मानसून के साथ आती है उमस, नमी और इन्फेक्शन्स। और सबसे ज्यादा खतरे में होती है हमारी वेजाइना। रैशेज़, फंगल इन्फेक्शन, खुजली, जलन, दाने, इर्रिटेशन और सबसे बुरा यूरिनरी ट्रैक्ट इंफेक्शन। इन सभी समस्याओं से खुद को बचाना बहुत ज़रूरी है।
दिल्ली के अपोलो अस्पताल की सीनियर कंसलटेंट गायनोकॉलोजिस्ट डॉ रंजना शर्मा कहती हैं,”इंटिमेट हेल्थ और हाइजीन मानसून में सबसे बड़ा इशू होता है, खासकर महिलाओं में। नमी भरी हवा में वायरस, बैक्टीरिया और फंगस आसानी से फ़ैलते हैं और हमारी वेजाइना उनका सबसे आसान टारगेट होता है। इस वक्त वेजाइना का खास ख़याल रखा जाना चाहिए।”
डॉ शर्मा बताती हैं वेजाइना को स्वस्थ रखने की यह 8 स्टेप्स जिन्हें आदत बना लें-
आपकी वेजाइना को भी हवा की जरूरत होती है। इसलिए बहुत टाइट कपड़े इस मौसम में अवॉइड करें। स्किनी जीन्स, शॉर्ट्स और अन्य टाइट लोअर बिल्कुल न पहनें। इस तरह के कपड़ों में पसीना ज्यादा निकलता है, हवा नहीं क्रॉस होती और फ्रिक्शन होती है। पसीने के कारण बैक्टीरिया और फंगस आसानी से पनपने लगते हैं। फ्रिक्शन की वजह से रैशेज़ हो जाते हैं।
कॉटन के अंडरवियर पहने, ढीले शॉर्ट्स या लोअर चुनें और सोते वक्त बॉयज़ शॉर्ट्स को प्रेफरेंस दें। एयर फ्लो जितना ज्यादा होगा इंफेक्शन का खतरा उतना ही कम होगा।
अपने इंटिमेट एरिया को अच्छे से साफ रखना बहुत ज़रूरी है। सिर्फ नहाते वक्त नहीं, दिन में कम से कम दो बार वेजाइना को साफ करें और सूखे तौलिये से पोछें। सफाई के लिए साबुन का इस्तेमाल बिल्कुल न करें। हमारी वेजाइना का पीएच एसिडिक होता है जबकि साबुन बेसिक होता है। वेजाइना के लिए इंटिमेट वाश मार्केट में मौजूद हैं, जिनके इस्तेमाल का सुझाव डॉ शर्मा भी देती हैं।
मानसून के सीजन में खूब सारा पानी पीना चाहिए, यह तो आप जानते ही हैं। पानी शरीर से टॉक्सिन्स को बाहर निकालता है। साथ ही पानी यूरिनरी ट्रैक्ट में मौजूद इंफेक्शन को भी शरीर से बाहर कर देता है। पानी की कमी होने पर पेशाब करते वक्त जलन हो सकती है। इसलिए खूब पानी पिएं। आप पानी के साथ-साथ अन्य लिक्विड जैसे जूस, सूप और हर्बल चाय ले सकते हैं।
स्पाइसी खाना हमारे पेट मे एसिडिटी करता है और पेट के ph संतुलन को बिगाड़ देता है। इसका दुष्प्रभाव आपके इंटिमेट एरिया पर भी पड़ता है। एसिडिटी के कारण वेजाइना से गन्दी स्मेल आती है और जलन भी हो सकती है। इसके बजाय एंटीबायोटिक युक्त फूड्स लें जैसे दही, स्ट्रॉबेरी, लहसुन और फ्रेश सब्जियां।
मानसून में पीरियड्स के वक्त प्लास्टिक बेस्ड पैड्स के बजाय कॉटन पैड या टैम्पोन्स का इस्तेमाल करें। यह रैशेज़ से बचाएगा और स्किन इर्रिटेशन भी नहीं होने देगा। एक ही पैड या टैम्पोन ज्यादा देर ना लगाएं।
अगर आप इंटिमेट एरिया को शेव करने के लिए रेजर का इस्तेमाल करती हैं, तो इस मौसम में उसे अवॉयड करें। रेजर स्किन पर हल्के कट कर देता है, जिनमें इंफेक्शन आसानी से घर कर सकता है।
हर बार बाथरूम जाने के बाद अपनी वेजाइना को ज़रूर पोछें। पेशाब करने के बाद वेजाइना को न पोंछने से स्मेल तो आती ही है, साथ ही इन्फेक्शन का खतरा भी बढ़ जाता है।
अगर आप इंफेक्शन की शिकार हो चुकी हैं, तो तुरंत डॉक्टर के पास जाएं। ओवर- द-काउंटर दवाइयों का सहारा ना लें। यह आपके स्वास्थ्य से खिलवाड़ होगा। क्रीम, ऑइंटमेंट इत्यादि बिना डॉक्टर की सलाह के ना लगाएं। आपके इंटिमेट एरिया की समस्या को इग्नोर कभी न करें।
इन आदतों को अपने जीवन में शामिल करें और मानसून के क़हर से अपनी वेजाइना को सुरक्षित रखें।