रसोई में प्रयोग किया जाने वाला जायफल आमतौर पर मौसमी संक्रमण से बचाव के लिए इस्तेमाल किया जाता है। इसमें पाए जाने वाले एंटीऑक्सीडेंटस शरीर की बैक्टीरियल इंफै्क्शन से रक्षा करते हैं। आयुर्वेदिक दवाओं में जायफल का खासतौर से प्रयोग किया जाता है। दरअसल, ये संक्रमण के अलावा रिप्रोडक्टिव हेल्थ को बूस्ट करने में भी मददगार साबित होता है। जानते हैं जायफल के सेवन से कैसे सेक्सुअल हेल्थ को हेल्दी बनाए रखने में मदद मिलती है (nutmeg benefits for sex)।
इस बारे में डायटीशियन मनीषा गोयल का कहना है कि जायफल में एंटीऑक्सिडेंट की प्रचुर मात्रा पाई जाती है। इसमें मौजूद कंपाउड की मदद से शरीर को फ्री रेडिकल के प्रभाव से मुक्ति मिल जाती है। जायफल का नियमित सेवन शरीर को कैंसर, हृदय और न्यूरोडीजेनेरेटिव रोगों से दूर रखता है। इसमें फेनिलप्रोपानोइड्स, टेरपेन और फेनोलिक कंपाउड पाए जाते हैं, जो सेक्सुअल हेल्थ को बूस्ट करने में मदद करते हैं। इससे लिबिडो में वृद्धि होती है और मेंटल हेल्थ में भी सुधार आने लगता है।
जायफल का सेवन करने से महिलाओं में बढ़ने वाली सेक्स ड्राइव की कमी को दूर करने में मदद मिलती है। इसमें मौजूद प्लांट कंपाउंड की मदद से नर्वस सिस्टम को स्टिम्यूलेट करने में मदद मिलती है। एनआईएच की एक स्टडी के अनुसार चूहों को 227 मिलीग्राम से लेकर 500 मिलीग्राम प्रति किलोग्राम शरीर के वज़न के अनुसार दिया गया। इसके चलते जिन चूहों के समूह को जायफल दिया गया, उनकी सेक्स ड्राइव में अन्य चूहों की तुलना में बढ़ोतरी पाई गई।
प्रिस्टीन केयर के अनुसार जायफल का तेल इरैक्टाइल डिस्फंक्शन की समस्या को दूर करने में मदद करता है। इसके सेवन से शरीर में ब्लड सर्कुलेशन नियमित होने लगता है। ऐफ्रडिजीऐक के नाम से मशहूर जायफल कामेच्छा को बढ़ाने में मदद करता है और इरैक्टाइल डिस्फंक्शन से बचा जा सकता है। इसमें पाई जाने वाली पॉलीफेनोलस की मात्रा सेक्सुअल हेल्थ को बूस्ट करने में मदद करती है।
जर्नल ऑफ एथनोफार्माकोलॉजी की एक रिसर्च के अनुसार जायफल का सेवन करने से नींद की गुणवत्ता में सुधार आने लगता है। इसमें मौजूद ट्रिमिरिस्टिन की मात्रा मसल्स और नर्वस को सुकून देती हैं। इससे शरीर में हैप्पी हार्मोन रिलीज़ होने लगते हैं, जिससे नींद न आने की समस्या हल होने लगती है। दूध, कस्टर्ड या आइस
क्रीम में मिलाकर इसका सेवन करने से शरीर को एंटीऑक्सीडेंटस की प्राप्ति होती है।
जायफल का सेवन करने से शरीर को तनाव से मुक्ति मिलती है। इसमें मौजूद एडाप्टोजेन प्रापर्टीज़ ब्रेन को स्टीम्यूलेट कर आराम प्रदान करता है। इसके नियमित सेवन से फोकस बढ़ने लगता है और शरीर भी एक्टिव बना रहता है। जायफल से मेंटल और इमोश्नल हेल्थ में सुधार आने लगता है। जायफल को मसाले के तौर पर मील्स में शामिल करने से मूड को रेगुलेट करने में मदद मिलती है। इसगके अलावा एंग्ज़ाइटी से राहत मिल जाती है।
जायफल में एंटीस्पास्मोडिक प्रापर्टीज़ पाई जाती हैं, जो मेंस्ट्रुयल पेन से शरीर की रक्षा करता है। जायफल पाउडर के अलावा इसका तेल भी बेहद कारगर है। इस नेचुरल पेन रिलीवर की मदद से होर्मोनल इंबैलेंस में मदद मिलती है। इसमें पाए जाने वाले एनाल्जेसिक गुण पेट के निचले हिस्से में होने वाली ऐंठन को कम करने में मदद करते हैं। मासिक धर्म के दौरान उचित मात्रा में जायफल का सेवन करने से क्रैंप्स के अलावा ब्लोटिंग, अपच और वॉमिटिंग से भी राहत मिल जाती है।
ये भी पढ़ें- Vaginal Dryness : टैम्पोन भी हो सकते हैं योनि में सूखापन के लिए जिम्मेदार, एक्सपर्ट से जानिये क्या हैं कारण