कैल्शियम की कमी बना सकती है उन पांच दिनों को और भी दर्द भरा, समझिए इसका कारण

आपका आहार और पोषण आपके प्रजनन स्‍वास्‍थ्‍य को भी प्रभावित करता है। यही वजह है कि कैल्शियम की कमी आपके उन खास दिनों को और भी ज्‍यादा असहनीय बना देती है।
कैल्शियम की कमी बना सकती है उन पांच दिनों को और भी दर्द भरा। चित्र- शटरस्टॉक।
विदुषी शुक्‍ला Updated: 10 Dec 2020, 13:41 pm IST
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अगर पीरियड्स से भी ज्यादा दर्दनाक कुछ है, तो वह हैं पीएमएस यानी प्री मेंस्ट्रुअल सिंड्रोम। मूड स्विंग, चिड़चिड़ापन, सेंसिटिव ब्रेस्ट और क्रैम्प्स हर महिला का डर है। लेकिन अगर आपको सामान्य से ज्यादा दर्दनाक पीएमएस होते हैं, तो आपके शरीर में कैल्शियम की कमी हो सकती है।

कैल्शियम हमारे शरीर में क्या भूमिका निभाता है?

यह तो आप ने सुना ही होगा कि कैल्शियम हमारी हड्डियों के लिए बहुत जरूरी है। लेकिन और क्या करता है कैल्शियम? हम बताते हैं। आपके शरीर का 99 प्रतिशत कैल्शियम हड्डियों और दांतों में होता है और 1 प्रतिशत खून और मांसपेशियों में।
कैल्शियम न केवल आपकी हड्डियों और दांतों को मजबूत करता है, बल्कि मसल कॉन्ट्रेक्शन, खून जमना और दिमाग तक नर्व ट्रांसमिशन में भी महत्वपूर्ण होता है। कैल्शियम ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करने के लिए भी आवश्यक होता हैं।

कैल्शियम की कमी आपके लिए खतरनाक हो सकती है। चित्र: शटरस्‍टॉक
कैल्शियम की कमी आपके लिए खतरनाक हो सकती है। चित्र: शटरस्‍टॉक

हर दिन हमारा शरीर कैल्शियम को बाहर भी निकालता है, यानी कैल्शियम पर आपको हमेशा ध्‍यान रखना है। अगर आपकी डाइट से शरीर में पर्याप्त कैल्शियम नहीं पहुंच रहा हो, तो कैल्शियम की जरूरत को पूरा करने के लिए हड्डियों से कैलशियम लिया जाता है। यही कारण है कि हड्डी कमजोर होती हैं और ऑस्टियोपोरोसिस जैसी समस्याएं आती हैं।

पीएमएस से कैल्शियम का क्या सम्बन्ध है?

जर्नल BMJ में प्रकाशित स्टडी में पाया गया कि दो महीने तक कैल्शियम सप्लीमेंट लेने से तीसरे महीने में महिलाओं को पीएमएस के लक्षणों में उल्लेखनीय कमी महसूस हुई है।
ऐसा इसलिये क्योंकि कैल्शियम फ्लूइड रिटेंशन को रोकने के लिए कैल्शियम भी पोटेशियम जितना ही आवश्यक है। कैल्शियम ब्लोटिंग में राहत देता है।

यही नहीं कैल्शियम न्यूरोलॉजिकल सिस्टम के लिए भी बहुत महत्वपूर्ण होता है। दिमाग से या दिमाग तक कोई भी संदेश पहुंचाने के लिए कैल्शियम की जरूरत होती है। कैल्शियम की कमी होने से ये सिग्नल नहीं पहुंच पाते, जिससे चिड़चिड़ापन होता है।

कैल्शियम कम करता है पीरियड्स के दर्द
कैल्शियम कम करता है पीरियड्स के दर्द। चित्र: शटरस्‍टॉक

कई स्टडीज में पाया गया है कि कैल्शियम के लिए दूध पीना किसी भी सप्लीमेंट से बेहतर है। ऐसा इसलिए क्योंकि दूध में कैलशियम के साथ साथ विटामिन ए, विटामिन डी, पोटेशियम और मैग्नीशियम भी होता है। आपको बता दें कि पोटेशियम और मैग्नीशियम भी पीरियड्स के लक्षणों को कम करने के लिए बहुत जरूरी हैं।

कैसे पूरी करें कैल्शियम की कमी

नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ के अनुसार 18 साल से बड़ी महिलाओं को दिन में 1000 मिलीग्राम कैल्शियम जरूर लेना चाहिए। इसका अर्थ हुआ दो से तीन गिलास दूध। आप इस दूध को स्मूदी, ओट्स, दलिया इत्यादि के रूप में ले सकती हैं। उसके साथ ही विटामिन डी युक्त फूड को अपनी डाइट में शामिल करें। क्योंकि कैल्शियम सोखने के लिए विटामिन डी आवश्यक होता है। विटामिन डी का सबसे अच्छा स्रोत धूप है।

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