अंडरगार्मेंट्स चुनते वक़्त लड़कियां अक्सर डिजाइनर पीस या सॉफ्ट कपड़े वाली चीजें चुनना ही पसंद करती हैं। मार्केट में भी उनकी पसंद का ख्याल रखते हुए अलग-अलग रंगों और डिजाइन्स के अंडरगार्मेंट्स की कई वेरायटी मौजूद हैं। वेजाइनल हेल्थ के लिए यह जरूरी है कि आप एक अच्छी क्वालिटी की पैंटी चुनें। पर क्या आप जानती हैं कि अंडरवियर चुनने के साथ-साथ उसे धोने का सही तरीका (How to clean underwear) भी आपको पता होना चाहिए। आइए जानते हैं क्या है अंडरवियर धोने का सही तरीका।
दरअसल, अंडरवेयर वेजाइनल एरिया को क्लीन और ड्राई रखने में सहायता करते हैं। साफ और सही प्रकार के अंडरवेयर पहनने से इंफेक्शन्स से भी बच पाना काफी हद तक संभव हो पाता है। अंडरवेयर हाइजीन (benefits maintaining underwear hygiene) बनाए रखने से बैक्टेरिया की वजह से होने वाली परेशानियों का रिस्क भी काफी कम किया जा सकता है। इसके साथ ही वेजाइनल इचिंग और दुर्गंध से भी आप बची रहती हैं।
डॉ दीपा दीवान, एसोसिएट डायरेक्टर एंड हेड ऑफ़ यूनिट, प्रसूति और स्त्री रोग, मैक्स अस्पताल, गुड़गांव कहती हैं कि “दैनिक आधार पर केवल सूती अंडरवियर पहनने की सलाह दी जाती है, क्योंकि यह त्वचा को सांस लेने की अनुमति देता है। यह किसी भी कपड़े की तुलना में नमी, पसीने या डिस्चार्ज को बेहतर तरीके से अवशोषित करने में भी सहायता करता है।”
एक्सपर्ट्स के मुताबिक, सही अंडरवेयर चुनने के साथ-साथ कुछ विशेष बातों का ध्यान रखना जरूरी होता है और यही बातें अंडरवियर हाइजीन के नियम भी हैं। आइए जानें अंडरवियर पहनने के सबसे प्रमुख नियम क्या हैं।
वेजाइना की स्किन बेहद नाजुक होती है और यह एक बहुत ही संवेदनशील पार्ट है। इसीलिए, वेजाइना को कवर करने के लिए आरामदायक और सूती कपड़े के अंडरवियर पहनने की सलाह दी जाती है।
कॉटन के कपड़े पहनने से पसीना आसानी से सूख सकता है। जबकि नायलॉन या स्पैन्डेक्स जैसे सिंथेटिक फैब्रिक से बनने वाले अंडरगार्मेंट्स पहनने से वेजाइना की स्किन को नुकसान पहुंच सकता है। जबकि,अंडरगार्मेंट्स की बनावट के लिए लगाए गए लेस और अन्य डिजाइनर चीजों की वजह त्वचा पर कट और खरोंच लग सकती है।
किसी भी अंडरगार्मेंट को एक बार प्रयोग करने के बाद उसे साफ करने के बाद ही दोबारा पहनें। ठंड हो या गर्मी का मौसम हमेशा साफ-सुथरे अंडरवियर ही पहनें। अंडरवियर हाइजीन के लिए यह एक महत्वपूर्ण नियम है। पहले से पहना हुआ अंडरवियर दोबारा पहनने से उस पर पहले से मौजूद गंदगी और पसीना दोबारा स्किन के सम्पर्क में आ सकते हैं। इससे यूटीआई (Urinary Tract Infections) या अन्य प्रकार के इंफेक्शन्स का खतरा काफी बढ़ सकता है।
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जिन महिलाओं को बार-बार यीस्ट इंफेक्शन की परेशानी होती है, वे रात में सोने से पहले अंडरवियर बदल दें या बिना अंडरवियर के सोएं। ऐसा करने से यीस्ट बनने की परेशानी कम होगी।
अंडरवियर सबसे सॉफ्ट होते हैं और ये शरीर के सबसे सेंसिटिव एरिया के सम्पर्क में आते हैं। ऐसे में यदि किसी हार्श या कठोर साबुन का प्रयोग इनकी सफाई के लिए करती हैं, तो इससे वेजाइनल हेल्थ को नुकसान हो सकता है। कठोर साबुन और केमिकल युक्त फैब्रिक क्लिंजर से अंडरवियर धोने से वेजाइना में एलर्जी, खुजली, इरिटेशन और रैशेज हो सकते हैं।
अगर आप अंडरवियर को बाकी कपड़ों के साथ वॉशिंग मशीन में धुलने डाल देती हैं, तो यह भी एक बड़ी गलती है। इससे अन्य कपड़ों पर लगी गंदगी और रंग आदि भी आपके अंडरवियर पर आ सकते हैं। आपको अंडरवियर अलग हल्के साबुन से धोकर धूप में सुखाने चाहिए।
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