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कच्ची हल्दी के लाभों को पाने का स्वादिष्ट तरीका है हल्दी का अचार, हम बताते हैं इसकी रेसिपी

कच्ची हल्दी के फायदों के बारे में आपने भी सुन रखा होगा, लेकिन इसे अपने आहार में शामिल करने का तरीका नहीं समझ आता। इस समस्या का हल हम कर रहे हैं और आपको बता रहे हैं कच्ची हल्दी का अचार बनाने का तरीका।
जानिये कैसे बनता है हल्दी का अचार। चित्र- शटरस्टॉक।
Published On: 24 Dec 2020, 11:05 am IST

आयुर्वेद में हल्दी सबसे अच्छी औषधि है। यह पूरे स्वास्थ्य को ठीक रखती है। हल्दी तीखी,कसैली और गर्म तासीर वाली होती है। कच्ची हल्दी आयुर्वेद में सदियों से प्रयोग होती आयी है। हल्दी में विटामिन सी, विटामिन ई, आयरन, जिंक सहित ढेरों पोषक तत्व मौजूद हैं, जो हल्दी को हमारे जीवन का अनिवार्य हिस्सा बनाते हैं।

हल्दी का उपयोग सभी दोषों से मुक्ति के लिए किया जा सकता है

पाचन में मदद करती है, आंत की संतुलन को बनाए रखती है, गैस को कम करती है, इसमें टॉनिक गुण होते हैं और यह एक एंटीबायोटिक है।

हल्दी का उपयोग खांसी, कफ, मधुमेह, बवासीर, घाव में जलन और त्वचा की समस्याओं के लिए किया जा सकता है। यह चिंता और तनाव को कम करने में भी मदद करता है।

इसको आहार में शामिल करने का आसान तरीका है हल्दी का अचार। इसे बनाना आसान है और ये बहुत स्वादिष्ट लगता है। आइये जानते हैं इसे कैसे बनाना है।

कच्‍ची हल्‍दी का सेवन करना हल्‍दी पाउडर के सेवन से ज्‍यादा लाभदायक है। चित्र: शटरस्‍टॉक

हल्दी के अचार के लिए आपको चाहिए ये सामग्री

1 कप कच्ची ताजी हल्दी की जड़ें
3 चम्मच सरसों तेल
1 चम्मच काली सरसों
एक चुटकी हींग
1 चम्मच अचार मसाला पाउडर
2 चुटकी नमक
4 चम्मच नींबू का रस

अब जानिए हल्‍दी का अचार बनाने की विधि

हल्दी की जड़ और अचार मसाला पाउडर ज्यादातर भारतीय किराने की दुकानों से उपलब्ध हैं। हल्दी की जड़ थोड़ी अदरक की तरह ही लगती है, लेकिन महीने छिलकों के नीचे यह शानदार पीले रंग की होती है।

1. हल्दी की जड़ों को धोकर अच्छी तरह सुखा लें। छीलकर लम्बा-लम्बा काट लें।
2. तेल गरम करें और सरसों के बीज डालें और चिटका दें। इसे ठंडा करें और कटी हुई हल्दी के ऊपर डालें।
3. अब इसमें अचार मसाला पाउडर, नींबू का रस और नमक मिलाएं। अच्छी तरह से हिलाएं।
4. कांच के एयर टाइट बर्तन में रखें और रेफ्रिजरेटर में स्टोर करें।

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ये अचार 1 महीने तक फ्रेश रहता है, बस इसमें पानी की एक बूंद भी नहीं जानी चाहिए। पानी अचार खराब कर देगा।
भोजन के साथ इस अचार को कम मात्रा में खाएं।

कच्ची हल्दी स्‍वास्‍थ्‍य लाभ जानना भी है जरूरी

1.कैंसर से लड़ने में सक्षम है

आयुर्वेद में हल्दी को औषधि के रूप में इस्तेमाल करने का बड़ा कारण है हल्दी में मौजूद एन्टी कैंसर कंपाउंड। इटली के नेशनल कैंसर इंस्टीट्यूट में 2016 में हुए एक शोध में यह पुष्टि हुई कि कच्ची हल्दी का सेवन न केवल कैंसर होने की सम्भावना को कम करता है, बल्कि बैड रेडिएशन से होने वाले ट्यूमर को भी खत्म करने में असरदार है।

2. एक्ने से छुटकारा दिलाने में है मददगार

यूनिवर्सिटी ऑफ जॉर्जिया के डर्मेटोलॉजिस्ट डिपार्टमेंट के एक शोध के अनुसार हल्दी को चेहरे पर पैक के रूप में प्रयोग करने से एक्ने से राहत मिलती है। हल्दी में मौजूद एंटीबैक्टीरियल गुण एक्ने पैदा करने वाले बैक्टीरिया को खत्म कर, आपकी त्वचा को साफ करती हैं।

3. गले की सभी समस्याओं को दूर करती है

पंजाब यूनिवर्सिटी के डिपार्टमेंट ऑफ पैथोलॉजी के अनुसार हल्दी गले के इन्फेक्शन से राहत पहुंचाने में कारगर है। गर्म पानी में आधा चम्मच नमक और आधा चम्मच हल्दी मिलाकर गरारे करने से गले की ख़राश और दर्द में तुरंत आराम मिलता है।

आपको हल्दी से गले की ख़राश और दर्द में तुरंत आराम मिलता है।चित्र- शटरस्टॉक

4. वजन कम करने में सहायक है

जर्नल ऑफ न्यूट्रिशनल बायो केमेस्ट्री में प्रकाशित लेख के मुताबिक कच्ची हल्दी वजन कम करने में मददगार होती है। एक चम्मच हल्दी को एक गिलास गर्म पानी मे घोल कर उसे हल्का ठंडा होने पर पिएं। हल्दी मेटबॉलिज्म को तेज करती है जिसके कारण वजन कम होता है।

5. इम्यूनिटी बूस्टर भी है हल्दी

क्या आप जानते हैं कि हल्दी आपकी इम्यूनिटी बढ़ाने में भी सक्षम है। हल्दी के इन्हीं गुणों के कारण आयुर्वेद में मुख्य रूप से इसका इस्तेमाल किया जाता है। सर्दियों में आप दूध में हल्दी डाल कर सेवन कर सकते हैं। सर्दी-जुखाम से बचने के लिए हर रात सोने से पहले इसका सेवन करना चाहिए।

उम्मीद है आप इस आसान रेसिपी को ट्राई करेंगी और कच्ची हल्दी के फायदे लेंगी।

डिस्क्लेमर: हेल्थ शॉट्स पर, हम आपके स्वास्थ्य और कल्याण के लिए सटीक, भरोसेमंद और प्रामाणिक जानकारी प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। इसके बावजूद, वेबसाइट पर प्रस्तुत सामग्री केवल जानकारी देने के उद्देश्य से है। इसे विशेषज्ञ चिकित्सा सलाह, निदान या उपचार का विकल्प नहीं माना जाना चाहिए। अपनी विशेष स्वास्थ्य स्थिति और चिंताओं के लिए हमेशा एक योग्य स्वास्थ्य विशेषज्ञ से व्यक्तिगत सलाह लें।

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लेखक के बारे में
विदुषी शुक्‍ला
विदुषी शुक्‍ला

पहला प्‍यार प्रकृति और दूसरा मिठास। संबंधों में मिठास हो तो वे और सुंदर होते हैं। डायबिटीज और तनाव दोनों पास नहीं आते।

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