बारिश के मौसम में ह्यूमिडिटी बढ़ने से त्वचा से अधिक पसीना आता है। खासकर स्किन फोल्ड के पास पसीना होल्ड होता है, जिसके कारण स्किन रैशेज और इरीटेशन का खतरा बढ़ जाता है। अंडरआर्म्स एक ऐसी जगह है, जहां सबसे अधिक पसीना आता है और अंडरआर्म्स हेयर (underarms hair) के कारण स्किन इरीटेशन (skin irritation) बढ़ जाती है। बहुत से लोग अंडरआर्म्स को शेव कर लेते हैं, जिसके कारण उन्हें खुजली और संक्रमण का सामना करना पड़ता है।
इन सभी चीजों को अवॉइड करने के लिए अंडरआर्म्स की केयर करना भी जरूरी है। हम अपनी स्किन और बालों की देखभाल तो करते हैं, परंतु शरीर के अन्य अंगों को नजर अंदाज कर देते हैं। सीके बिरला हॉस्पिटल गुरुग्राम की कंसलटेंट डर्मेटोलॉजिस्ट डॉक्टर सीमा ओबेरॉय ने मानसून में अंडरआर्म्स केयर (Underarms care) के कुछ हेल्दी टिप्स दिए हैं। तो चलिए जानते हैं, इसके बारे में अधिक विस्तार से।
पसीना, नमी और गर्मी जैसे कारक बैक्टीरिया के विकास में योगदान कर सकते हैं। एंटी-बैक्टीरियल साबुन का नियमित उपयोग बैक्टीरिया के विकास को कम करने में मदद करता है, जिससे अंडरआर्म्स से कम गंध आता है। बैक्टीरिया विभिन्न त्वचा संक्रमण और सूजन का कारण बन सकते हैं, एंटीबैक्टीरिया साबुन के इस्तेमाल से इनसे बचाव में भी मदद मिलती है। एंटी-बैक्टीरियल साबुन हानिकारक बैक्टीरिया के ग्रोथ को रोकने में मदद करते हैं।
ज्यादातर लोग जल्दबाजी में अंडरआर्म हेयर को रेजर से शेव कर लेते हैं, जो अंडरआर्म्स की स्किन के लिए हेल्दी नहीं है। इससे इनग्रोन हेयर सहित रेडनेस, रैशेज और स्किन बंप का खतरा बढ़ जाता है, साथ-साथ यह इन्फेक्शन का कारण बन सकता है। इसलिए मानसून में इरिटेशन से बचने के लिए अपने अंडर आर्म्स हेयर को ट्रिम करें।
यह एक ऐसा हैक है जिसे बहुत से लोग अपने अंडरआर्म्स को सूखा और रैश फ्री रखने के लिए अपनाते हैं। नहाने के बाद, नींबू के रस की कुछ बूंद लें और इसे अपने अंडरआर्म्स पर रगड़ें। यह पसीने को कम करने में मदद करता है, जिससे आपके अंडरआर्म्स सूखे और गंध-मुक्त रहते हैं। अंडर आर्म्स को एक्सफोलिएट और ट्रिम करने के बाद नींबू का रस न लगाएं, अन्यथा जलन हो सकता है।
मानसून ने अंडरआर्म से जुड़ी समस्याएं बिल्कुल कॉमन हैं, अगर आपको अपने अंडरआर्म्स पर दाने होने लगे हैं, तो आप त्वचा पर कोल्ड कंप्रेस ट्राई कर सकती हैं। यह सूजन, रेडनेस को कम करने और त्वचा को प्राकृतिक रूप से शांत रखने में मदद करता है। इसके अलावा रात को सोने से पहले अंडरआर्म्स में एलोवेरा जेल अप्लाई कर सकती हैं।
हल्का एक्सफोलिएशन डेड स्किन सेल्स को हटाने और इनग्रोन बालों को रोकने में मदद करता है। यह गंध को कम करने में भी मदद करता है और एंटी-पर्सपिरेंट को प्रभावी ढंग से काम करने देता है। नियमित एक्सफोलिएशन से डार्क अंडरआर्म्स के रंगत को हल्का करने और किसी भी तरह के रंग और काले धब्बों को दूर करने में मदद मिलती है।
बारिश के मौसम में वातावरण में ह्यूमिडिटी बढ़ने से अधिक पसीना आता है, खासकर अंडरग्राउंड हर समय गीले रहते हैं। अंडरआर्म स्वेट पैड को अंडरआर्म एरिया के अंदर पहनने के लिए डिज़ाइन किया गया है, ताकि पसीने को सोखने और कपड़ों पर दाग लगने से बचाने में मदद मिल सके।
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स्वेट पैड लगाने से पहले सुनिश्चित करें कि अंडरआर्म एरिया साफ और सूखा हो। चिपकने वाला बैकिंग हटा दें जो उन्हें आपके कपड़ों के अंदर लगा लें। पैड को ठीक से संरेखित करें, सुनिश्चित करें कि यह पूरे अंडरआर्म एरिया को कवर कर रहा हो। इससे आपका अंडरआर्म्स चिपचिपा और इरिटेट नहीं रहता।
अंडरआर्म एरिया में नमी और गर्मी का संयोजन बैक्टीरिया और फंगस के ग्रोथ को बढ़ा देता है, जिससे अंडरआर्म्स से अधिक गंध आता है। अंडरआर्म्स को ड्राई रखकर आप बैक्टीरिया के संक्रमण और जमा होने वाले पसीने की मात्रा के जोखिम को कम कर सकती हैं। नहाने के बाद अपने अंडरआर्म्स को ड्राई करने के लिए एक साफ तौलिये का उपयोग करें। वहीं अंडर आर्म्स पैड की मदद से पूरे दिन ड्राई रख सकती हैं।
टाइट कपड़े नमी को फंसा सकते हैं, और हवा के प्रवाह को बाधित कर सकते हैं, जिससे पसीना और असुविधा बढ़ जाता है। ढीले-ढाले कपड़े चुनें जो बेहतर वेंटिलेशन में मदद करते हों। कॉटन और लिनन जैसे सांस लेने योग्य कपड़े पहनें क्योंकि वे हवा के संचार की अनुमति देते हैं और पसीने को सोख लेते हैं। दूसरी ओर, पॉलिएस्टर या नायलॉन जैसी सिंथेटिक सामग्री से बने कपड़े पसीने और बैक्टीरिया के विकास को बढ़ा सकते हैं।
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