दुनिया भले ही कई मायनों में आगे बढ़ी हो, लेकिन यह अपने साथ कई स्वास्थ्य समस्याएं भी लेकर आई है! जब हमारे दादा-दादी युवा थे, तब तक जिंदगी काफी आसान थी। वे प्रकृति के अनुरूप थे, कम प्रोसेस्ड खाद्य पदार्थ खाते थे और अपने बगीचे में उगने वाली सब्जियां और फल खाते थे। इसे ही हम आज का ‘स्लो लाइफ’ कहते हैं!
इन प्रथाओं को शामिल करने के लिए उन्हें ज्यादा प्रयास नहीं करना पड़ा। यह उनके लिए जीवन जीने का एक तरीका था। हम मानते नहीं हैं, लेकिन उन्हीं आदतों ने उनके अच्छे स्वास्थ्य और दीर्घायु में योगदान दिया है।
रसोई सिर्फ खाना पकाने की जगह नहीं हुआ करती थी, बल्कि यह एक दवा खाने के रूप में भी काम करता थी। जिसमें सभी प्रकार की बीमारियों का इलाज हुआ करता था। हमारे दादा-दादी के पास शायद सबसे आधुनिक सुविधाओं तक पहुंच नहीं थी, लेकिन उन्होंने एक खुशहाल और स्वस्थ जीवन जिया।
आज, हम में से अधिकांश लोग उस जीवन शैली को आज़माना चाहते हैं, लेकिन हम यह नहीं जानते कि कैसे शुरू करें! इसलिए हम यहां आपकी मदद करने के लिए आ गये हैं। क्या आप अपने दादा-दादी के कुछ सबसे अच्छे आहार रहस्यों को जानने के लिए तैयार हैं? आइए चलते हैं!
यह एक डाइट एडवाइज तो नहीं है, लेकिन यह वास्तव में महत्वपूर्ण है। क्योंकि खाने की मेज पर खाना आपको अपने भोजन को ठीक से चबाने, और मन से खाने के लिए मजबूर करेगा। इसके अलावा, आप ज्यादा तृप्त महसूस करेंगी, जो आपको अस्वस्थ खाद्य पदार्थों में लिप्त होने से बचाएगा। अपने परिवार के साथ बैठ कर खाना खाने से अच्छा क्या हो सकता है।
यह आपके मानसिक स्वास्थ्य में वृद्धि करेगा और आपको अन्य सदस्यों के करीब लाएगा।
हमारी पीढ़ी प्रोसेस्ड खाद्य पदार्थों पर निर्भर रही है! हर दिन ढेरों कार्यों को पूरा करने के बाद हमारे पास कोई समय नहीं बचता है। अगला सबसे अच्छा विकल्प टेक अवे या डिब्बाबंद खाद्य पदार्थों के लिए जाना है। जो न केवल नमक और चीनी में उच्च हैं, बल्कि संतृप्त वसा से भरे हुए हैं।
ये कई तरीकों से आपके स्वास्थ्य को नुकसान पहुंचाने वाले हो सकते हैं। अपने भोजन की योजना बनाने के लिए कुछ समय निकालें और उन्हें पहले से तैयार करें। घर का बना भोजन खाएं। हमारा विश्वास करें, आपका शरीर आपको धन्यवाद देगा।
क्या आपने कभी अपने दादा-दादी को खुद को किसी चीज से वंचित होते देखा है? उन्होंने सब कुछ खा लिया और फिर भी हेल्दी बने रहे। आज की पीढ़ी त्वरित परिणामों और त्वरित संतुष्टि पर विश्वास करती है, यही वजह है कि वे हर तरह के फेड डाइट्स का शिकार होते हैं।
यदि आप एक स्थायी और स्वस्थ जीवन शैली चाहते हैं, तो ऐसा कोई भी आहार न अपनाएं जो आपको आपके पसंदीदा खाद्य पदार्थों को छोड़ने के लिए कहता है। यदि आप अपने शरीर को वंचित करते हैं, तो आपको और भूख लगेगी और आप ज्यादा खा सकते हैं। इसलिए, हम इसे तुरंत रोक देने का सुझाव देते हैं!
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कस्टमाइज़ करेंहमारे दादा-दादी हर सुबह एक पौष्टिक नाश्ता खाने पर जोर देते थे। ऐसा इसलिए है क्योंकि जो लोग अपने नाश्ते को मिस करते हैं, वे दोपहर में बहुत अधिक खाते हैं। जाहिर है, क्योंकि आप तब तक बहुत भूखे हो जाते हैं। ब्रेकफ़ास्ट स्किप करना आपको स्नैकिंग में लिप्त करने के लिए प्रेरित करेगा। यह कभी भी अच्छा विचार नहीं है। तो, हर दिन एक प्रोटीन-पैक और पौष्टिक नाश्ता करें, और कुछ ही समय में अंतर देखें!
याद है आपकी नानी या दादी गरमा गरम रोटियों पर घी लगाती थीं? रिकॉर्ड के लिए, घी आपको किसी भी तरह से मोटा नहीं करेगा! हमारा मानना है कि वजन कम करने के लिए हमारी डाइट से वसा को कम करना सबसे आसान तरीका है।
मगर ऐसा नहीं है, कार्बोहाइड्रेट और वसा दोनों ही हमें ऊर्जा प्रदान करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। जब आप इन्हें अपने आहार से काटते हैं, तो आप अपने शरीर के लिए कठिनाइयां पैदा कर रहे होते हैं। इसके अलावा, घी, दूध, नट्स और मछली जैसे स्वस्थ विकल्पों को चुनें। आपको ट्रांस वसा को समाप्त करने की आवश्यकता है, न कि अच्छी वसा को!
इस मामले में, हमारा मतलब है घर का बना अचार। सुपर मार्केट में मिलने वाले अलग-अलग किस्म के अचार नमक और अन्य केमिकल से भरे होते हैं। जो आपके रक्तचाप को बढ़ाते हैं। हाथ से बने अचार को फर्मेंट करके तैयार किया जाता है। जो पाचन तंत्र को बेहतर बनाने में सहायक होते हैं।
आखिरकार, वे प्रोबायोटिक्स से भरे होते हैं। साथ ही, वे कैलोरी में कम हैं और विटामिन के का एक अच्छा स्रोत है। जो कि रक्त के थक्के के लिए एक आवश्यक पोषक तत्व है।
तो गर्ल्स, समय आ गया है कि हम अपने दादा-दादी के समय में न सही, उनके खानपान की तरफ वापस लौट चलें। यह कई मायनों में हमारे जीवन की गुणवत्ता में सुधार करेगा!
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