तरीका हंसना है। हंसने से हम फिजिकली और मेंटली कितना प्रभावित (Mental and Physical benefits of Laughing) होते हैं, यह जानने के लिए हमने बात की गुरुग्राम के पारस अस्पताल के इंटरनल मेडिसिन के एचओडी डॉ. संजय गुप्ता से।
अमेरिकी जनरल ऑफ लाइफस्टाइल मैग्जीन में वर्ष 2016 में प्रकाशित रिसर्च रिपोर्ट के अनुसार, एक निश्चित समय तक हंसने से शरीर पर न सिर्फ मनोवैज्ञानिक, बल्कि शारीरिक प्रभाव भी पड़ते हैं।
वर्ष 1980 में लेखक नॉर्मन कजिंस ने एक किताब एज एनाटॉमी ऑफ एन इलनेस लिखी। इसके अनुसार, हंसने से स्पॉन्डिलाइटिस जैसे रोग के कारण होने वाले दर्द में राहत मिलती है। वर्ष 2010 में भी हंसने के फिजिकल बेनिफिट्स को प्रमाणित किए गए।
हंसी सिर्फ मन को बोझमुक्त ही नहीं करती है, बल्कि यह कई स्तर पर शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य को फायदा पहुंचाती है।
ह्यूमर कभी-भी हर बीमारी का इलाज नहीं हो सकता है, लेकिन आपको अपने आस-पास ऐसे कई उदाहरण मिल जाएंगे, जिससे यह प्रमाणित हो जाएगा कि तनाव से मुक्ति दिलाने में हंसी के थेराप्यूटिक बेनिफिट्स हैं।
यदि आप कुछ देर तक हंसती हैं, तो इसके तुरंत तात्कालिक प्रभाव दिखने लगते हैं। हंसने से न केवल आप मानसिक रूप से हल्का महसूस करती हैं, तनाव मुक्त होती हैं, बल्कि यह आपके शरीर को भी फायदा पहुंचाता है।
हंसी ऑक्सीजन युक्त हवा में सांस लेने की आपकी क्षमता में सुधार करती है। आपके दिल, फेफड़ों और मांसपेशियों को उत्तेजित करती है। आपके मस्तिष्क से निकलने वाले एंडोर्फिन को बढ़ाती है।
जब आप खुलकर हंसती हैं, तो आपकी हर्ट बीट और ब्लड प्रेशर पहले बढ़ता है और फिर घट जाता है। इससे आपका स्ट्रेस रेस्पॉन्स एक्टिवेट और डिएक्टिवेट दोनों हो जाता है। परिणामस्वरूप आप शांति और सुकून महसूस करती हैं।
यदि आप नियमित रूप से रोज 15 मिनट हंसती हैं, तो यह आपके दो घंटे सोने के बराबर होगा। यह ब्लड फ्लो को बढ़ा देती है और मांसपेशियों को आराम देती है। इससे रिलैक्स होने का एहसास होता है।
लाफ्टर न केवल क्विक मूड बूस्टर है, बल्कि यह लंबे समय तक आपको स्वस्थ रखने में मदद भी करती है।
आपका शरीर रासायनिक प्रतिक्रियाओं के कारण नकारात्मक विचारों से प्रभावित हो सकता है। इससे स्ट्रेस लेवल बढ़ जाता है और इम्यूनिटी कमजोर पड़ जाती है। दूसरी ओर, सकारात्मक विचार वास्तव में न्यूरोपैप्टाइड्स के रिलीज को ट्रिगर कने में मदद करते हैं, जो तनाव को कम करते हैं। इससे कई गंभीर बीमारियों के होने की संभावना कम हो सकती है।
हंसी शरीर को अपना नेचुरल पेन किलर बनाने के लिए प्रेरित करती है। यह दर्द को कम करने में मदद करती है।
हंसी कठिन परिस्थितियों से निपटने को आसान बनाती है। यह सोशल इंटरैक्शन में भी सुधार ला सकती है।
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