पीरियड्स के दौरान पेट में दर्द और ऐंठन जैसी समस्या होती है। पीरियड्स के दौरान होने वाले इस दर्द को डिसमेनोरियल कहते हैं। पर 90 प्रतिशत औरतों को ये समस्या बच्चेदानी में ऐंठन की वजह से होती है। जब संकुचन प्रक्रिया बच्चेदानी में होती है, तो वहां से प्रोस्टाग्लैंडीन हार्मोन रिलीज़ होते हैं। इसी दौरान बच्चेदानी से थक्के बाहर निकलते हैं। जिसकी वजह से दर्द ज्यादा महसूस होता है।
गर्म पानी से पीरियड के दर्द का इलाज आप कर सकती है। ये आपको बहुत कम वक्त में राहत दिला सकता है। पीरियड्स के दौरान दर्द और ऐंठन से प्रभावित मांसपेशियों को आराम और राहत दिलाने के लिए हॉट वॉटर बैग एक अच्छा उपचार है।
एक गर्म पानी से भरा हुआ हॉट वॉटर बैग लें। अब इसको अपने पेट के निचले हिस्से पर या फिर कमर पर 10-10 मिनट के लिए रखकर सेक लें। इसके अलावा, आप गर्म पानी में एक साफ कपड़ा लेकर भिगो सकती है, फिर उसे अच्छे से निचोड़कर अपने पेट व कमर पर लगा लें। जब तक दर्द समाप्त नहीं होता है तब तक लगा सकती हैं।
जोड़ों में दर्द, पेट की परेशानी, जी मिचलाना व सर्दी-जुकाम जैसी समस्याओं में अदरक फायदेमंद है। एनसीबीआई की रिपोर्ट में ये बताया गया है कि अदरक में एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होता है। एंटी-इंफ्लेमेटर पीरियड्स में होने वाले दर्द को कम करता है। इसके साथ ही ये मतली या पेट खराब की समस्या से भी राहत दिलाता है।
अदरक को 10 मिनट के लिए गर्म पानी में भिगोएं फिर इसे थोड़े देर के लिए ठंडा करें, उसके बाद इसमें शहद मिलाकर पी लें। या फिर अगर आपको ज्यादा दर्द हो रहा है, तो आप एक दिन में दो से तीन बार अदरक की चाय बना कर भी पी सकती हैं।
पवित्र तुलसी एक नेचुरल पेनकिलर है, जिसे पीरियड्स के दर्द में बेझिझक ले सकते हैं। इसमें मौजूद कैफीक एसिड पीरियड्स के दौरान होने वाले दर्द में आराम पहुंचाता है।
एक गिलास पानी में तुलसी के पत्तों को डालकर उबाल लें। जब पानी अच्छी तरह से उबाल जाए, तो इसमें शहद डालकर इसका सेवन करें। इसके अलावा पीरियड्स के दौरान ज्यादा दर्द होने पर आप दो से तीन बार तुलसी के पत्तों से बनी चाय भी पी सकती हैं।
इंटरनेशनल जर्नल ऑफ फिलोसोथेरेपी एड रिसर्च ने ये रिपोर्ट पेश की है कि योग स्ट्रेस को दूर करता है और इसके साथ ही ये आपके शरीर को रिलैक्स करने में मदद करता है। आप दर्द को कम करने के लिए मत्स्यासन यानी की फिश पोज को कर सकती हैं ये आपके पेट और जांघ वाले हिस्से में रक्त की गति बढ़ाता है। जिससे इस दौरान होने वाले दर्द में राहत मिली है।
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