शरीर को स्वस्थ रखने के लिए रेड ब्लड सेल्स की मात्रा का संतुलित होना आवश्यक है। इसके लिए आहार में विटामिन बी 12 की मात्रा को बनाए रखना ज़रूरी है। इस पोषण तत्व से न केवल शरीर में कई समस्याओं का जोखिम कम हेने लगता है बल्कि इससे थकान और दिनों दिन बढ़ने वाले तनाव को भी दूर किया जा सकता है। इस वॉटर सॉल्यूबल विटामिन की कमी को पूरा करने के लिए आहार में परिवर्तन लाना आवश्यक है। इससे न केवल पोषण की प्राप्ति होती है बल्कि पोषक तत्वों के एबजॉर्बशन में भी मदद मिलती है। जानते हैं दूध में किन चीजों को मिलाकर खाने से शरीर में विटामिन बी 12 (vitamin b12 foods vegetarian) की कमी को पूरा किया जा सकता है।
नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ के अनुसार विटामिन बी12 को सायनोकोबालामिन कहा जाता है। इसकी मदद से ब्रेल फंक्शनिंग, सेंट्रल नर्वस सिस्टम और रेड ब्लड सेल्स के प्रोडक्शन के लिए आवश्यक है। विटामिन बी12 की कमी से शरीर में न्यूरोलॉजिकल समेत कई लक्षण बढ़ने लगती हैं। यूएसडीए के अनुसार एक दिन में शरीर को 2.4 माइक्रोग्राम विटामिन बी 12 की आवश्यकता होती है।
ये एक वॉटर सॉल्यूबल विटामिन है। शरीर में विटामिन बी 12 की मदद से प्रोटीन के एबजॉर्बशन में मदद मिलती है। इससे एनीमिया का खतरा कम होने लगता है और शरीर फिट रहता है। इसकी कमी के चलते शरीर में कई खून की कमी, एनर्जी का घटता स्तर और कॉग्नीटिव हेल्थ समेत कई समस्याएं बढ़ने लगती है। इसकी कमी को पूरा करने के लिए दूध में खजूर, बादाम और ओट्स समेत कई चीजों को मिलाकर खाना फायदेमंद साबित होता है।
शरीर में विटामिन बी12 की उच्च मात्रा से लाल रक्त कोशिकाओं का प्रोडक्शन बढ़ने लगता है। इससे शरीर में ऑक्सीजन का स्तर उचित बना रहता हैं और खून की कमी से भी बचा जा सकता है।
फैट्स और कार्बोहाइड्रेट मेटाबॉलिज्म में मदद करके आहार को ऊर्जा में बदलने में मदद करता है। इससे शरीर में एनर्जी का लेवल मेंटेन रहता है। साथ ही शरीर में महसूस होने वाली कमज़ोरी और थकान से बचा जा सकता है।
हेल्दी नर्वस सिस्टम को बनाए रखने के लिए विटामिन बी 12 आवश्यक है। इससे माइलिन का प्रोडक्शन बढ़ने लगता है, जो नर्वस को प्रोटेक्टिड लेयरसे कवर कर देता है।
कॉग्नीटिव हेल्थ को बूस्ट करने में विटामिन बी 12 अह्म रोल अदा करता हैं। इससे उम्र के साथ बढ़ने वाली एकाग्रता की कमी से राहत मिलती है और याददाश्त भी उचित बनी रहती है। तनाव को दूर करने में मददगार साबित होता है।
खजूर में न्यूट्रिएंट की उच्च मात्रा पाई जाती है। इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंटस की मात्रा शरीर को संक्रमण से बचाती है। साथ ही आयरन और पोटेशियम की कमी पूरी हो जाती है। शरीर में एनर्जी लेवल को बढ़ाकर ब्रेन फंक्शनिंग को इंप्रूव करने के लिए दूध में खजूर को एबालकर पीने से विटामिन बी 12 की कमी को पूरा किया जा सकता है। इससे हड्डियों को भी मज़बूती मिलती है और डाइजेशन बूस्ट होता है। दरअसल, दूध और खजूर दोनों ही विटामिन बी 12 का रिच सोर्स है। रात को सोने से पहले इस दूध का सेवन करने से शरीर को पोषण की प्राप्ति होती है।
इनसाइडर की रिसर्च के अनुसार फॉर्टिफाइड ओट्स की 28 ग्राम सर्विंग में 1.3 एमसीजी विटामिन बी12 की मात्रा पाई जाती है। ओट्स खाने से हृदय रोगों काखतरा कम हो जाता है और पाचन क्रिया भी उचित बनी रहती है। नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ के अनुसार 14 सप्ताह तक फॉर्टिफाइड ओट्स का सेवन करने से शरीर में विटामिन बी 12 की मात्रा बढ़ने लगती है।
ऑफिस ऑफ डाइटरी स्टेटीस्टिक्स के अनुसार 1 कप लो फैट मिल्क से 1.2 माइक्रोग्राम विटामिन बी 12 की प्राप्ति होती है, जो दैनिंग मूल्य का 50 फीसदी माना जाता है। रोज़ाना ओट्स को दूध मेंडालकर रातभर भीगने दें और 6 से 8 घंटे तक सेवन करें।
डाइटरी, फाइबर, विटामिन सी और पोटेशियमके अलावा केले में विटामिन बी 12 की भी उच्च मात्रा पाई जाती है। इससे शरीर में पोषण की उच्च मात्रा पाई जाती है और तनाव व हाई ब्लड प्रेशर की समस्या को हल किया जा सकता है। साथ ही शरीर में बढ़ने वाली थकान और याददाश्त की कमी भी दूर होने लगती है। इसके लिए दूध में केले को ब्लैंड करके खाने से शरीर को प्रचुर मात्रा में विटामिन बी 12 की प्राप्ति होती है।
बादाम, अखरोट, काजू और पिस्ता में विटामिन बी 12 की मात्रा पाइ जाती है। ऐसे में आहार में ड्राई फ्रूट्स को शामिल करने के लिए सभी ड्राई फ्रूट्स को पीसकर पाउडर तैयार कर लें। अब इसे दूध में मिलाकर सेवन करें। इसके अलावा इन्हें दूध में सोक करके खाने से भी फायदा मिलता है। साथ ही हेल्दी स्नैकिंग के लिए भी इस्तेमाल कर सकते हैं।
अंजीर से शरीर को विटामिन बी 12 की प्राप्ति होती है। इस वॉटर सॉल्यूबल विटामिन से शरीर मेंमैग्नीशियम, आयरन और जिंक की कमी पूरी होती है। इसके सेवन से शरीर में पोषक तत्वों का एबजॉर्बशन बढ़ने लगता है। इसमें मौजूद फाइबर और कैल्शियम गट हेल्थ के अलावा हड्डियों को भी मज़बूती व्रदान करता है। इसे खर में डालकर या दूध में ब्लैंड करके एड करने से फायदा मिलता है।