मानसून की कई समस्याओं का एक समाधान है गिलोय, जानिए कैसे करना है इस्तेमाल 

गिलोय मानसून में होने वाली बहुत सारी समस्याओं से आपको बचा सकते हैं। पर तभी जब आप इनका सही तरह से सेवन करें।  
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पोषक तत्वों से भरपूर गिलोय में मौजूद पोषक तत्व कई स्वास्थ्य जोखिमो का समाधान हो सकते हैं। चित्र शटरस्टॉक। चित्र:शटरस्टॉक
स्मिता सिंह Updated: 20 Oct 2023, 09:10 am IST
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गिलोय (Giloy) एक ऐसा पौधा है, जो सदियों से पारंपरिक चिकित्सा और आयुर्वेदिक फार्मेसी का एक अभिन्न अंग रहा है। आयुर्वेद में गिलोय (Giloy in Ayurveda) को अमृत माना जाता है। मानसून में गिलोय (Giloy in monsoon) का सेवन आपको कई समस्याओं से बचा सकता है। यह आपका इम्यून सिस्टम मजबूत कर आपके संपूर्ण शरीर को उत्तम स्वास्थ्य प्रदान करता है। तो अगर आप भी इसका सेवन करना चाहती हैं, तो जान लीजिए इसे लेने का सही तरीका (how to use giloy)। 

बहुत खास है गिलाेय 

सदियों से प्रयोग में लाई जा रही इस जड़ी-बूटी में फागोसाइट्स जैसे एक्टिव कंपाउंड पाए जाते हैं, जो हानिकारक बैक्टीरिया और वायरस को खत्म कर देते हैं। यह डेड सेल्स को भी शरीर से बाहर निकालने का काम करते हैं। कई अध्ययनों में गिलोय को किसी भी प्रकार के ट्यूमर के खिलाफ कार्य करने वाला माना गया है।

नोट कीजिए गिलोय के फायदे

गिलोय में एंटीऑक्सिडेंट, एंटीटॉक्सिक, कैंसर-निवारक, इम्यूनोमॉड्यूलेटरी, एंटी-इंफ्लेमेट्री और दर्द को कम करने वाला गुण भी हो सकता है। ऐसे कई कारक हैं, जो गिलोय को स्वस्थ त्वचा, मजबूत बाल और वेट लॉस के लिए फायदेमंद बताते हैं। पर ये सब फायदे आपको तभी मिल सकते हैं, जब आप इसका सही तरह से इस्तेमाल करें। 

यहां है गिलोय इस्तेमाल करने का सही तरीका 

1 झुर्रियों और दाग-धब्बों को दूर करने के लिए 

गिलोय एंटीऑक्सिडेंट से भरपूर होता है, जो हानिकारक फ्री रेडिकल्स को कम करता है। ये ऑक्सीडेटिव तनाव का कारण बनते हैं, जो त्वचा की कोशिकाओं को नुकसान पहुंचाते हैं। गिलोय का अर्क महीन रेखाएं और पिंगमेंटेशन को हटाता है। यह पिंपल्स, स्किल डिजीज, एक्जिमा आदि को भी दूर करने में मदद करता है। 

चेहरे के पोर्स को डिटॉक्सीफाई करने में भी गिलोय बहुत फायदेमंद हो सकता है। गिलोय में एंटी-एजिंग गुण पाए जाते हैं। यह झुर्रियों को कम करने में मदद करता है। इससे त्वचा कोमल, चमकदार और साफ होती है।

कैसे करें प्रयोग

 रिंकल और दाग-धब्बे रहित स्किन के लिए सबसे पहले चेहरे को अच्छी तरह धो लें। 

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गिलोय पाउडर में थोड़ा सा कच्चा दूध मिला कर पेस्ट तैयार कर लें। 

इसे चेहरे पर लगाकर 15 मिनट के लिए छोड़ दें। इसके बाद चेहरा धाेने पर त्वचा निखर जाती है। 

गिलोय पाउडर में शहद और गुलाब जल मिलाकर भी फेस पैक बनाया जा सकता है। 

इसे चेहरे पर लगाकर 20 मिनट तक छोड़ दें। फिर हल्के हाथों से मलते हुए इस पैक को हटा लें। 

नियमित तौर पर किसी भी पैक के इस्तेमाल से चेहरे पर निखार आसानी से देखा जा सकता है।  

 2 वजन घटाने के लिए 

गिलोय में एडिपोनेक्टिन और लेप्टिन नाम के दो प्रोटीन पाए जाते हैं। यह शरीर के एंडोक्राइन फंक्शन के ठीक से कार्य करने में मदद करते हैं। साथ ही ये दोनों प्रोटीन वजन घटाने को भी बढ़ावा दे सकते हैं। दरअसल, ये न सिर्फ भूख को कम करते हैं, बल्कि मेटाबॉलिक रेट को भी बढ़ा देते हैं। गिलोय अधिक यूरीन फॉर्मेशन के जरिये शरीर से अतिरिक्त पानी और टॉक्सिंस को बाहर निकालने में मदद करता है। इससे भी वेट कंट्रोल हो सकता है।

कैसे करें प्रयोग

वजन घटाने के लिए गिलोय को पानी में उबाल लें। 

ठंडा होने पर सिप सिप करके पिएं। 

बाजार में भी गिलोय जूस उपलब्ध होते हैं। इसका भी सेवन किया जा सकता है।

3 इम्यून सिस्टम दुरुस्त करने के लिए 

मानसून में न केवल पाचन तंत्र, बल्कि प्रतिरक्षा प्रणाली भी प्रभावित होती है। गुणों की खान गिलोय में एंटीऑक्सिडेंट, एंटी इन्फ्लेमेटरी गुण भी होते हैं। इसकी वजह से हार्मोन और ग्लैंड्स भी अच्छी तरह से नियंत्रित हो पाते हैं। इंटरनल इन्फ्लेमेशन को खत्म कर गिलोय बाहरी बैक्टीरिया से भी शरीर को लड़ने में सक्षम बनाते हैं। ये टॉक्सिंस को भी शरीर से बाहर निकालते हैं।

कैसे करें प्रयोग

इम्यून सिस्टम मजबूत करने के लिए आठ-दस तुलसी के पत्ते, 1 इंच अदरक के टुकड़े और 8 इंच के गिलोय के टुकड़े को 2 कप पानी के साथ कम आंच पर उबाल लें। 

10 मिनट तक उबालने के बाद उसे छान लें। 

ठंडा होने पर 2 चम्मच नींबू का रस मिला लें। 

स्वाद के लिए एक चुटकी काला नमक भी मिलाया जा सकता है। 

मानसून में इसका सेवन रोज करें। 

बाजार में उपलब्ध 1 कप गिलोय जूस में आधा चम्मच तुलसी अर्क मिलाकर भी पिया जा सकता है।

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गिलोय का रस पीने से इम्यून सिस्टम मजबूत होता है।। चित्र-शटरस्टॉक.

  4 पुराने बुखार से छुटकारा पाने के लिए 

 आयुर्वेद में गिलोय को ज्वर नाशक माना गया है। यह संक्रमण से लड़ता है। यदि आपको बार-बार बुखार परेशान कर रहा है, तो गिलोय रस का प्रयोग करें। यह डेंगू बुखार में प्लेटलेट काउंट में सुधार करता है और जटिलताओं की संभावना को कम करता है।

कैसे करें प्रयोग

बार-बार आ रहे बुखार को कम करने के लिए 2-3 बड़े चम्मच गिलोय का रस और इतना ही पानी लें।

 इन्हें अच्छी तरह मिला लें। इस मिश्रण को रोजाना सुबह खाली पेट पिएं। 

डेंगू बुखार के लिए गिलोय के ताजे डंठल का रस निकालकर उसमें 5-7 तुलसी के पत्ते मिला लें। 

इसे 1/2 कप पानी में उबालकर रोज पिएं। यह प्लेटलेट काउंट बढ़ाने में मदद करता है।

 

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स्वास्थ्य, सौंदर्य, रिलेशनशिप, साहित्य और अध्यात्म संबंधी मुद्दों पर शोध परक पत्रकारिता का अनुभव। महिलाओं और बच्चों से जुड़े मुद्दों पर बातचीत करना और नए नजरिए से उन पर काम करना, यही लक्ष्य है। ...और पढ़ें

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