बॉडी में वीटामिन डी के अवशोषण को बढ़ावा देने में सनलाइट का एक बेहद महत्वपूर्ण रोल होता है। वहीं विटामिन डी कई शारीरिक कार्य क्षमता से जुड़े होते हैं। विशेष रूप से सर्दियों में धुप की कमी से शरीर में विटामिन डी की कमी हो सकती है, जिसके कारण कई शारीरिक समस्यायों का खतरा बढ़ जाता है। ऐसे में ठंड के मौसम में बॉडी में विटामिन डी मेंटेन करना बहुत जरुरी है।
इस बारे में अधिक गंभीरता से समझने के लिए हमने डॉ. अंकित बंसल, कंसल्टेंट, इन्टर्नल मेडिसिन एंड इंफेक्शन डिजीज, श्री बालाजी एक्शन मेडिकल इंस्टीट्यूट, दिल्ली से सलाह ली (importance of vitamin d)। डॉक्टर ने सनलाइट के फायदे सहित इसकी डेफिशियेंसी से होने वाले परेशानी और सनलाइट प्राप्त करने के सही तरीके पर बात की है। तो चलिए जानते हैं, इस बारे में अधिक विस्तार से (Best way to take vitamin d)।
ठंड के मौसम में विटामिन डी की कमी को पूरा करना बहुत जरूरी है। इससे हड्डियों को मजबूत बनाने, इम्मून सिस्टम को इम्प्रूव करने, अवसाद और चिंता को नियंत्रित करने, ब्लड प्रेशर को नियमित रखने, कैंसर के रोकथाम, सहित ऑटोइम्यून रोग, जैसे कि डायबिटीज और मल्टीपल स्केलेरोसिस, के खतरे को कम करने में मदद मिलती है। वहीं विटामिन डी त्वचा स्वास्थ्य के लिए भी बहुत जरुरी होती है।
ठंड के मौसम में कमजोर इम्युनिटी आपको बार-बार संक्रमण का शिकार बना सकती है। इसके साथ ही सर्दियों में त्वचा पहले से ड्राई होती है, ऐसे में विटामिन डी की कमी त्वचा को अधिक ड्राई कर सकती है। इसलिए मॉइचराइज़र के साथ साथ पोषक तत्वों की गुणवत्ता पर भी ध्यान दें।
हालांकि सर्दी में लोग घरों के अंदर रहना ज्यादा पसंद करते हैं और धूप में न निकलने के कारण उनके शरीर में विटामिन डी की कमी होने लगती है। इसलिए इस दौरान शरीर में विटामिन डी की मात्रा को बनाए रखना बहुत जरुरी है।
विटामिन डी की कमी के कई लक्षण हो सकते हैं, जैसे – हड्डियों की कमजोरी, मांसपेशियों की कमजोरी, चलने-फिरने में परेशानी, थकान, कमजोरी, दैनिक कार्यों को करने में परेशानी होना, अवसाद, चिंता, एक्जिमा, सोरायसिस, स्किन ड्राइनेस, बालों का कमजोर होना, रोग प्रतिरोध क्षमता का कम होना, आदि। ठंड में त्वचा और इम्युनिटी पहले से प्रभावित होती है, ऐसे में विटामिन डी की कमी इनकी स्थिति को और ज्यादा गंभीर कर सकती है।
सुरजा की रौशनी से विटामिन डी प्राप्त करने के लिए कुछ बातों का वशेष ध्यान रखें, जैसे सर्दियों में कम से कम 15 से 20 मिनट धूप में जरूर बैठें। ऐसा करने से बॉडी में विटामिन डी को अवशोषित होने में मदद मिलेगी।
यदि सनलाइट को सुरक्षित रूप से एन्जॉय करना है, तो इसका सर्वोत्तम समय सुबह 10 बजे से पहले माना जाता है, इस दौरान सूर्य के प्रकाश में रहना लाभदायक होता है। इस समय सूर्य की किरणें कम होती हैं और विटामिन डी का उत्पादन अधिक होता है। वहीं एक्सपर्ट के अनुसार इस दौरान पैर और हाथ को कवर नहीं करना चाहिए।
पर कम समय में अधिक विटामिन डी प्राप्त करना चाहती है, तो आपको सुबह के 10 बजे से लेकर दोपहर के 1 बजे तक धुप में बैठना चाहिए। पर इस दौरान सूरज की किरणों का प्रभाव सबसे ज्यादा होता है इसलिए त्वचा को नुकसान हो सकता है। दिन के बिच में धुप का आनंद लेना चाहती हैं, तो सुरक्षा का विशेष ध्यान रखें।
सनलाइट के अलावा विटामिन डी युक्त खाद्य पदार्थों का सेवन अवश्य करें। दूध, दही, पनीर, अंडा, मछली, मशरूम जैसे खाद्य पदार्थों को अपनी नियमित डाइट का हिस्सा बनाएं। आप विटामिन डी सप्लीमेंट भी ले सकती हैं, मगर इसके लिए पहले डॉक्टर से परामर्श लें। ताकि यदि आप कोई और दवाई लेती हैं, तो यह उसे बाधित न करे।
इसके अलावा रोजाना कम से कम 30 मिनट तक व्यायाम करें, यह विटामिन डी के स्तर में सुधार करने में आपकी मदद करेगा। स्ट्रेस मैनेजमेंट पर विशेष ध्यान दें, इसके लिए योग, मैडिटेशन जैसे तरीके अपना सकती हैं। शारीरिक गतिविधियों में हिस्सा लेने से विटामिन डी के स्तर में सुधार देखने को मिल सकता है।
आजकल की भाग दौड़ भरी जीवन शैली में व्यक्ति भरपूर नींद नहीं ले पता, ऐसे में शरीर में पोषक तत्वों की गुणवत्ता में सुधर करने के लिए रोजाना कम से कम 7 से 8 घंटे की नींद अवश्य लें। इससे आपके विटामिन डी के स्तर में सुधार हो सकता है। यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि विटामिन डी की कमी को दूर करने के लिए समय और प्रयास की आवश्यकता होती है। यदि आपको लगता है कि आपको विटामिन डी की कमी है, और आप इसे पूरा नहीं कर पा रही, तो डॉक्टर से जरूर संपर्क करें।
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