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मेंटल और फिजिकल स्टैमिना बढ़ाने के लिए अपनाएं ये 5 आयुर्वेदिक उपाय

अस्वस्थ जीवनशैली और असंतुलित आहार कई दैनिक कार्यों में बाधा उत्पन्न कर सकते हैं। निष्क्रियता और कमज़ोरी न सिर्फ आपकी प्रोफेशनल लाइफ को प्रभावित करेगी, बल्कि आपकी सेक्स लाइफ भी इससे प्रभावित हो सकती है।
कई जड़ी-बूटियों के साथ मुलेठी का इस्तेमाल कर सकते हैं। चित्र :शटरस्टॉक
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हर समय थके रहना या हर समय उदास रहना, दोनों ही आपके जीवन को प्रभावित कर सकते हैं। इसका असर न केवल आपकी प्रोडक्टिविटी पर आएगा, बल्कि यह आपके संबंधों पर भी नकारात्मक असर डाल सकता है। जीवन औ एनर्जी से भरे रहना हर रिश्ते और जिम्मेदारी के लिए जरूरी है। शुक्र है कि आयुर्वेद में इसका समाधान मौजूद है। हमारे पास हैं कुछ ऐसे फूड्स जो आपका स्टैमिना बढ़ा कर आपको मेंटली, फिजिकली और सेक्सुअली ज्यादा एक्टिव बना सकते हैं।

स्टैमिना न केवल शारीरिक शक्ति को बढ़ाने के लिए, बल्कि बीमारियों और भावनात्मक तनाव से निपटने के लिए भी आवश्यक है। यदि आप किसी गतिविधि को लंबे समय तक सहन करने के लिए पर्याप्त शक्ति और ऊर्जा नहीं जुटा पाते हैं, तो चिंता न करें!

सही खाद्य पदार्थों और जड़ी-बूटियों के सेवन से आप अपनी शारीरिक और मानसिक क्षमता बढ़ा सकती हैं।

1. अश्वगंधा

अशवगंधा एक आयुर्वेदिक जड़ीबूटी है और इस शब्द का मतलब ‘घोड़े की गंध’ होता है। इसलिए, यह माना जाता है कि जो व्यक्ति इस हर्बल दवा का सेवन करता है, उसे घोड़े जैसी शक्ति प्राप्त होती है।

स्टैमिना बढ़ाने में अश्वगंधा कर सकता है आपकी मदद। चित्र-शटरस्टॉक

यह ऊर्जा में सुधार करने और स्टैमिना को बढ़ाने के लिए जाना जाता है। अश्वगंधा को पाउडर या टैबलेट के रूप में लिया जा सकता है। अश्वगंधा रात में शांतिपूर्ण नींद को बढ़ावा देते हुए शरीर को पूरे दिन महत्वपूर्ण ऊर्जा को सुरक्षित रखने और बनाए रखने में सक्षम बनाता है।

2. शिलाजीत

शिलाजीत पारंपरिक रूप से पुरुष यौन स्टैमिना को बढ़ाने के लिए इसका इस्तेमाल किया गया है, लेकिन प्राचीन चिकित्सकों ने शक्ति और समग्र स्टैमिना को बढ़ावा देने के लिए भी इसके सेवन का सुझाव दिया है। यह जड़ी-बूटी शारीरिक और मानसिक तनाव से निपटने में भी मदद करती है। आप अपने स्टैमिना और ऊर्जा के स्तर को बेहतर बनाने के लिए इसे पाउडर के रूप में एक गिलास पानी या दूध के साथ ले सकती हैं।

3. ब्राह्मी

ब्राह्मी आपके मस्तिष्क के कार्यों में सुधार और आपकी याददाश्त को मजबूत करने के लिए उत्कृष्ट है। ब्राह्मी में शीतलन गुण होते हैं, जो मन को शांत और चिंता मुक्त रखते हैं। यह अच्छी नींद को भी बढ़ावा देती है। ब्राह्मी में एंटीऑक्सिडेंट होते हैं, जो शरीर से हानिकारक विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने में मदद करते हैं और कोशिकाओं को पोषण देते हैं।

इससे थकान और सुस्ती कम होती है। इसके अलावा, कोर्टिसोल के स्तर को कम करने में मदद करती है।

खाली पेट तुलसी का करें सेवन चित्र: शटरस्‍टॉक

4. तुलसी

हमारे देश में कई लोग तुलसी की पूजा करते हैं। भारत में इस पौधे का अपना आध्यात्मिक और धार्मिक महत्व से कहीं अधिक है। जर्नल ऑफ आयुर्वेद एंड इंटीग्रेटिव मेडिसिन में प्रकाशित एक अध्ययन के अनुसार, तुलसी को निश्चित रूप से इसके औषधीय गुणों के अलावा, संपूर्ण शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य के साथ-साथ सहनशक्ति बढ़ाने की क्षमता के लिए जाना जाता है।

यह आपके शरीर को मजबूत करके पर्यावरणीय तनावों जैसे प्रदूषण, रसायनों और कई संक्रमणों के प्रभाव को कम करके ऐसा करता है। इसलिए, एक पत्ता एक दिन में कई समस्याओं को दूर रख सकता है।

5. शतावरी

शतावरी एक प्राचीन आयुर्वेदिक जड़ी बूटी है, जो अपने कई स्वास्थ्य लाभों के लिए लोकप्रिय है। यह विशेष रूप से महिलाओं में स्टैमिना और ऊर्जा के स्तर में सुधार करने में मदद करती है। शतावरी को स्तन दूध उत्पादन के स्वस्थ स्तर को बढ़ावा देने के लिए भी जाना जाता है। इसके प्राकृतिक एंटीऑक्सीडेंट गुण प्रतिरक्षा को बढ़ावा देने और थकान को कम करने में मदद करते हैं।

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ऐश्‍वर्या कुलश्रेष्‍ठ

प्रकृति में गंभीर और ख्‍यालों में आज़ाद। किताबें पढ़ने और कविता लिखने की शौकीन हूं और जीवन के प्रति सकारात्‍मक दृष्टिकोण रखती हूं। ...और पढ़ें

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