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UTI vs Yeast infection : आपको जानना चाहिए इंटीमेट एरिया में होने वाली इन दोनों समस्याओं के बारे में

वेजाइना में खुजली और असामान्य डिस्चार्ज इंफेक्शन की तरफ इशारा करता है। पर यह यूटीआई है या यीस्ट इंफेक्शन, इस बारे में ज्यादातर महिलाएं कन्फ्यूज होती हैं।
यूटीआई की स्थिति में आ सकती है पेशाब से गंध। चित्र शटरस्टॉक।
अंजलि कुमारी Published: 7 Jul 2022, 18:30 pm IST
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कभी अनप्रोटेक्टेड सेक्स (Unprotected sex) के कारण, तो कभी गीली पेंटी (Wet panty) आपके इंटीमेट एरिया में इंफेक्शन (Intimate area infection) का कारण बन सकती है। वेजाइना में होने वाला इंफेक्शन (Vaginal infection) किसी को भी परेशान कर सकता है। पर इस परेशानी से बचने के लिए सबसे पहली जरूरत है इसे ठीक से समझना। ज्यादातर महिलाएं ये समझ ही नहीं पातीं कि उन्हें यूटीआई हुआ है यीस्ट इंफेक्शन। अगर आप भी यूटीआई या यीस्ट इन्फेक्शन (UTI vs Yeast infection) जैसी समस्याओं का सामना कर रहीं हैं, तो एक्सपर्ट से जानिए इस बारे में सब कुछ।

हालांकि, यूटीआई और यीस्ट इनफेक्शन (UTI and Yeast infection) में अंतर समझना थोड़ा मिश्किल है, क्योंकि ये दोनों समस्याएं एक जैसी लगती हैं। परंतु इन दोनों के स्वास्थ्य जाेखिम काफी अलग हो सकते हैं। इसलिए इसके बारे में सब कुछ सही-सही पता करने के लिए हमने बात की स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ रितू सेठी से। तो चलिए जानते हैं डॉ रितु इन दोनों समस्याओं के बारे में क्या बता रहीं हैं।

पहले समझते हैं यूटीआई (UTI) के बारे में

पुरुषों की तुलना में महिलाओं में यूटीआई (UTI in women) की समस्या ज्यादा देखने को मिलती है। 25 में से 10 महिलाएं यूटीआई से परेशान रहती हैं। महिलाओं का यूरेथ्रा पुरुषों से छोटा होता है और यह वेजाइना और एनस के बिल्कुल पास होता है। जिस वजह से बैक्टीरियल इन्फेक्शन होने की संभावना ज्यादा होती है।

यहां जाने आखिर क्यों होती है यूटीआई की समस्या। चित्र शटरस्टॉक।

यौन सक्रिय, प्रेगनेंट महिलाएं और जिन्होंने अभी हाल ही में एंटीबायोटिक्स,स्टेरॉयड या बर्थ कंट्रोल पिल्स ली हैं, तो उन्हें भी यूटीआई होने का जोखिम ज्यादा होता है। वहीं ओबेसिटी से ग्रसित महिलाएं, मेनोपॉज के दौरान, जुड़वा बच्चों को जन्म देने के बाद, डायबिटीज, किडनी स्टोन या यूरिनरी ट्रैक्ट में किसी तरह का ब्लॉकेज होने पर भी आपको कमजोर इम्यूनिटी के कारण यूटीआई का सामना करना पड़ सकता है।

अब जानिए यीस्ट इंफेक्शन के बारे में

इसमें भी पुरुषों की तुलना में महिलाओं को ज्यादा जोखिम रहता है। वहीं 75% महिलाएं अपने पूरे जीवन काल में एक न एक बार यीस्ट इंफेक्शन से जरूर गुजरती हैं। आमतौर पर यीस्ट इंफेक्शन वेजाइना और वल्वा में होता है। परंतु यदि आप ब्रेस्टफीडिंग करवा रहीं हैं, तो यह आपके ब्रेस्ट को भी इनफेक्टेड कर सकता है। शरीर के अन्य नमी वाले हिस्सों में भी इंफेक्शन होने की संभावना बनी रहती है। यह जरूरी है कि वेजाइनल यीस्ट इनफेक्शन के दौरान सेक्स से परहेज रखें, अन्यथा यह समस्या आपके पार्टनर में भी ट्रांसफर हो सकती है।

प्यूबर्टी, मेनोपॉज और प्रेगनेंसी के दौरान यीस्ट इंफेक्शन होने की संभावना बनी रहती है। यदि आप बर्थ कंट्रोल पिल्स का प्रयोग करती हैं और आपका ब्लड शुगर लेवल हाई रहता है, तो आप इसकी शिकार हो सकती हैं। वेजाइना पर किसी तरह की दवा का प्रयोग करना और इम्यून सिस्टम की कमजोरी यीस्ट इंफेक्शन का एक कारण हो सकती है।

जानिए क्यों होता है यीस्ट इन्फेक्शन।। चित्र: शटरस्टॉक

समझे दोंनो के बीच का अंतर

ऑरा क्लिनिक, गुड़गांव की डायरेक्टर एवं क्लाउड नाइन हॉस्पिटल, गुड़गांव में सीनियर कंसल्टेंट डॉ रितू सेठी बताती हैं कि, “यीस्ट इंफेक्शन और यूरिनरी ट्रैक्ट इनफेक्शन दोनों ही हॉट और ह्यूमिड मौसम में ही ज्यादा प्रभावित करते हैं। यदि आपको वेजाइना के आसपास किसी तरह की परेशानी महसूस होती है, तो यह यूटीआई और यीस्ट इंफेक्शन के लक्षण हो सकते हैं। ऐसी परिस्थिति में फौरन डॉक्टर से मिलें।“

वे आगे बताती हैं, “यूरिनेशन के दौरान परेशानी महसूस होना, झागदार पेशाब, यूरिन में ब्लड आना, पेट के निचले हिस्से में दर्द महसूस होना और ठंड के साथ बुखार आने जैसी समस्याएं यूटीआई के लक्षण हो सकते हैं। यदि इस समस्या को समय रहते नियंत्रित न किया जाए तो यह सीधा किडनी को प्रभावित कर सकती है।

जबकि “अगरयदि वेजाइनल डिस्चार्ज काफी ज्यादा हो रहा है और इससे अधिक बदबू आ रही है तो यह यीस्ट इन्फेक्शन के लक्षण हो सकते हैं। वेजाइना में इचिंग होना, आसपास के हिस्सों पर लाल निशान आ जाना और गाढ़ा वेजाइनल डिस्चार्ज भी यीस्ट इंफेक्शन का संकेत हो सकता है।

कॉटन पेन्टीज हैं आपके वेजाइन की बेस्ट फ्रेंड। चित्र : शटरस्टॉक

एक्सपर्ट से जानते हैं क्यों होती है यह समस्या

यूटीआई की समस्या आमतौर पर यूरेथ्रा में बैक्टीरियल ग्रोथ के कारण होती हैं। पर्सनल और इंटिमेट हाइजीन पर ध्यान न देने, पर्याप्त मात्रा में पानी न पीने, छोटे अंतराल पर स्विमिंग पूल में नहाने और गीले अंडरवियर्स को पहनने से भी यूटीआई तथा यीस्ट इन्फेक्शन की समस्या का सामना करना पड़ सकता है।

डॉ रितु चेतावनी देती हैं कि “यदि इस समस्या का इलाज समय रहते न कराया जाए, तो बाद में इसे ठीक होने में लंबा समय लगता है और यह कई और स्वास्थ्य जोखिमों का भी कारण बन सकता है। तो मौसम का ध्यान रखते हुए कंफर्टेबल और लूज कॉटन अंडरवियर पहनने का प्रयास करें। इसके साथ ही पर्सनल हाइजीन पर पूरा ध्यान दें और पर्याप्त मात्रा में पानी पीकर खुद को हाइड्रेटेड रखें।”

यदि ऐसी कोई समस्या नजर आती है, तो जितनी जल्दी हो सके उतनी जल्दी स्त्री रोग विशेषज्ञ से संपर्क करना उचित रहेगा।

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अंजलि कुमारी

इंद्रप्रस्थ यूनिवर्सिटी से जर्नलिज़्म ग्रेजुएट अंजलि फूड, ब्यूटी, हेल्थ और वेलनेस पर लगातार लिख रहीं हैं। ...और पढ़ें

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