भारतीय खानपान में तेल का बहुत महत्वपूर्ण स्थान है। हमारे समोसे-पकौड़े ही नहीं, दाल में छौंक लगाना हो या सलाद की ड्रेसिंग हो- सभी में ऑयल की जरूरत होती है। स्वास्थ्य को लेकर बढ़ती जागरूकता से हमें यह तो पता चल चुका है कि तेल हमारे मोटापे का बड़ा कारण होता है। लेकिन तेल सिर्फ नुकसान ही नहीं पहुंचाता, कुछ ऐसे एडिबल ऑयल हैं जो आपकी सेहत के लिए फायदेमंद होते हैं।
हम आपको बताते हैं ऐसे 5 तेल जो आपके इम्मयून सिस्टम के लिए लाभदायक हैं, ताकि आपको अपने पसंदीदा व्यंजनों के साथ कोई समझौता न करना पड़े।
आपके किचन में मौजूद देशी घी का डिब्बा असल में पोषक तत्वों का भंडार है। अमेरिकन जर्नल ऑफ न्यूट्रिशन में प्रकाशित लेख के अनुसार घी में एमिनो एसिड होते हैं जो फैट को गलाते हैं और सैचुरेटेड फैट कम करता है। घी सभी डाइट कॉन्शियस लोगों के लिए बहुत फायदेमंद है।
शुद्ध देशी घी दिल के लिए बहुत फायदेमंद होता है और कैंसर का जोखिम भी कम करता है। इसमें एन्टी इन्फ्लामेट्री गुण होते हैं और पाचनतंत्र को दुरुस्त रखता है जिससे इम्युनिटी भी बढ़ती है।
सरसों का तेल या कड़वा तेल उत्तर भारत में बहुत प्रचलित है। स्वाद में हल्का कड़वा, यह तेल असल में सेहत के लिए बहुत फायदेमंद होता है। यह ब्लड सर्कुलेशन को बेहतर बनाता है और दिल के लिए बहुत हेल्दी होता है। सरसों के तेल में मोनोसैचुरेटेड फैटी एसिड्स होते हैं जिसके कारण यह शरीर में फैट के रूप में स्टोर नहीं होता। सरसों के तेल में एन्टी माइक्रोबियल गुण होते हैं जो पेट के इन्फेक्शन को दूर रखता है।
जी हां, नारियल तेल का खाना पकाने में भी इस्तेमाल होता है और यह सेहत के लिए बहुत फायदेमंद होता है। वर्जिन नारियल तेल में जीरो ट्रान्स फैट होते हैं जो वजन नियंत्रित करने में सहायक होता हैं। नारियल तेल का इस्तेमाल दिल के स्वास्थ्य के लिए अच्छा है। इसमें मौजूद लौरिक एसिड इम्युनिटी बढ़ाने का काम करता है। नारियल तेल आपके किचन का बहुत महत्वपूर्ण हिस्सा होना चाहिए।
ताड़ यानी पाम के तेल में एंटीऑक्सीडेंट भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं। यही नहीं ताड़ का तेल विटामिन ई और बीटा-कैरोटीन का महत्वपूर्ण स्रोत है। तलने के लिए ताड़ का तेल एक बेहतर विकल्प है। इसमें मौजूद कम्पाउंड टोकॉट्रिएनॉल इम्यून सिस्टम को दुरुस्त रखने में कारगर होता है।
सूरजमुखी का तेल सेहत के लिए बहुत फायदेमंद होता है। यह फैटी एसिड्स का प्रमुख स्रोत है जो इंफ्लामेशन कम करता है, ब्लड शुगर लेवल कम करता है और दिल को स्वस्थ रखता है। तलने और भूनने वाली सब्जियों के लिए सनफ्लॉवर ऑयल जैतून के तेल या तिल के तेल से बेहतर विकल्प होता है, क्योंकि इसका स्मोकिंग पॉइंट अधिक होता है। यानी यह देर में गर्म होता है जिससे अधिक तापमान पर भी इसके पोषक तत्व खत्म नहीं होते हैं।
रिफाइंड तेल आपकी सेहत के लिए सबसे अधिक खतरनाक है। वेजिटेबल आयल के नाम पर सैचुरेटेड ऑयल से भी बचकर रहें।
ऑलिव ऑयल यानी जैतून का तेल यूं तो स्वास्थ्य के लिए अच्छा है, लेकिन डीप फ्राइंग में इसका उपयोग ना करें।