ब्रीदिंग एक्सरसाइज वास्तव में श्वास पर नियंत्रण करने वाले व्यायाम हैं। हमने कई बार सुना है कि जो लोग नियमित रूप से श्वास प्राणायाम का अभ्यास करते हैं, वे अपने तनाव के स्तर को कम करने, मूड में सुधार करने और बेहतर ध्यान केंद्रित करने में सक्षम होते हैं।
यकीनन ब्रीथिंग एक्सरसाइज आपके मानसिक स्वास्थ्य को दुरुस्त कर जीवन की गुणवत्ता में सुधार कर सकती हैं। लेकिन बहुत से लोग यह नहीं जानते हैं कि यह हमारे शारीरिक स्वास्थ्य पर भी बहुत सकारात्मक प्रभाव डालती हैं।
वजन कम करना सिर्फ अच्छा दिखने की ही बात नहीं है, बल्कि स्वस्थ रहने के लिए भी जरूरी है। हर किसी का वज़न उसकी ऊचाई और लम्बाई के हिसाब से अलग-अलग होता है। लेकिन इसे बनाए रखना महत्वपूर्ण है, क्योंकि ज्यादा वजन होने से मधुमेह, हृदय रोग और यहां तक कि हड्डियों से संबंधित समस्याओं का खतरा बढ़ सकता है।
साथ ही, ऐसा सामने आया है कि ब्रीदिंग एक्सरसाइज वजन घटाने में मदद कर सकती हैं! हमेशा से ही ब्रीदिंग एक्सरसाइज को अच्छे मानसिक स्वास्थ से जोड़कर देखा जाता रहा है, लेकिन शोध इस तथ्य की ओर इशारा करते हैं कि वे उन व्यक्तियों के लिए फ़ायदेमंद हो सकती हैं जो, वजन कम करने की कोशिश कर रहे हैं।
ब्रीदिंग एक्सरसाइज जब हमारे स्वस्थ आहार और नियमित शारीरिक गतिविधि के साथ मिलती है तो, हमारे वज़न कम करने की प्रक्रिया में वृद्धि होती है:
ऑनलाइन जर्नल PubMed Central में प्रकाशित जापान के एक अध्ययन में उल्लेख किया गया है कि जिन लोगों ने एक सांस लेने की तकनीक ‘सेनोबी’ का एक महीने अभ्यास किया, उनके शरीर का वसा प्रतिशत कम हो गया था। ये सांस लेने की तकनीक जापान से आई है। इसमें आपको बांहों को ऊपर उठाना है और पीछे की ओर झुकते हुए गहरी सांसें लेनी है।
जब आप नियमित रूप से ब्रीदिंग एक्सरसाइज करते हैं, तो आपको भूख कम लगती है और आपका पेट हमेशा भरा रहता है। यह आपको सुनिश्चित करता है कि आप ज्यादा न खाएं और आपका कैलोरी इन्टेक कम हो।
जर्नल ऑफ एविडेंस-बेस्ड कॉम्प्लिमेंट्री एंड अल्टरनेटिव मेडिसिन (Journal of Evidence-Based Complementary & Alternative Medicine) में प्रकाशित शोध ने भूख नियंत्रण पर ब्रीदिंग एक्सरसाइज के इस प्रभाव को नोट किया और इसे विशेष रूप से किगॉन्ग श्वास अभ्यास के साथ जोड़ा।
कई तकनीकें हैं जो कि किगॉन्ग का एक हिस्सा हैं, जो विशेष रूप से शरीर और मस्तिष्क का सामंजस्य स्थापित करने पर ध्यान केंद्रित करती है। इससे आपको अपनी भूख पर बेहतर नियंत्रण प्राप्त करने में मदद मिलती है।
मेटाबॉलिज्म बूस्ट होने के कारण कैलोरी बेहतर तरीके से बर्न होती हैं। जर्नल ऑफ फ़िज़िक्स थेरेपी साइंस में प्रकाशित शोध में कहा गया है कि डायफ्रामिक सांस लेने की तकनीक विशेष रूप से तब सहायक होती है जब चयापचय दर को बढ़ाना हो और कैलोरी बर्न करनी हो।
डायाफ्रामिक (diaphragmatic breathing exercise) व्यायाम करते समय, आपको अपनी पीठ के बल लेटना है और अपने हाथों को अपने सीने के ऊपर रखना है। फिर पेट को कसकर और होठों से धीरे-धीरे सांस लेनी है।
तो लेडीज़, स्वस्थ आहार लें, व्यायाम करें और 20 मिनट ब्रीदिंग एक्सरसाइज के लिए ज़रूर निकालें। ये न केवल आपको मेंटली फिट रखेंगी, बल्कि वज़न घटाने में भी मदद करेगी!
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