क्रैंप्स, सूजन, ब्लीडिंग और सबसे महत्वपूर्ण दर्द- ये पीरियड्स के कुछ आम लक्षण हैं जो हर महिला प्रत्येक महीने अनुभव करती है। अगर आपके पीरियड में कुछ भी बदलाव होता है, तो आप तुरंत पहचान लेती हैं! बहुत लोगों के लिए पीरियड क्रैंप्स इसके आने का संकेत होता है। इसमें कोई दो राय नहीं है कि यह दर्दनाक होता है। लेकिन क्या हो अगर आप बिना क्रैंप्स के पीरियड का अनुभव कर रहीं हों?
क्या बिना किसी ऐंठन के पीरियड्स होना नॉर्मल है? माहवारी के किसी भी समय आपको इस ऐंठन का अनुभव हो सकता है। लेकिन इसका बिलकुल न होना थोड़ा चिंताजनक हो सकता है। लेकिन आप घबराएं नहीं!
मासिक धर्म के दौरान ऐंठन सामान्य हैं और यह पीरियड्स के कुछ दिन पहले भी शुरू हो सकता है। आपके गर्भाशय में मांसपेशियों के संकुचन से यह दर्द पैदा होता है। इस क्रिया के पीछे प्रोस्टाग्लैंडिन नामक हार्मोन जिम्मेदार है। जबकि कुछ महिलाओं को केवल हल्के लक्षणों का अनुभव होता है, कुछ को मतली और सिरदर्द, लूज मोशन और चक्कर जैसे गंभीर लक्षणभो सकते हैं।
इसके साथ ही कुछ महिलाएं ऐसी होती हैं, जिन्हे पीरियड्स में बिल्कुल भी दर्द नहीं होता है। डॉ लाहा कहती हैं, “पीरियड्स के दौरान किसी भी तरह के दर्द का अनुभव न करना सामान्य है।”
वास्तव में, असामान्य, गंभीर ऐंठन या दर्द का अनुभव करना एक गंभीर स्वास्थ्य समस्या का संकेत हो सकता है। लहा कहती हैं, “ऐसी कई महिलाएं हैं जिन्हें कुछ स्वास्थ्य समस्याएं हैं, जैसे पॉलीसिस्टिक ओवरी सिंड्रोम (PCOS), एंडोमेट्रियोसिस और यूटरिन फाइब्रॉयड, पीरियड के समय ऐंठन का कारण बन सकते हैं। लेकिन वे इन समस्याओं को नजरंदाज कर देती हैं। महिलाएं इन परेशानियों से अन्जान हैं। वे चुपचाप सहती और सोचती हैं कि दर्द भयानक लेकिन स्वस्थ है।”
इसी तरह कुछ महिलाओं को मासिक धर्म शुरू होने से पहले प्रीमेंस्ट्रुअल सिंड्रोम (PMS) होता है। जबकि अन्य में सूजन, सिरदर्द और मूड स्विंग के लक्षण नहीं होते।
दर्दनाक माहवारी एक सामान्य घटना है, और अधिकांश लड़कियों और महिलाओं को दर्द होता है। लेकिन इसकी तीव्रता हर बार अलग हो सकती है। डॉ लाहा कहती हैं, “क्या आप जानते हैं कि 100 में से 10 महिलाओं को मासिक धर्म में तेज दर्द और ऐंठन होती है। यह इतना तेज होता है कि वे अपने दैनिक कार्य भी आराम से नहीं कर पाती हैं।”
मासिक धर्म हर महीने (औसतन) चार दिन आता है और इन महिलाओं को उस दौरान भारी परेशानी का सामना करना पड़ता है। दर्द आमतौर पर उन महिलाओं में अधिक होता है, जो 20 के दशक में होती हैं। ऐसे कई लोग हैं जिन्हें कष्ट और ऐंठन होती है।
कुछ महिलाएं ऐसी होती हैं, जिन्हें किसी भी तरह के दर्द या अन्य लक्षण नहीं होते। उन्हें मासिक धर्म के दौरान कोई दर्द नहीं होता। और यह पूरी तरह से सामान्य है।
डॉ लाहा बताती हैं कि एक स्वस्थ मासिक धर्म कैसा होता है:
यदि आपकी माहवारी स्वस्थ है, तो वह बिना किसी देरी के समय पर आ जाएगी। यह हर महीने एक बार आएगा। आमतौर पर हर 26-32 दिन को सामान्य माना जाता है। इन तिथियों को आप अगली महावरी के शुरुआत का अंदाजा लगाने के लिए इस्तेमाल कर सकती हैं।
जब आपको अनियमित पीरियड्स का अनुभव नहीं करना पड़ता है। यदि ऐसा होता है, तो यह चिंता का कारण है और इस पर ध्यान देने की आवश्यकता है।
एक दर्दनाक पीरियड यह संकेत दे सकता है कि आपके शरीर में कुछ ठीक नहीं है। हल्की बेचैनी ठीक है, लेकिन अगर किसी को फाइब्रॉएड, एंडोमेट्रियोसिस या एडिनोमायोसिस जैसे हार्मोनल या संरचनात्मक मुद्दे हैं, तो आपके पीरियड्स दर्दनाक होंगे।
पीएमएस (PMS) के कोई लक्षण नहीं होंगे जैसे मूड स्विंग, सिरदर्द, स्तन में दर्द, सूजन और चिड़चिड़ापन। यदि ऐसा हर बार होता है, तो यह संकेत दे सकता है कि कुछ गलत है। आपको इसका मूल्यांकन करने की आवश्यकता है।
लेडीज, अब आप जानती हैं कि हेल्दी पीरियड क्या है। तो, परेशानी की कोई बात नहीं है! बिना ऐंठन के पीरियड्स होना पूरी तरह से सामान्य है!
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