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20 की उम्र से ही फॉलो करें बोन डेंसिटी बढ़ाने वाले ये 7 टिप्स, लंबे समय तक रहेंगी एक्टिव

मेनोपॉज के बाद महिलाओं में बोन डेंसिटी यानि हड्डियों का घनत्व तेजी से कम होने लगता है। रिसर्च के अनुसार 50 से अधिक उम्र की आधी महिलाओं को अपने जीवनकाल में हिप्स, कलाई या रीढ़ की हड्डी में फ्रैक्चर का सामना करना पड़ता है।
मेनोपॉज के बाद महिलाओं में बोन डेंसिटी यानि हड्डियों का घनत्व तेजी से कम होने लगता है। चित्र : अडॉबीस्टॉक
Updated On: 11 Nov 2024, 06:06 pm IST

उम्र के साथ हड्डियों में बढ़ने वाली कमज़ोरी कई शारीरिक समस्याओं का कारण बनने लगती है। दरअसल, खान पान में अनियमितता बरतने, पोषण की कमी और अनहेल्दी लाइफस्टाइल बोन डेंसिटी कमज़ोर होने का कारण साबित होती है। इससे बार बार चोटिल होने का खतरा बना रहता है। साथ ही लंबे वक्त तक हड्डियों के स्वास्थ्य की देखभाल न कर पाने से शरीर में अर्थराइटिस और ओस्टियोपिरासिस का जोखिम बढ़ जाता है। जानते हैं किन आसान टिप्स की मदद से बोन डेंसिटी को मज़बूत बनाने में मिलती है मदद (ways to boost bone density) ।

इस बारे में डायटीशियन डॉ अदिति शर्मा बताती हैं कि बोन डेंसिटी को मेंटेन रखने के लिए आहार में सामान्य बदलाव लेकर आएं। इसके लिए डाइट में हरी पत्तेदार सब्जियां, चीज़, अंजीर, प्लांट बेस्ड मिल्क और योगर्ट का सेवन करें। इसके अलावा नट्स और सीड्स को भी शामिल करें। हड्डियों की सेहत का ख्याल रखने के लिए वर्कआउट आवश्यक है। एक्सरसाइज़ से पहले वार्मअप करने से भी मांसपेशियों को मज़बूती मिलती है। साथ ही शरीर को हेल्दी बनाए रखने के निए वज़न को संतुलित बनाए रखना ज़रूरी है।

लगभग तीन चौथाई हिप फ्रेक्चर की घटनाएं महिलाओं में पाई जाती हैं। चित्र: शटरस्‍टॉक

हेल्थ हार्वर्ड की रिपोर्ट के अनुसार मेनोपॉज के बाद महिलाओं में बोन डेंसिटी यानि हड्डियों का घनत्व तेजी से कम होने लगता है। पुरुषों की तुलना में महिलाओं में हड्डियों को कमजोर करने वाली ऑस्टियोपोरोसिस समस्या बढ़ने लगती है। विकसित होने की संभावना अधिक होती है। लगभग तीन चौथाई हिप फ्रेक्चर की घटनाएं महिलाओं में पाई जाती हैं। नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ के रिसर्च के अनुसार 50 से अधिक उम्र की आधी महिलाओं को अपनी लाइफटाइम में हिप्स, कलाई या रीढ़ की हड्डी में फ्रैक्चर का सामना करना पड़ता है।

बोन डेंसिटी में सुधार लाने के लिए इन टिप्स को फॉलो करें (Tips to improve bone density)

1. कैल्शियम इनटेक बढ़ाएं

नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ के अनुसार कैल्शियम हड्डियों में पाया जाने वाला मुख्य मिनरल है। अधिक मात्रा में इसका सेवन करने से एब्जॉर्बशन में भी मदद मिलती है। स्टडी के मुताबिक एक दिन में महिलाओं को 1200 एमजी कैल्शियम की ज़रूरत होती है जब कि टीनएजर्स को 1300 एमजी की आवश्यकता होती है। इससे बोन सेल्स को रिपेयर करने और उनका उत्पादन बढ़ोन में मदद मिलती है।

कैल्शियम हड्डियों में पाया जाने वाला मुख्य मिनरल है। अधिक मात्रा में इसका सेवन करने से एब्जॉर्बशन में भी मदद मिलती है।

2. संतुलित वज़न बनाए रखें

मेनोपॉज के बार महिलाओं के शरीर में एस्ट्रोजेन का स्तर कम होने से हड्डियों की मज़बूती कम होने लगती है। इसके अलावा वे लोग जो ओवरवेट या एंटरवेट है, उसका प्रभाव हड्डियों पर नज़र आता है। नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ के अनुसार मोटापे से हड्डियों की मज़बूती कम होने लगती है और चोटिल होने का खतरा बढ़ जाता है। इसके अलावा लो बॉडी वेट से बोन डेंसिटी में कमी आने लगती है। ऐसे में हड्डियों की मज़बूती के लिए हेल्दी वेट मैनेजमेंट ज़रूरी है।

3. स्ट्रेंथ ट्रेनिंग एक्सरसाइज़

उम्र के साथ हड्डियों का लचीलापन कम होने लगता है। ऐसे में समस्या की रोकथाम के लिए दवाओं के अलावा वर्कआउट करना आवश्यक है। इससे मांसपेशियों की ताकत बढ़ती है और हड्डियों को मज़बूत बनाए रखने में मदद मिलती है। इसके लिए व्यायाम से पहले वॉर्मअप अवश्य कर लें। इससे एक्सरसाइज़ के दौरान शरीर जल्दी थकान और मोच जैसे खतरों से बच जाता है। वहीं एक्सरसाइज़ के बाद कूल डाउन हो जाने से शरीर दिनभर एक्टिव और हेल्दी रहता है। रोज़ाना 30 मिनट एक्सरसाइज़ करने से शरीर में बढ़ने वाले दर्द को कम किया जा सकता है।

उम्र के साथ हड्डियों का लचीलापन कम होने लगता है। ऐसे में समस्या की रोकथाम के लिए दवाओं के अलावा वर्कआउट करना आवश्यक है। चित्र: शटरस्टॉक

4. लो कैलोरी डाइट से बचें

शरीर में बढ़ने वाले मोटापे को कम करने के लिए अधिकतर महिलाएं लो कैलोरी डाइट के विकल्प को चुनती हैं। नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ की रिपोर्ट के अनुसार मोटापे से ग्रस्त महिलाओं ने 4 महीने तक रोज़ाना 925 कैलेरीज़ का सेवन किया। इससे उन्हें हिप्स और पीठ में बोन डेंसिटी की कमी का सामना करना पड़ा। ऐसे में बोन डेंसिटी को मेंटेन करने के लिए दिन में 1200 कैलोरीज़ लें, जिसमें विटामिन, मिनरल और प्रोटीन भरपूर मात्रा में लें।

5. आहार हो पोषण से भरपूर

शरीर को मज़बूती प्रदान करने के लिए मैग्नीशियम और जिंक का सेवन बढ़ाएं। रिसर्च के अनुसार 73,000 महिलाओं ने रोज़ाना 400 एमजी मैगनीशियम का सेवन किया। इससे उनके शरीर में 2 से 3 फीसदी बोन डेंसिटी में सुधार देखने को मिला। इसके अलावा विटामिन डी औश्र विटामिन के से जोड़ों में होने वाले दर्द और थकान से बचा जा सकता है। साथ ही आहार में विटामिन सी की मात्रा को जोड़ने से भी इस समस्या से बचा जा सकता है।

शरीर को मज़बूती प्रदान करने के लिए मैग्नीशियम और जिंक का सेवन बढ़ाएं।

6. हार्मोनल इंबैलेंस से बचें

शरीर में मौजूद थायरॉइड हार्मोन का उच्च स्तर हड्डियों को नुकसान पहुंचाता है। दरअसल, महिलाओं में एस्ट्रोजन के स्तर में गिरावट के कारण मेनोपॉज के समय हड्डियों का नुकसान बढ़ जाता है। इससे ऑस्टियोपोरोसिस के जोखिम बढ़ने का जोखिम बना रहता है।

7. सही पोश्चर में बैठें

दिनभर एक ही पोश्चर में बैठकर लगातार काम करने से शरीर में शरीर में थकान और खि्ांचाव बढ़ जाता है। इससे मांसपेशियों में दर्द की शिकतय बढ़ जाती है। ऐसे में मसल्स की मज़बूती के लिए सही पोश्चर अपनाएं और काम के बीच में ब्रेक्स अवश्य लें।

लेखक के बारे में
ज्योति सोही

लंबे समय तक प्रिंट और टीवी के लिए काम कर चुकी ज्योति सोही अब डिजिटल कंटेंट राइटिंग में सक्रिय हैं। ब्यूटी, फूड्स, वेलनेस और रिलेशनशिप उनके पसंदीदा ज़ोनर हैं।

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