प्यार और आकर्षण के अलावा रिश्ते की नींव एक ऐसी चीज़ पर भी टिकी होती है, जिससे रिश्ता लॉन्ग लास्टिंग और मज़बूत बनने लगता है। सेक्सुअल इंटिमेसी के साथ साथ रिलेशनशिप को मज़बूत करने के लिए पार्टनर्स के मध्य मज़बूत इमोशनल बॉन्ड की भी ज़रूरत होती है। ये रिलेशनशिप प्यार, विश्वास और केयर जैसी छोटी छोटी बातों से बिल्ड होने लगता है। जानते हैं वो कौन सी भावनात्मक ज़रूरतें यानि इमोशनल नीड्स है, जो एक रिश्ते को मज़बूत बनाने में मदद करती हैं (Emotional needs of a relationship) ।
इस बारे में बीतचीत करते हुए मनोचिकित्सक डॉ युवराज पंत बताते हैं कि किसी भी रिश्ते को हेल्दी और लॉन्ग लास्टिंग बनाने की जिम्मेदारी दोनों लोगों के कंधों पर होती है। इमोशनल गैप रिश्ते के बिखरने का कारण बनने लगता है। इसके लिए आपसी बातचीत, अंडरस्टैण्डिंग, विश्वास और सच्चाई का होना आवश्यक है। पार्टनर के साथ के अलावा उसके सम्मान और उसकी जरूरतों का ध्यान रखना भी ज़रूरी है। इसके अलावा पारदर्शिता भी एक ऐसी इमोशनल नीड है, जो रिश्ते को मज़बूत बनाने में मदद करती है।
रिश्ते में विश्वास की कमी मानसिक तनाव का कारण बनने लगती है। व्यक्ति मन ही मन परेशान रहता है और रिलेशनशिप कमज़ोर होने लगता है। एक्सपर्ट के अनुसार रिश्ते में विश्वास धीरे धीरे बढ़ने लगता है और हर छोटी बात पर शक करना अनहेल्दी रिलेशनशिप को दर्शाता है। ऐसे में किसी भी समस्या के हल तक पहुंचने के लिए परिस्थितियों को ऑबर्ज करने के अलावा आपसी बातचीत करना भी ज़रूरी है।
हर व्यक्ति की पसंद नापसंद अलग अलग होती है और नज़रिए में भी अंतर होता है। मगर बावजूद इसके अपने पार्टनर से कनेक्टिड रहना ज़रूरी है। अपने पार्टनर के साथ वक्त बिताएं, उसकी असफलताओं में साथ खड़े हो और अचीवमेंट्स को भी एक साथ सेलिब्रेट करें। इससे एक मज़बूत कनेक्शन बनते लगता है, जिससे इमोशनल अटैचमेंट बढ़ने लगती है। रिलेशन इस प्रकार का होना चाहिए कि बिना बताए पार्टनर सभी चीजों को आसानी से समझ पाए।
किसी व्यक्ति को स्वीकार करने के अलावा उसके सपनों, इमोशसं और व्यवहार को भी अपनाना पड़ता है। इसके अलावा पार्टनर को अपने दोस्तों, रिश्तेदारों और परिवार से मिलाएं ताकि वे भी उसे एक्सेप्ट कर पाएं। अपने सभी फैसलों को पार्टनर की मदद से लें और उसकी एडवाइज़ को भी प्राथमिकता दें।
हेल्दी और हैप्पी रिलेशनशिप को मेंटेन करने के लिए खुद को सुरक्षित महसूस करना आवश्यक है। पार्टनर से मेंटल और इमोशनल सपोर्ट मिलने से व्यक्ति एक्सेप्टिड और प्रोटेक्टिड महसूस करने लगता है। सिक्योर फील करने से व्यक्ति अपनी भावनाओं को आसानी से शेयर कर सकता है।
पार्टनर को इस बात का एहसास होना बेहद ज़रूरी है कि उसका व्यवहार और बातें रिश्ते को किस प्रकार से प्रभावित कर सकती हैं। छोटी छोटी गलतियों को माफ कर देना और थोड़ा देना स्पेस देना रिश्ते की बुनियाद को मज़बूत करते हैं। इसके अलावा इमोशनल बॉन्ड हेल्दी होने लगता है।
अनजाने लोगों के सामने पार्टनर को नीचा दिखाना और उससे र्दुव्यवहार करना रिलेशनशिप में रेड फ्लेग को दर्शाता है। एक दूसरे को समझते हुए उनकी इच्छाओं और प्रतिभा का सम्मान करना आवश्यक है। इससे दो लोग इमोशनली अटैच होने लगते हैं, जो रिलेशनशिप में आने वाली दुविधाओं को भी दूर कर देता है।
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