मेनोपॉज महिलाओं के जीवन का एक पड़ाव है। वह पड़ाव सामान्य और स्वस्थ हर महिला के जीवन मे आना ही आना है। लेकिन आम तौर पर 45 से 50 की उम्र में इससे गुज़रने वाली महिलाएं इन दिनों इससे पहले मेनोपॉज से गुजरने लग रही हैं। WHO की एक रिपोर्ट में भी इसी बात का ज़िक्र है। WHO की रिपोर्ट के अनुसार अनहेल्दी लाइफस्टाइल से महिलाओं में हार्मोनल इम्बैलेंस हो रहा है और जिस मेनोपॉज की उम्र 45 से 50 थी,वह कई बार चालीस तक पहुंच जा रही है। महिलाओं के अंदर इस शारिरिक प्रक्रिया का वक्त से पहले आने के कारण (Causes of early Menopause) क्या हैं और कैसे इससे बचा (How to avoid early menopause) जा सकता है।
मेनोपॉज एक प्राकृतिक प्रक्रिया है जिसमें एक उम्र के बाद महिलाओं के पीरियड्स हमेशा के लिए बंद हो जाते हैं। यह ज्यादातर 45 से 55 साल की उम्र के बीच होता है। डॉक्टर्स बताते हैं कि जब शरीर में एस्ट्रोजन और प्रोजेस्टेरोन हार्मोन कम होने लगते हैं तब महिलाएं मेनोपॉज की ओर बढ़ती हैं।
1. पीरियड्स का रुक जाना।
2. गर्मी लगना (Hot flashes)।
3. नींद की दिक्कत (Sleep problems)।
4. मूड स्विंग्स (Mood swings)।
5. वजन बढ़ना।
6. बालों का झड़ना या स्किन का ड्राई होना।
महिलाओं को मेनोपॉज तक दो चरणों से हो कर जाना पड़ता है। पहला चरण है प्री मेनोपॉज पीरियड, जब पूरी तरह से ना बंद हो कर अनियमित हो जाते हैं। इस दौरान पीरियड्स आने के अंतराल बढ़ जाते हैं। या कभी यह भी होगा कि कुछ महीने तक पीरियड्स एकदम से बंद हो जाएं और फिर से शुरू हो जाएं। इस फेज के दौरान ही महिलाओं के शरीर मे हार्मोनल बदलाव शुरू हो जाते हैं। और जब लगातार 12 महीने तक पीरियड्स नहीं आते तो वही मेनोपॉज का पहला पड़ाव है।
गाइनकोलॉजिस्ट डॉक्टर सुषमा गुप्ता के अनुसार महिलाओं में मेनोपॉज़ की उम्र घटने के पीछे कई कारण (Causes of Early Menopause) हो सकते हैं, जिनमें जीवनशैली, खानपान, तनाव, पर्यावरणीय कारक और जेनेटिक फैक्टर प्रमुख हैं।
हमारी जीवनशैली और खानपान का असर हमारे स्वास्थ्य पर पड़ना तय है। तेज़ चल रही दुनिया में हडबडी में खाना, जंक खाना भी आम हो गया है। ये सब भी वजह है जिससे महिलाओं के लिए मेनोपॉज की उम्र घटने लगी है। इसके अलावा, शारीरिक व्यायाम की कमी और अधिक मानसिक तनाव भी मेनोपॉज़ को जल्दी ला सकते हैं। मोटापा और वजन बढ़ने से शरीर में हार्मोनल असंतुलन पैदा हो सकता है, जिससे मेनोपॉज़ जल्दी शुरू हो जाता है।
आजकल के समय में मानसिक तनाव महिलाओं में एक आम समस्या बन गई है। कामकाजी महिलाओं, घर की जिम्मेदारियों और सामाजिक दबावों के कारण अक्सर महिलाएं मानसिक तनाव का सामना करती हैं।
तनाव के कारण शरीर में कोर्टिसोल (stress hormone) का स्तर बढ़ सकता है, जो हार्मोनल असंतुलन का कारण बन सकता है और मेनोपॉज़ को जल्दी (Early Menopause) ला सकता है। इसके अलावा, मानसिक स्वास्थ्य समस्याएं जैसे कि डिप्रेशन, चिंता, और नींद की समस्या भी महिलाओं के अंदर हार्मोनल बैलेंस बिगाड़ती हैं।
ऐसा हो ही नहीं सकता कि पर्यावरण में कोई घटना घटे और कोई उससे अछूता रहे। प्रदूषण भी उनमें से ही एक है। महिलाओं में सांस की समस्या से लेकर मेनोपॉज की उम्र घटने तक प्रदूषण के भी कारण है। WHO की रिपोर्ट में प्रदूषण के असर में से एक असर मेनोपॉज की उम्र घटना भी है।
दरअसल, प्लास्टिक और हार्मोनल डिसरप्टर्स (hormonal disruptors) बढ़ते प्रदूषण की वजह से शरीर में प्रवेश कर रहे हैं और महिलाओं की रिप्रोडक्टिव प्रक्रिया प्रजनन प्रणाली को प्रभावित कर रहे हैं। इससे मेनोपॉज़ भी जल्दी (Early Menopause) हो रहा है।
मेनोपॉज़ का समय वंशानुगत (genetic) कारणों से भी कई बार पहले हो जाता है। प्रभावित हो सकता है। अगर किसी महिला की मां या दादी का मेनोपॉज़ जल्दी हुआ था, तो वह भी उस प्रक्रिया का जल्दी अनुभव कर सकती है। जेनेटिक फैक्टर्स महिलाओं के हार्मोनल चक्र और मेनोपॉज़ के समय को प्रभावित कर सकते हैं।
कुछ स्वास्थ्य समस्याएं जैसे कि थायरॉयड की समस्या, डायबिटीज, और हार्मोनल असंतुलन, महिलाओं के शरीर में मेनोपॉज़ को जल्दी ला सकती हैं। इसके अलावा कभी कभी कुछ दवाओं की वजह से भी महिलाओं में मेनोपॉज़ पर असर डाल सकता है। उदाहरण के लिए, कुछ कैंसर उपचार (जैसे कि कीमोथेरेपी) और ओवरी निकालने वाली सर्जरी (oophorectomy) से मेनोपॉज़ जल्दी हो जाता है।
धूम्रपान और शराब की ज्यादा मात्रा तो वैसे किसी को भी नुकसान ही दे सकती लेकिन महिला शरीर में मेनोपॉज़ की प्रक्रिया को भी प्रभावित कर देता है। स्मोकिंग और शराब शरीर में हार्मोन के स्तर पर असर डालते हैं जिससे मेनोपॉज़ जल्दी हो सकता है।
1. स्मोकिंग या शराब से बचें।
2. इलाज़ और बीमारी के बारे में जागरूक रहें। बिना डॉक्टरी सलाह के कोई भी दवा ना खाएं जिसके अलग ही साइडइफेक्ट्स हो।
3. बहुत ज़्यादा चाय या कॉफी भी पीना नुकसानदेह है। इससे बचिए।
4. तनाव का असर भी आपके मेनोपॉज पर पड़ता है।तनाव को नियंत्रित करने के लिए ध्यान, योग जैसी चीजें मददगार हैं।
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