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अपनी और पार्टनर की फर्टिलिटी बढ़ाना चाहती हैं, तो रोज खाएं और खिलायें अमरूद

अमरूद में मौजूद खास कंपाउंड्स स्त्रियों और पुरुषों दोनों की प्रजनन क्षमता में बढ़ोतरी करते हैं। साथ ही यह गर्भ में पल रहे बच्चे की हड्डियों के विकास में भी मददगार पाया गया है।
अमरूद की पत्तियों के रस से पाचन तंत्र की ज्यादातर समस्याओं को ठीक किया जा सकता है। चित्र: शटरस्टॉक
स्मिता सिंह Published: 25 Aug 2022, 09:00 am IST
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बारिश का मौसम खत्म होते ही अमरूद का सीजन शुरू हो जाता है। यह एक ऐसा फल है, जिसे देखते ही खाने को जी ललचाने लगता है। स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से भी यह काफी फायदेमंद है। कच्चे फल के अलावा, यह जेम, जेली, चटनी आदि के रूप में भी खाया जाता है और यह हर रूप में स्वास्थ्य लाभ देता है। पर क्या आप जानती हैं कि अमरूद आपकी और आपके पार्टनर की प्रजनन क्षमता में भी सुधार करता (Guava leaves for fertility) है। इसलिए अगर आप बेबी प्लान कर रहीं हैं, तो अपने आहार में अमरूद जरूर शामिल करें। 

इस बारे में क्या कहती हैं रिसर्च

आपके पसंदीदा अमरूद में फीमेल ऑव्यूलेशन और फर्टिलिटी को बढ़ावा देने की क्षमता है। इसमें फाइबर के अलावा, फोलेट और विटामिन सी मौजूद होता है, जो फर्टिलिटी को बढ़ाता है। ऑब्जर्वेशनल स्टडी बताती है कि जिन महिलाओं ने ज्यादा डाइटरी फाइबर लिए, उनमें कम फाइबर लेने वाली महिलाओं की तुलना में प्रेगनेंसी के ज्यादा चांस देखे गए।

अमरूद के साथ-साथ अमरूद की पत्तियों से दुनिया भर के कई देशों में स्वास्थ्य समस्याओं का समाधान किया जाता रहा है। यदि आप भी फर्टिलिटी बढ़ाना चाहती हैं या हेल्दी प्रेगनेंसी चाहती हैं, तो अपने आहार में अमरूद को जरूर शामिल करें। रिसर्च बताते हैं कि यह न सिर्फ आपके और आपके पार्टनर की फर्टिलिटी बढ़ाता है, बल्कि प्रेगनेंसी में भी इसे खाना लाभदायक है।

अमेरिका की नेशनल मेडिकल लाइब्रेरी पबमेड के अनुसार विस्टर रैट्स पर एक स्टडी की गई। चूहों को अमरूद की पत्तियों का सत्व खाने को दिया गया। कुछ दिनों के बाद मेल रैट्स का स्पर्म आउटपुट बढ़ा हुआ था। इसके आधार पर निष्कर्ष निकाला गया कि अमरूद की पत्तियों में मौजूद इथेनॉल के कारण ऐसा हुआ।

प्रेगनेंसी में सेफ है अमरूद खाना 

अक्सर प्रेगनेंसी के दौरान अमरूद न खाने की सलाह दी जाती है। इस बारे में न्यूट्रीशनिस्ट नीता वोहरा ने बताया कि कुछ फलों को गर्भावस्था के दौरान खाने के लिए मना किया जाता है। पर अमरूद उनमें से एक नहीं है।

प्रेगनेंसी में अमरूद बिना छिलकों के खाएं। चित्र: शटरस्टॉक

पर ध्यान रखें कि प्रेगनेंसी के दौरान पका और बिना छिलके का अमरूद खाना चाहिए। कच्चे और सड़े अमरूद न खाएं। इससे डायरिया हो सकता है। ज्यादा मात्रा में अमरूद खाने से डिहाइड्रेशन होने की संभावना होती है। इसमें मौजूद फाइबर बावेल मूवमेंट ठीक  करता है। इसमें विटामिन-सी भी भरपूर मात्रा में होता है, जो इम्‍युनिटी बढ़ाता है।

 गर्भ में पल रहे बच्चे के लिए भी है फायदेमंद 

अमरूद में मौजूद मैग्‍नीशियम मसल्स और नर्व को रिलैक्स करता है। विटामिन-ए, सी, ई के अलावा पॉलीफेनोल्‍स और कैरोटीनोएड्स बैक्‍टीरियल इंफेक्शन और बीमारियों से बचाव करते हैं। फोलिक एसिड, कैल्शियम और विटामिन बी से भरपूर अमरूद गर्भ में पल रहे बच्चे के ब्रेन और बोंस डेवलपमेंट में मदद कर सकता है।

पोषक तत्वों से भरपूर अमरूद और अमरूद की पत्तियां हर तरह से फायदेमंद हैं।चित्र: शटरस्टॉक

 फिनॉलिक कंपाउंड घटाता है ब्लड ग्लूकोज लेवल

अमेरिका की नेशनल मेडिकल लाइब्रेरी पबमेड के अनुसार, दुनिया भर की ट्रेडिशनल पद्धतियों में अमरूद और अमरूद के पत्ते से डायबिटीज, कार्डियोवस्कुलर डिजीज, कैंसर और पैरासिटिक इंफेक्शंस का इलाज किया जाता है। पबमेड के अनुसार अमरूद और अमरूद के पत्तों में फिनॉलिक कंपाउंड पाया जाता है, जो ब्लड ग्लूकोज लेवल को रेगुलेट करता है।

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स्मिता सिंह

स्वास्थ्य, सौंदर्य, रिलेशनशिप, साहित्य और अध्यात्म संबंधी मुद्दों पर शोध परक पत्रकारिता का अनुभव। महिलाओं और बच्चों से जुड़े मुद्दों पर बातचीत करना और नए नजरिए से उन पर काम करना, यही लक्ष्य है। ...और पढ़ें

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