हरा, गोल और स्वादिष्ट टिंडा, सुनने में भले ही साधारण लगे, पर यह बहुत सारे पोषक तत्वों का भंडार है। जिसका बॉटनिकल नाम प्रेसिट्रूलस है। वहीं इसे सेब की लौकी, भारतीय स्क्वैश और भारतीय कद्दू भी कहा जाता है। टिंडे को प्राचीन काल से ही औषधीय महत्व के लिए जाना जाता है। इसके सेवन से स्किन, पेट और लिवर की समस्या में राहत पाई जा सकती है। इसमें फैट, विटामिन, प्रोटीन, फाइबर सहित अन्य पोषक तत्व मौजूद रहते हैं, जिसका सेवन हर किसी को करना चाहिए। आज हेल्थ शॉट़्स पर एक एक्सपर्ट बता रहे हैं आहार में टिंडे को शामिल करने के फायदे।
कानपुर के श्याम नगर के हेल्थ एंड न्यूट्रीशन हब के मैनेजिंग डायरेक्टर आशीष त्रिपाठी टिंडे को सेहत के लिए बहुत खास बताते हैं। वे कहते हैं, “टिंडे में 94 प्रतिशत से अधिक पानी पाया जाता है। इसके अलावा इसमें मौजूद जिंक, आयरन, फाइबर, विटामिन की मात्रा इसे स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद बनाती है।
कैलोरी कम होने से दिल से संबंधित बीमारी का खतरा कम रहता है। साथ पाचन संबंधी समस्या से राहत मिलती है। इसका सेवन गर्मियो के मौसम में अधिक करना चाहिए।
टिंडे के 100 ग्राम में 86 कैलोरी मौजूद रहती है, इसके अलावा
फैट 4 ग्राम
कार्बोहाइड्रेट 12 ग्राम
प्रोटीन 2 ग्राम
सोडियम 33 मिलीग्राम
पोटेशियम 359 मिलीग्राम
विटामिन ए 35 ग्राम
विटामिन बी6 40 ग्राम
आयरन 20 ग्राम
जिंक 23 ग्राम
आशीष बताते हैं टिंडा का सेवन उतसर्जन प्रणाली के जरिए शरीर में जमा गंदगी को बाहर करने में मदद करता है। किडनी में तरल पदार्थ की मौजूदगी को भी बढ़ाता है। जिससे किडनी में जमा गंदगी बाहर निकल जाती है। टिंडे का रस मूत्राशय और किडनी की नली को फायदा पहुंचाने का काम करता है। इसका सेवन सप्ताह में तीन से चार बार करना चाहिए।
टिंडे में विटामिन बी6 का यानी पाइरिडोक्सिन का भंडार अधिक होता है। जो तंत्रिकाओं के जरिए शरीर में जाता है। इसके अलावा दिमाग को एक्टिव रखने के लिए जरूरी न्यूरोट्रांसमीटर सेरोटोनिन और डोपामाइन भी शामिल रहता है। जो व्यक्ति को डिप्रेशन और स्ट्रेस की समस्या से बचा सकता है। इसमें मौजूद मैंग्नीज, कैल्शियम, जिंक व अन्य पोषक तत्व चिंता और अवसाद से निपटने में मदद करते हैं।
गोल लौकी में पॉलीफेनोल और कुकुर्बिटासिन एंटीऑक्सीडेंट प्रचुर मात्रा में रहता है। जिसमें एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण मौजूद रहते हैं। ये बॉडी में गंदगी को फैलने से रोकने में मदद करते हैं साथ कोशिकाओं को ऑक्सीकरण से बचाते हैं। इस तरह टिंडा दिल, लंग्स, पेट, आंत, किडनी, दिमाग में होने वाले नुकसान से बचाता है।
इसमें विटामिन सहित अन्य पोषक तत्व मौजूद है जो बोलों को ताकत और पोषण प्रदान करते हैं। इसे जेल के रूप में प्रयोग किया जाए तो सिर में बंद राम छिद्रों की देखभाल करता है। जिससे हेयर ग्रोथ होती है। बालों में अगर रूसी है तो उसे भी समाप्त करता है। खुजली या स्कल्प वाले बालों में इसके जेल को लगाने से राहत मिलती है।
टिंडे में भरपूर मात्रा में विटामिन ए पाया जाता है। जो आंखों की देखभाल करने के लिए अच्छा काम करता है। इसमें कैरोटीनॉयड एंटीऑक्सडेंट ल्यूटिन, जैक्सैंथिन भी मौजूद रहता है। जो आंख की रोशनी को बढ़ाता है। इसके सेवन से ग्लूकोमा, मोतियाबिंद जैसे विकारों को दूर किया जा सकता है।