हर मां के जीवन का एक अहम हिस्सा होता है ब्रेस्ट फीडिंग (Breastfeeding)। इससे न सिर्फ शिशु को जरूरी पोषण मिलता है, बल्कि यह मां के लिए भी फायदेमंद है। ब्रेस्टफीडिंग पोस्टपार्टम वेट लॉस में मदद करने के साथ ही हृदय रोगों से भी बचाव करती है। पर जब शिशु बड़ा होने लगता है, तो उसे अतिरिक्त पोषण के लिए ठोस आहार की जरूरत होती है। वहीं मां को भी ऑफिस लौटने के लिए इसे छुड़वाना जरूरी हो जाता है। बच्चे और मां दोनों के लिए यह एक जटिल प्रक्रिया है। इसे आसान बनाने के लिए हम यहां 5 टिप्स शेयर कर रहे हैं, जो मां को बच्चे को दूध छुड़वाने (How to stop breastfeeding) में मदद करेंगे।
हालांकि एक बार में ब्रेस्ट फीडिंग बंद नहीं की जा सकती है। इसलिए इसे धीरे-धीरे कम करने की कोशिश करनी चाहिए।
जब बच्चा 12 महीने से अधिक उम्र का हो जाता है, तो गाय के एक कप दूध से उसके फीडिंग की शुरुआत कराई जा सकती है। यदि आपके बच्चे को गाय के दूध से एलर्जी है या लैक्टोज से परेशानी होती है, तो चिकित्सक या आहार विशेषज्ञ से विकल्पों के बारे में बात करें। 12 महीने के बाद बच्चे को फॉर्मूला दूध की भी जरूरत नहीं रह जाती है।
कुछ बच्चे अन्य बच्चों की तुलना में स्तनपान से अधिक जुड़े होते हैं। वे मां का दूध छोड़ना नहीं चाहते। यह उन्हें सुरक्षा और आराम का एहसास देता है। जिस तरह चलने, दौड़ने, भाषा सीखने, पॉटी करने और ब्रश करने का प्रशिक्षण बच्चे के लिए जरूरी है, उसी तरह ब्रेस्टफीडिंग की आदत छुड़ाना भी बच्चे के व्यक्तित्व विकास के लिए जरूरी है।
जब मां अपने बच्चे को स्तनपान कराना बंद कर देती हैं, तो इस प्रक्रिया को वीनिंग (Weaning) कहा जाता है। वीनिंग के लिए यहां 5 टिप्स दिए जा रहे हैं।
दूध छुड़ाना शुरू करने के कुछ हफ्ते या 1 महीना पहले ही इसकी तैयारी शुरू कर देनी चाहिए। इस बारे में बच्चे से जरूर बात करें। सबसे पहले दूध पिलाने के बीच गैप बढ़ाएं। सोने के समय या रात के समय का कोई भी आहार छोड़ दें। यह आपके बच्चे को अभ्यस्त होने का समय देगा। इससे वह परिवर्तन को स्वीकार कर पाने के लिए पर्याप्स समय मिल पाएगा।
अचानक दूध पिलाना बिल्कुल बंद न कर दें। 1 महीने तक लगातार गैप देकर स्तनपान कराती रहें। यह आपके स्तनों के लिए अच्छा रहेगा। एकाएक स्तनपान छोड़ने से स्तनों में दूध जमा होने और दूसरी स्वास्थ्य समस्याएं होने का खतरा रहता है। इससे आपको स्तनों में दर्द भी हो सकता है। मौके-बेमौके अपने-आप दूध स्तनों से बाहर निकल भी सकता है।
जब भी आप बाहर हों या घूमने गई हों, तो स्तनपान न कराएं। यदि बच्चा जिद करता है, तो उसे बहलाने की कोशिश करें। उसका ध्यान बंटाने की कोशिश करें। गतिविधियों और सैर-सपाटे को अपनी दिनचर्या में शामिल करें। ताकि आपका बच्चा स्तनपान के बारे में बहुत अधिक न सोच पाए। कभी-भी बच्चे के आगे भावनात्मक रूप से कमजोर न पड़ें।
जब आपका बच्चा आसपास हो, तो उसके सामने कपड़े पहनने और कपड़े उतारने से बचें। ऐसे कपड़े पहनें, जिससे आपके बच्चे को आपके स्तनों तक पहुंचने में कठिनाई हो। टॉप या साड़ी-ब्लाउज की बजाय बंद गले वाले कुर्ते या कमीज पहनें।
यदि आपका बच्चा स्तनपान के लिए रात में जागता है, तो पार्टनर या घर के किसी सदस्य को बच्चे को अपने साथ एंगेज करने कहें। वे उसे गले लगा सकते हैं या गुनगुना पानी पिला सकते हैं या उसके साथ कुछ समय तक खेल सकते हैं।
बच्चे को किसी ऐसे व्यक्ति के साथ छोड़ने की कोशिश करें, जिनके साथ वह सहज महसूस करता हो। आपके आसपास नहीं रहने पर ब्रेस्टफीडिंग की उसकी आदत छूट सकती है।
यह भी पढ़ें:-World listening day : अपनी व्यस्तता के बावजूद जानिए क्यों जरूरी है बच्चों की बात सुनना