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डिप्रेशन के क्लियर साइन्स हैं ये 7 बदलाव, भूल कर भी न करें इन्हें नजरअंदाज

आम तौर पर लोग यह समझने में बहुत देर कर देते हैं, कि वह एंजायटी और डिप्रेशन के शिकार हैं, जब तक लोगों को इसका पता लगता है तब तक स्थिति अधिक बिगड़ चुकी होती है। इसलिए इस विषय पर उचित जानकारी होना बेहद महत्वपूर्ण है।
Updated On: 18 Oct 2023, 10:05 am IST
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ye sanket btatae hain aap ho chuki hain depression ka shikaar
गर्मी आरंभ होने के साथ ही शरीर में इस तरह के बदलाव नज़र आने लगते हैं। शरीर में स्ट्रेस हार्मोन बढ़ने से वेटगेन का खतरा भी बढ़ जाता है। चित्र : शटरस्टॉक

डिप्रेशन एक मेडिकल कंडीशन है, जो किसी व्यक्ति के पर्सनल रिश्ते और शारीरिक स्वास्थ्य के साथ-साथ जीवन शैली की नियमित गतिविधियों को प्रभावित करता है। खासकर यह स्थिति मानसिक स्वास्थ्य को अपने चपेट में ले लेती है। आज भी सोसाइटी में मेंटल हेल्थ कंडीशन को एक टैबू की तरह देखा जाता है। वहीं कोई भी व्यक्ति अपनी मानसिक स्थिति को खुलकर बयां नहीं कर पाता। लोग खुद में अपनी परेशानी को दबाने की कोशिश करते रहते हैं।

आम तौर पर लोग यह समझने में बहुत देर कर देते हैं, कि वह एंजायटी और डिप्रेशन के शिकार हैं, जब तक लोगों को इसका पता लगता है तब तक स्थिति अधिक बिगड़ चुकी होती है। इसलिए इस विषय पर उचित जानकारी होना बेहद महत्वपूर्ण है। आज हम बात करेंगे डिप्रेशन की ओर इशारा करने वाले ऐसे कुछ संकेत के बारे में जिन्हें कभी भी नजरअंदाज नहीं करना चाहिए।

हेल्थ शॉट्स ने इस बारे में सर गंगा राम हॉस्पिटल, नई दिल्ली में सायकेट्री डिपार्मेंट की सीनियर कंसल्टेंट डॉ आरती आनंद से सलाह ली। डॉक्टर ने कुछ ऐसे लक्षण और संकेत बताएं हैं, जिसकी मदद से आप अपने अवसाद का पता लगा सकती हैं। यदि ऐसे कोई भी लक्षण नजर आएं तो इन्हें नजरअंदाज न करें (signs of depression)।

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लड़कों की तुलना में छोटी बच्चियों को ज़्यादा प्रभावित कर सकता है डिप्रेशन। चित्र: शटरस्टॉक

यह संकेत बताते हैं आप हो चुकी हैं डिप्रेशन का शिकार

1. आप अधिक या बहुत कम सो रही हैं

कुछ लोगों को डिप्रेशन में अधिक नींद आती है। मानसिक रूप से ऊर्जा का अधिक इस्तेमाल होने के कारण शरीर को थकान महसूस होता रहता है, जिसकी वजह से व्यक्ति लंबे समय तक सोता है। वहीं दूसरी ओर डिप्रेशन से पीड़ित व्यक्ति को नींद की कमी जैसे कि इनसोम्निया का सामना करना पड़ता है।

चिंतित होने और बेचैनी महसूस होने के कारण शरीर रेस्ट पोजीशन पर नहीं जा पाती और नींद आने में परेशानी होती है। नींद में हुआ बदलाव एक डिप्रेस्ड व्यक्ति की स्थिति को अधिक खराब कर सकता है। यह संकेत नजर आए तो फौरन इसपर ध्यान दें।

2. किसी भी कार्य पर फोकस न कर पाना

काम का डेडलाइन भूल जाने से लेकर किसी भी कार्य को करने में अधिक वक्त लगना, वहीं अकेलापन दुख और बैठे-बैठे किसी भी चीज की अधिक चिंता होना, यह सभी चीजें डिप्रेशन का संकेत है। इतना ही नहीं डिप्रेशन में आपकी डिसीजन मेकिंग स्किल्स पर भी नकारात्मक असर पड़ता है और आपको किसी भी निर्णय को लेने में अधिक वक्त लगता है, साथ ही आप संकोच महसूस करती हैं। यदि अचानक से ऐसी किसी भी तरह की भावना का एहसास हो रहा है, तो इसे नजरअंदाज न करें।

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3. छोटी-छोटी बातों पर घबराहट महसूस होना

छोटी-छोटी बातों पर घबराहट महसूस होना, सांस फूलना या दिल की धड़कन का बढ़ जाना इसके साथ ही पसीना आना यह सभी डिप्रेशन के संकेत हो सकते हैं। जब आप डिप्रेशन में होती हैं, तो छोटी सी बात भी आपको अधिक चिंतित कर देती है। वहीं आपके लिए अपनी भावनाओं पर नियंत्रण पाना मुश्किल हो जाता है। एंजायटी से ग्रसित लोगों में डिप्रेशन विकसित होने का खतरा अधिक होता है।

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उदासी को दूर करने के लिए कुछ अन्य गतिविधियों में शामिल हों। चित्र : शटरस्टॉक

4. भूख और वजन में परिवर्तन आना

डिप्रेशन से पीड़ित व्यक्ति में भूख लगने की फ्रीक्वेंसी और उनके वजन में अंतर देखने को मिल सकता है। हालांकि, यह अलग-अलग व्यक्ति में अलग-अलग प्रकार से नजर आता है। कुछ लोगों को तनाव में अधिक भूख लगती है और उनका वजन तेजी से बढ़ता है। वहीं दूसरी ओर लोगों में भूख की कमी हो जाती है और वजन गिरने लगता है। यह पूरी तरह से हार्मोनल बदलाव पर निर्भर करता है।

5. लिबिडो में कमी आना

डिप्रेशन की स्थिति में व्यक्ति में हो रहे हार्मोनल बदलाव की वजह से लिबिडो की कमी देखने को मिल सकती है। इस स्थिति में व्यक्ति में सेक्स करने की इच्छा मर जाती है। इस दौरान यौन गतिविधि के लिए खुद को उत्तेजित करना मुश्किल हो सकता है। यदि निराशा के साथ आपको ऐसा अनुभव हो रहा है तो इस संकेत को नजरअंदाज न करें।

6. भावनाओं पर नियंत्रण न होना

डिप्रेशन से ग्रसित व्यक्ति अपनी किसी भी भावना पर नियंत्रित पाने में असमर्थ हो जाते हैं। ऐसे व्यक्ति स्थिति को समझे बगैर छोटी-छोटी बातों पर अधिक गुस्सा कर सकते हैं और उसपर उनका नियंत्रण नहीं होता। वहीं इस दौरान मूड स्विंग्स होना बेहद आम है। इस स्थिति में व्यक्ति कहीं भी चलते-चलते किसी के भी सामने भावुक हो सकता है और आंखों से आंसू निकलना बिल्कुल आम है।

adhik overthink ke karan ho sakti hai anxiety ki samasya
ओवरथिंकिंगआपकी एंग्जायटी का कारन बन सकती है. चित्र-शटरस्टॉक।

7. खुद को खत्म करने की भावना

यदि आपको बैठे-बैठे सुसाइडल थॉट आ रहे हैं, या किसी छोटी परेशानी से भी आपके मन में खुद को खत्म करने की इच्छा जाग रही है। तो यह डिप्रेशन का एक बेहद गंभीर संकेत हो सकता है। यह संकेत बताता है कि आप पूरी तरह से अवसाद से ग्रसित हो चुकी हैं और इस पर आपको जितनी जल्दी हो सके काम करने की आवश्यकता है।

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डिस्क्लेमर: हेल्थ शॉट्स पर, हम आपके स्वास्थ्य और कल्याण के लिए सटीक, भरोसेमंद और प्रामाणिक जानकारी प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। इसके बावजूद, वेबसाइट पर प्रस्तुत सामग्री केवल जानकारी देने के उद्देश्य से है। इसे विशेषज्ञ चिकित्सा सलाह, निदान या उपचार का विकल्प नहीं माना जाना चाहिए। अपनी विशेष स्वास्थ्य स्थिति और चिंताओं के लिए हमेशा एक योग्य स्वास्थ्य विशेषज्ञ से व्यक्तिगत सलाह लें।

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लेखक के बारे में
अंजलि कुमारी
अंजलि कुमारी

पत्रकारिता में 3 साल से सक्रिय अंजलि महिलाओं में सेहत संबंधी जागरूकता बढ़ाने के लिए काम कर रही हैं। हेल्थ शॉट्स के लेखों के माध्यम से वे सौन्दर्य, खान पान, मानसिक स्वास्थ्य सहित यौन शिक्षा प्रदान करने की एक छोटी सी कोशिश कर रही हैं।

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