आप पोषक तत्वों और आपके समग्र स्वास्थ्य को समृद्ध बनाने में उनकी भूमिका के बारे में बहुत कुछ जानती हैं। लेकिन क्या आपने कभी मानव शरीर के लिए फाइटोन्यूट्रिएंट्स (phytonutrients) के फायदों के बारे में सुना है? आइए पहले समझते हैं कि फाइटोन्यूट्रिएंट्स (phytonutrients) क्या हैं!
ये ऐसे कंपाउन्ड हैं जो पौधों को उनके समृद्ध रंग के साथ-साथ विशिष्ट स्वाद और सुगंध देते हैं। आप शायद जानती हैं कि मैक्रोन्यूट्रिएंट्स (micronutrients) जैसे प्रोटीन (protein), कार्ब्स (carbs) और फैट (fat) आपके पोषण के आधार स्तंभ हैं। लेकिन जिनके बारे में आप नहीं जानतीं, वे हैं फाइटोन्यूट्रिएंट्स (phytonutrients)। ये आपके स्वास्थ्य को कई लाभ भी दे सकते हैं।
फाइटोन्यूट्रिएंट्स (phytonutrients) को फाइटोकेमिकल्स (phytochemicals) के रूप में भी जाना जाता है। जो पौधों को उनके प्राकृतिक वातावरण जैसे कि बीमारी और अत्यधिक धूप के खतरों से बचाते हैं। जब आप प्लांट बेस्ड डाइट का सेवन करते हैं, तो फाइटोन्यूट्रिएंट्स (phytonutrients) आपको पुरानी बीमारियों से बचाते हैं। लेकिन विटामिन (vitamin) और खनिजों (minerals) के विपरीत, फाइटोन्यूट्रिएंट्स (phytonutrients) आवश्यक नहीं हैं।
कैरोटीनॉयड (carotenoid)
फ्लेवोनोइड (flavonoid)
रेस्वेराट्रोल (resveratrol)
फाइटोएस्ट्रोजेन (phytoestrogen)
एलाजिक एसिड (ellagic acid)
नफीसा हबीब, आहार विशेषज्ञ, वॉकहार्ट अस्पताल, मुंबई ने हेल्थशॉट्स को बताया, “यह एक महत्वपूर्ण एंटीऑक्सीडेंट (antioxidant) है, जो आपको आंखों की समस्याओं जैसे विभिन्न रोगों से बचाते हैं और आपकी इम्युनिटी को बढ़ाते हैं। मानव आहार में सबसे अधिक प्रचलित कैरोटीनॉयड (carotenoid) नारंगी, लाल और पीले रंग के फलों और सब्जियों में पाए जाते हैं।”
कैरोटीनॉयड (carotenoid) के प्रकार जिनके अन्य स्वास्थ्य लाभ हो सकते हैं, उनमें अल्फा-कैरोटीन (alpha-carotene), बीटा-कैरोटीन (beta-carotene) और बीटा-क्रिप्टोक्सैन्थिन (beta-cryptoxanthin) शामिल हैं। आपका शरीर इन सभी को विटामिन ए (vitamin A) में बदल देता है।
फ्लेवोनोइड्स (flavonoids) फाइटोन्यूट्रिएंट्स (phytonutrients) का एक बहुत बड़ा समूह है, जिसमें क्वेरसेटिन (quercetin) और केम्पफेरोल (kaempferol) शामिल हैं। ये लगभग सभी फलों और सब्जियों में मौजूद होते हैं, खासकर सेब, प्याज, चाय और हरी पत्तेदार सब्जियों में।
हबीब कहती हैं, “वे एंटी-इंफ्लेमेटरी (anti-inflammatory) प्रभावों से भी भरे होते हैं और कोशिकाओं को ऑक्सीडेटिव (oxidative) क्षति से होने वाली बीमारियों से बचाते हैं।”
इसके अतिरिक्त, फ्लेवोनोइड (flavonoid) हृदय रोग, मधुमेह, कैंसर, अल्जाइमर और यहां तक कि डिमेंशिया के विकास को रोक सकते हैं,। लेकिन इस बात का ध्यान रखें कि खाना पकाने की प्रक्रिया के दौरान 80 प्रतिशत फ्लेवोनोइड्स (flavonoids) नष्ट हो सकते हैं। खाना पकाने के दौरान सब्जियों के रंग का फीका पड़ना आपको फाइटोन्यूट्रिएंट (phytonutrient) के नुकसान का अनुमान दे सकता है।
अंगूर रेस्वेराट्रोल (resveratrol) का सबसे अच्छा स्रोत हैं। अंगूर की त्वचा (grapes skin) और रेड वाइन (red wine) में इसकी मात्रा ज्यादा होती है और यह विशेष रूप से फायदेमंद हो सकती है क्योंकि यह हृदय रोग के जोखिम को कम कर सकती है। लिनुस पॉलिंग इंस्टीट्यूट के अनुसार, रेस्वेराट्रोल(resveratrol) संज्ञानात्मक गिरावट को धीमा करने में मदद कर सकता है।
फाइटोएस्ट्रोजेन (phytoestrogen) पोषक तत्वों का वर्ग है, जो एस्ट्रोजन (estrogen) से संबंधित कैंसर के खिलाफ सुरक्षात्मक हैं। हबीब कहती हैं, “फाइटोएस्ट्रोजेन (phytoestrogen) पौधे आधारित यौगिक हैं जो रजोनिवृत्ति (menopause) के लक्षणों, कार्डियोवैस्कुलर (cardiovascular) बीमारी और यहां तक की स्तन कैंसर (breast cancer) के जोखिम को कम करते हैं।
वे हड्डियों की सामान्य डेन्सिटी बनाए रखने में भी मदद करते हैं।” फाइटोएस्ट्रोजेन (phytoestrogen) के स्रोतों में सोया, फलियां, टोफू, ब्रोकोली और संतरे शामिल हैं।
हबीब कहती हैं कि क्रैनबेरी (cranberry), अनार, रास्पबेरी (raspberry), स्ट्रॉबेरी (strawberry) जैसे कई फलों में एलाजिक एसिड (ellagic acid) मौजूद होता है। यह एंटीमुटाजेनिक (antimutagenic) और एंटीकार्सिनोजेनिक (anticarcinogenic) होने के लिए जाना जाता है। एलाजिक एसिड (ellagic acid) कार्डियोवैस्कुलर (cardiovascular) कार्यों में सुधार करने में मदद करता है।”
तो लेडीज, अगली बार अपनी प्लेट में फाइटोन्यूट्रिएंट्स (phytonutrients) जरूर शामिल करें!
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